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दो सीटों पर खिला कमल, दो पर जनता हाथ के साथ

जनता ने विधानसभा के लिए अपना फैसला सुना दिया है। भाजपा को रादौर और साढौरा दो सीट से हाथ धोना पड़ा है जबकि दो सीटों पर कड़े मुकाबले के बाद जीत दर्ज की है। रादौर विधानसभा सीट ने बीएल सैनी ने राज्यमंत्री कर्णदेव कांबोज को 2541 साढौरा से कांग्रेस की रेणू बाला ने भाजपा के विधायक बलवंत सिंह को 1720 वोट से हराया है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 25 Oct 2019 01:09 AM (IST)Updated: Fri, 25 Oct 2019 06:19 AM (IST)
दो सीटों पर खिला कमल, दो पर जनता हाथ के साथ
दो सीटों पर खिला कमल, दो पर जनता हाथ के साथ

जागरण संवाददाता, यमुनानगर : जनता ने विधानसभा के लिए अपना फैसला सुना दिया है। भाजपा को रादौर और साढौरा दो सीट से हाथ धोना पड़ा है, जबकि दो सीटों पर कड़े मुकाबले के बाद जीत दर्ज की है। रादौर विधानसभा सीट ने बीएल सैनी ने राज्यमंत्री कर्णदेव कांबोज को 2541, साढौरा से कांग्रेस की रेणू बाला ने भाजपा के विधायक बलवंत सिंह को 1720 वोट से हराया है। यमुनानगर विधानसभा सीट से घनश्यामदास अरोड़ा 1438 वोट से जीते। यहां घनश्याम दास अरोड़ा को 64795 और दिलबाग सिंह 63357 वोट पड़े। जगाधरी विधानसभा सीट पर स्पीकर कंवर पाल ने पूर्व में डिप्टी स्पीकर रहे अकरम खान को 16286 वोट से हराया है। इस सीट पर बसपा से आदर्श पाल ने भी टक्कर दी है। स्पीकर कंवर पाल को 66336 और अकरम खान को 50050 वोट पड़ी हैं। चारों विधानसभा सीटों पर गत चुनाव में भाजपा का ही कब्जा रहा है।

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किस विधानसभा सीट पर कौन विजयी

जगाधरी विधानसभा

विजयी : भाजपा के कंवर पाल 66336 वोट हारे : कांग्रेस के अकरम खान 50050 वोट यमुनानगर

विजयी : भाजपा के घनश्याम अरोड़ा 64795 हारे : कांग्रेस के अकरम खान 50050

बसपा के आदर्शपाल 47988

रादौर

विजयी : कांग्रेस डॉ. बिशन लाल सैनी 54087 वोट

हारे : भाजपा के कर्णदेव 51546 वोट

साढौरा

वियजी : कांग्रेस की रेणू बाला 65806 वोट

हारे : भाजपा के बलवंत सिंह 48786 वोट इनसेट

क्या रहे हार-जीत के कारण

जगाधरी

जगाधरी विधानसभा सीट पर त्रिकोणीय मुकाबला था। यहां पर स्पीकर कंवर पाल, कांग्रेस के प्रत्याशी पूर्व डिप्टी स्पीकर अकरम खान, डीजीपी के भाई और बसपा प्रत्याशी आदर्श पाल के बीच कड़ी टक्कर रही। जगाधरी के शहरी एरिया में भाजपा का वोट बड़ा वोट बैंक है। यह जीत का बड़ा कारण साबित हुआ है। दूसरा, विधानसभा क्षेत्र में विकास कार्य और मिलनसार भी हैं।

अकरम की हार के कारणों की यदि बात की जाए तो जगाधरी में कांग्रेस का वोट बैंक कमजोर होना साबित हुआ है। कांग्रेस के पूर्व मंत्री सुभाष चौधरी बसपा प्रत्याशी को समर्थन दे दिया था। इसी कारण से बसपा प्रत्याशी का पलड़ा भी शहर में भारी रहा।

यमुनानगर

यमुनानगर विधानसभा सीट पर भाजपा के घनश्याम दास अरोड़ा और इनेलो से दिलबाग सिंह के बीच कड़ा मुकाबला रहा। हालांकि जीत का अंतर कम रहा, लेकिन शहर में बढ़त मिली है। दिलबाग सिंह को उम्मीद के मुताबिक शहरी एरिया में वोट नहीं मिल पाई हैं। हालांकि आखिरी राउंड तक दिलबाग सिंह ने घनश्याम को कड़ी चुनौती देकर रखी। घनश्याम दास को कम वोट मिलने का कारण टीम का अति उत्साहित होना भी है।

रादौर

रादौर विधानसभा सीट पर कांग्रेस के डॉ. बीएल सैनी और भाजपा के मंत्री कर्णदेव कांबोज के बीच कड़ा मुकाबला बना रहा। यहां बीएल सैनी की जीत का बड़ा कारण भाजपा में भितरघात भी रहा है। पहले राउंड से ही दोनों में कड़ा मुकाबला रहा है। शहरी वोट भी उम्मीद से कम मिली है। कर्णदेव को रादौर विधानसभा क्षेत्र में तैयारी करने का समय भी कम मिला है। यहां पर पहले से ही श्याम सिंह राणा तैयारी कर रहे थे जबकि बीएल सैनी क्षेत्र में काफी समय से लोगों के बीच में थे।

साढौरा

साढौरा में विधायक बलवंत सिंह और पार्टी के बड़े नेता इस एरिया में भाजपा की जीत को लेकर अति उत्साहित थे। इसकी वजह थी कि इस एरिया से बलवंत तीसरी बार विधायक बने थे। हालांकि मतदान के एक दिन पहले बिलासपुर में मथुरा की सांसद हेमा मालिनी को भी रोड शो निकालना था, लेकिन दिनभर कार्यकर्ताओं ने इंतजार किया। दौरा रद होने पर कार्यकर्ता नाराज हो गए थे। भाजपा कांग्रेस प्रत्याशी को कमजोर उम्मीदवार मान रहे थे, लेकिन रेणू इन पर भारी पड़ गई।


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