त्रिलोकपुर में एनएच से उखड़ी कोलतार
पठानकोट-मंडी राष्ट्रीय राजमार्ग की हालत ही सरकार के दावों को खोखला साबित कर रहे हैं। भले ही हिमाचल सरकार सड़कों की हालत को चकाचक करने के दावे करती रही है। पठानकोट-मंडी नेशनल हाइवे गड्ढों में समाया हुआ है तथा
संवाद सूत्र, कोटला : पठानकोट-मंडी राष्ट्रीय राजमार्ग की हालत ही सरकार के दावों को खोखला साबित कर रही है। भले ही सरकार सड़कों की हालत को चकाचक करने के दावे करती रही है। पठानकोट-मंडी राष्ट्रीय राजमार्ग गड्ढों में समाया हुआ है तथा गड्ढों से वाहनों को बचाने के चक्कर में कई चालक जान गंवा चुके हैं और कई चोटिल हो चुके हैं।
राष्ट्रीय राजमार्ग पर त्रिलोकपुर, छतड़ी, घटनालू नामक स्थानों पर तो कहीं कोलतार दिखाई ही नहीं दे रही है। स्थिति किसी खड्ड से कम नहीं है। गड्ढों की गहराई भी काफी ज्यादा हो गई है। बारिश होने पर गड्ढे पानी से भर जाते हैं तो इनकी गहराई का पता नहीं चलता और गड्ढे जानलेवा बन जाते हैं। वाहन हिचकोले खाते हुए गुजरते हैं। वहीं कोलतार उखड़ने के कारण बजरी बिखरी पड़ी है, जोकि अकसर ही दोपहिया वाहनों के स्किड होने का कारण बनती है। अगर एनएच की हालत ही बद से बदतर है तो फिर अन्य मार्गों की स्थिति का अंदाजा सहज ही लगाया जा सकता है। वाहन चालकों का कहना है कि सरकार टेक्स तो लेती है, लेकिन सुविधा कुछ भी नहीं देती है। ऐसे मार्गों से गुजरने के चलते वाहन खस्ताहालत में पहुंच जाते हैं। जनता ने कहा कि जब कोई केंद्रीय स्तर का नेता या फिर मुख्यमंत्री इस मार्ग से गुजरते हैं तभी इसकी हालत को दुरुस्त किया जाता है तथा बाद में इसकी सुध नहीं ली जाती है। लोगों ने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर से मांग की है कि नेशनल हाइवे की स्थिति को सुधारा जाए।
वहीं नेशनल हाइवे जोगेंद्रनगर के अधिशाषी अभियंता देवेंद्र कुमार ने कहा कि यह एनएचआइए के अधीन आता है, वही इस बारे बता सकते हैं।
उधर, नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया के एसई सतीश नाग ने कि जल्द ही मौसम ठीक होते ही नेशनल हाइवे को प्राथमिकता से ठीक करवा दिया जाएगा।