मंजीर पंचायत में खोला जाए प्राथमिक स्कूल
मंजीर में प्राथमिक पाठशाला खोलने की मांग ने फिर से जोर पकड़ना शुरू कर दिया है।
संवाद सहयोगी, सुरंगानी : सरकार भले ही घरद्वार पर शिक्षा मुहैया करवाने के दावे करती है, लेकिन सभी दावे खोखले साबित हो रहे हैं। आज भी क्षेत्र के कई गांव ऐसे हैं, जहां पर बच्चों को प्रारंभिक शिक्षा ग्रहण करने के लिए कई किलोमीटर चढ़ाई चढ़ कर मीलों दूर जाना पड़ता है। इस कारण बच्चों को काफी दिक्कत पेश आती है।
ऐसे ही पंचायत मंजरी के धनावल, तेलका, जुलाकड़ी, डाडर गांव हैं, यहां के बच्चों को पढ़ाई करने के लिए चढ़ाई-चढ़ कर स्कूल पहुंचना पड़ता है। ऐसे में उनका पूरा दिन आवाजाही में व्यतीत हो जाता है, जिससे वे पढ़ाई सुचारू रूप से नहीं कर पाते। बच्चों को वर्तमान समय में चिलचिलाती गर्मी से काफी परेशान होना पड़ रहा है। बच्चे करीब दो घंटे का सफर कर स्कूल पहुंचते हैं। स्कूल पहुंचने पर वे पसीने से लथपथ होते हैें। अभिभावक अशोक कुमार, फरमान अली, मोहम्मद आजम, रजाक मोहम्मद, ब्यास देव, मान ¨सह, कर्म चंद, ज्ञान चंद ने कहा कि बच्चों को शुरुआती शिक्षा के लिए लंबी दूरी का सफर तय कर ग्रहण करनी पड़ती है। कुछ साल पहले सरकार ने कई जगह प्राथमिक स्कूल खोले थे, उस समय जुलाक़की में भी स्कूल खुला था, लेकिन सरकार बदलने के बाद सभी स्कूल बंद कर दिए। यदि यहां का स्कूल बंद न किया होता तो आज बच्चों को दिक्कत पेश न आती। लोगों ने सरकार से गुहार लगाई है कि धनावल, जुलाकड़ी, तेलका व डाडर में से कहीं पर प्राथमिक पाठशाला खोली जाए।