शांता का सवाल, किसकी मदद से भागा नीरव
एक प्रश्न सामने आता है कि क्या देश में कोई व्यवस्था और सरकार है। बैंकों की लूट साधारण घटना नहीं है।
पालमपुर, जेएनएन। बेबाकी के लिए पहचाने जाते कांगड़ा से भाजपा सांसद शांता कुमार ने नीरव मोदी प्रकरण पर अपनी ही सरकार पर सवाल खड़े किए हैं। उन्होंने कहा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भ्रष्टाचार को समाप्त करने के लिए दृढ़ संकल्प हैं, इसलिए हैरानी है कि नीरव मोदी विदेश कैसे भाग गया। यदि उसे पकड़कर जेल में डाला होता तो लोगों का सरकार पर विश्वास बढ़ जाता। शांता कुमार ने प्रधानमंत्री से आग्रह किया है कि वह इस बात की जांच करवाएं कि नीरव किसकी सहायता या लापरवाही से विदेश चला गया और उन सब लोगों को कड़ी सजा दी जाए।
सोमवार को जारी बयान में सांसद ने पीएम से आग्रह किया कि देश को लूटने वालों के नाम सार्वजनिक किए जाएं। देश की जनता का विश्वास नेताओं से पहले ही उठ गया है और रही-सही कसर अब पूरी हो रही है। बकौल शांता कुमार, 'देश के लिए क्या यह शर्म की बात नहीं है कि 1700 बड़े नेताओं के खिलाफ 13 हजार आपराधिक मामले चल रहे हैं।
नेता अपने प्रभाव से फैसला नहीं होने देते, इसलिए सुप्रीम कोर्ट की फटकार पर भारत सरकार ने 12 विशेष अदालतें स्थापित की हैं। कई जगह विपक्ष के नेता कार्यक्रमों में पकौड़े बेचकर राजनीति का मजाक उड़ा रहे हैं तो कई जगह नेताओं की मूर्तियां तोड़ी गई और इसमें सभी दलों के लोग शामिल हैं। आजादी के 70 साल बाद भी
देश खुलेआम सरकार की नाक के नीचे लूटा जा रहा है। नीरव मोदी जैसे सैकड़ों लुटेरे हैं, जिन्होंने बैंकों को लूटा है पर अभी तक पकड़े नहीं गए हैं। एक प्रश्न सामने आता है कि क्या देश में कोई व्यवस्था और सरकार है। बैंकों की लूट साधारण घटना नहीं है।
शांता कुमार ने कहा कि कहीं न कहीं नेताओं के सहयोग के बिना इतनी बड़ी लूट संभव नहीं है। समय पर कार्रवाई नहीं हुई और लुटेरे सरकार की आंखों में धूल झोंककर परिवारों को लेकर विदेश में चले गए। संसद सदस्य ने कहा कि कानून पैसे वालों के हाथ का खिलौना बन गया है। सैकड़ों साल पहले महमूद गजनवी भारत को लूटकर चला गया था और कोई कुछ नहीं कर सका था। तब और अब में कोई अभी फर्क नहीं दिख रहा।