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राजस्व घाटा अनुदान पर केंद्र की कैंची, पिछले वित्त वर्ष 10500 करोड़, इस वर्ष मिले महज 9360 करोड़

Himachal Govt News राजस्व घाटा अनुदान पर केंद्र सरकार की कैंची चलती जा रही है। प्रदेश सरकार को हर माह दूसरे सप्ताह में 780 करोड़ की राशि मिल रही है। वित्त वर्ष के अंत तक 9360 करोड़ रुपये प्राप्त होंगे। साल-दर-साल राजस्व घाटा अनुदान की राशि घटती चली जाएगी।

By Virender KumarEdited By: Published: Mon, 27 Jun 2022 07:15 AM (IST)Updated: Mon, 27 Jun 2022 07:51 AM (IST)
राजस्व घाटा अनुदान पर केंद्र की कैंची, पिछले वित्त वर्ष 10500 करोड़, इस वर्ष मिले महज 9360 करोड़
राजस्व घाटा अनुदान पर केंद्र की कैंची। प्रतीकात्‍मक

शिमला, राज्य ब्यूरो। Himachal Govt News, राजस्व घाटा अनुदान पर केंद्र सरकार की कैंची चलती जा रही है। प्रदेश सरकार को हर माह दूसरे सप्ताह में 780 करोड़ की राशि मिल रही है। वित्त वर्ष के अंत तक 9360 करोड़ रुपये प्राप्त होंगे। अब यह तय है कि साल-दर-साल राजस्व घाटा अनुदान की राशि घटती चली जाएगी। पिछले वित्त वर्ष के दौरान प्रदेश को साढ़े दस हजार करोड़ की राशि मिली थी।

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राजस्व घाटा अनुदान घटते रहने को लेकर मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के समक्ष दो बार मामला उठा चुके हैं। सरकार की ओर से आग्रह किया गया है कि हिमाचल विशेष सहायता प्राप्त राज्य होने के साथ-साथ केंद्र से मिलने वाली आर्थिक सहायता पर ही निर्भर करता है। अतिरिक्त मुख्य सचिव वित्त प्रबोध सक्सेना का कहना है कि 15वें वित्तायोग की ओर से राजस्व घाटा अनुदान का निर्धारण किया है। आने वाले वर्षों में राजस्व घाटा अनुदान लगातार घटता चला जाएगा। जोकि प्रदेश के लिए गंभीर चिंता का  विषय है।

जीएसटी अदायगी में भी कटौती

केंद्र सरकार ने जीएसटी अदायगी में कटौती करना शुरू कर दिया है। जिसके फलस्वरूप हिमाचल प्रभावित हुआ है। सरकार को हर वर्ष 3500 करोड़ मिलते थे। केंद्र सरकार से वर्ष 2017 से पांच वर्ष के लिए जीएसटी के तहत हिस्सेदारी मिलती थी। अगले साल से प्रदेश को जीएसटी मुआवजा मिलना बंद हो जाएगा।

राशनकार्ड धारक जल्द करवाएं ई-केवाईसी

खाद्य आपूर्ति एवं उपभोक्ता मामले विभाग ने राशनकार्ड धारकों को जल्द ई-केवाईसी करने का निर्देश दिया है। न्यायालय की ओर से इस संबंध में याचिका के खारिज होने के बाद यह निर्देश दिया है। अभी प्रदेश में 35 लाख लोगों की ई-केवाईसी का कार्य पूरा कर लिया है। प्रदेश में पहली बार इस तरह की प्रक्रिया को अपनाया जा रहा है। केंद्र सरकार के निर्देशों के तहत सभी राज्य राशनकार्ड धारक परिवारों के हर सदस्य की ई-केवाईसी कर रहे हैं।

प्रदेश में 18.90 लाख राशनकार्ड धारक हैं और जिन्हें राशन की आपूर्ति हो रही है और राशनकार्ड के आधार पर 72 लाख लोग हैं। इन सभी लोगों की ई-केवाईसी होनी है। इस दौरान आधार कार्ड के साथ राशनकार्ड में दर्ज नाम और सारी जानकारी को सत्यापित किया जा रहा है। इसमें अंगूठे के निशान सहित अन्य जानकारी को भी जांचा जा रहा है। विभाग द्वारा ई-केवाईसी करने पर डिपो धारकों को चार रुपये मिलेंगे। विभाग के सचिव आरडी नजीम ने इसकी पुष्टि की है।


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