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Panchayat Pradhan: समन जारी कर किसी भी महिला को नहीं बुला सकती पंचायत, जानिए क्‍या है नियम

Panchayat Pradhan Power पंचायत अपनी छानबीन के कार्य में आवश्यक जानकारी लेने के लिए समन द्वारा किसी भी महिला को नहीं बुला सकती है। यदि उसका किसी केस से सीधा संबंध नहीं है। मात्र उससे जानकारी अथवा गवाही चाहिए तो उसे समन द्वारा नहीं बुलाया जा सकता है।

By Rajesh Kumar SharmaEdited By: Published: Sun, 03 Jan 2021 08:55 AM (IST)Updated: Sun, 03 Jan 2021 08:55 AM (IST)
Panchayat Pradhan: समन जारी कर किसी भी महिला को नहीं बुला सकती पंचायत, जानिए क्‍या है नियम
पंचायत छानबीन के कार्य में आवश्यक जानकारी लेने के लिए समन द्वारा किसी भी महिला को नहीं बुला सकती है।

जसवां परागपुर, साहिल ठाकुर। Panchayat Pradhan Power, पंचायत अपनी छानबीन के कार्य में आवश्यक जानकारी लेने के लिए समन द्वारा किसी भी महिला को नहीं बुला सकती है। यदि उसका किसी केस से सीधा संबंध नहीं है। मात्र उससे जानकारी अथवा गवाही चाहिए तो उसे समन द्वारा नहीं बुलाया जा सकता है। उसके निवास स्थान पर उचित समय (सूर्योदय के बाद व सूर्यास्त से पूर्व) पर जाकर आवश्यक जानकारी ली जा सकती है। यदि किसी महिला के विरुद्ध सीधी शिकायत है, तो ऐसी स्थिति में उस महिला को ग्राम पंचायत समन देकर बुला सकती है।

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यदि कोई पक्ष किसी स्त्री का गवाह के रूप में बयान दिलवाना चाहता है, तो इस आशय का प्रार्थना पत्र पंचायत को देना होगा। प्रार्थना पत्र प्राप्त होने पर ग्राम पंचायत एक कमीशन गठित करेगी और यदि ग्राम पंचायत आदेश दे तो प्रार्थी को यात्रा का व्यय निर्धारित दर पर जमा करवाना होगा या ग्राम पंचायत द्वारा गठित कमीशन को ले जाने और वापिस लाने का प्रबंध करना होगा।

ग्राम पंचायत द्वारा निर्धारित कमीशन उस दिन व समय जिसकी सूचना पक्षों और गवाहों को दे दी जाएगी, उस स्त्री का परीक्षण उसके निवास स्थान पर उसी प्रकार करेगा जैसा कि ग्राम पंचायत के सामने उपस्थित हो रहे हों। कमीशन लिए गए बयान पर हस्ताक्षर या निशान अंगूठा लगवाएगा तथा कम से कम एक पहचान करने वाले गवाह द्वारा लिए गए बयान को अभिप्रमाणित करवाएगा। इस प्रकार यह बयान उस वाद या अभियोग की कार्यवाही का अंग बन जाएगा। इसी धारा में, ऐसे दस्तावेज या कागज जिसकी जरूरत पंचायत को किसी विवाद या झग़डे के संबंध में पड़ती है, उसके बारे में भी स्पष्ट किया गया है कि ऐसा दस्तावेज या कागज़ उसी व्यक्ति की संपत्ति होगी जिसके पास वह है।

पंचायत को अपने न्यायिक कार्य के लिए उसकी जरूरत हो तो उसके लिए पंचायत उस दस्तावेज को मंगवाने का अधिकार तो रखती है, परंतु उसे अपने कब्जे में लेने अथवा रखने का अधिकार पंचायत को नहीं है। उस कागज की नकल करवाकर और नकल का असली दस्तावेज़ से मिलान करने के बाद पंचायत नकल पर यह लिख देगी कि यह असली दस्तावेज की सही नकल है और असली दस्तावेज को उसके मालिक को वापस कर देगी। ऐसा प्रावधान है कि पंचायत जितनी जल्दी हो उस दस्तावेज की नकल करवा ले और असली दस्तावेज वापिस कर दें, क्योंकि किसी भी कारण से असली दस्तावेज को कोई नुकसान पहुंचा सकता है।


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