नालों की सफाई के नाम पर खानापूर्ति, बारिश हुई तो डूबेगी बर्तन नगरी
हालांकि नगर निगम सफाई का एक चरण पूरा किए जाने की बात कह रहा है लेकिन यहां के हालात हकीकत बयां कर रहे हैं।
जागरण संवाददाता, यमुनानगर : बर्तन नगरी जगाधरी में नालों की सफाई के नाम पर खानापूर्ति हो रही है। हालांकि नगर निगम सफाई का एक चरण पूरा किए जाने की बात कह रहा है, लेकिन यहां के हालात हकीकत बयां कर रहे हैं। निकासी के लिए बने मुख्य नाले कचरे से लबालब हैं। दैनिक जागरण की टीम ने जगाधरी शहर की विभिन्न कालोनियों में व्यवस्था का जायजा लिया। छोटे नाले तो दूर, यहां के मुख्य और बड़े नालों की भी सफाई नहीं हुई है। ऐसे में बारिश हुई तो क्षेत्र क कालोनियों में पानी भरना तय है। ऐसे में लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ेगा। अग्रसेन से बूड़िया चौक पर नाला गंदगी से अटा
अग्रसेन से बूड़िया चौक तक पानी की निकासी के लिए नाला बना हुआ है। यह नाला गंदगी से अटा पड़ा है। कहीं घास उगी हुई है तो कहीं स्लैब टूटकर नाले में गिरी हुई है। ऐसी स्थिति में इस नाले से बरसाती पानी की निकासी नहीं हो पाएगी। दोनों ओर टिबर मार्केट है। थोड़ी सी बारिश होते ही पानी दुकानों में घुस जाता है। इसी समस्या से निजात पाने के लिए नाले का निर्माण किया गया है। यही हालात अग्रसेन चौक से लेकर मटका चौक तक है। जेस्को कालोनी से गुजरता है मुख्य नाला
पानी की निकासी के लिए जेस्को कालोनी से मुख्य नाला गुजर रहा है। इस क्षेत्र में औद्योगिक इकाइयों की संख्या अधिक है। इन इकाइयों से निकल रहा केमिकल युक्त पानी नालों में ही छोड़ा जा रहा है। इन दिनों यह नाला गाद, बोतल, पॉलिथिन, थर्मोकोल व बोरी-कट्टों से भरा पड़ा है। कभी-कभार आनन-फानन में सफाई की जाती है। जो कचरा निकाला जाता है, उसे भी नाले के किनारे पर ही छोड़ दिया जाता है। राजेश कालोनी से गुजरने वाला नाला कचरे से भरा
जगाधरी की राजेश कालोनी से होता हुआ यमुनानगर शहर की ओर जा रहा मुख्य नाला भी इन दिनों कचरे से भरा पड़ा है। इस नाले में कई अन्य छोटे नाले भी गिर रहे हैं, लेकिन नियमित रूप से सफाई न होने के कारण नाले से निकासी पूरी तरह बाधित है। बारिश होने पर पानी यहां-वहां बहेगा और लोगों की परेशानी का कारण बनेगी। किसी की दुकान में घुसेगा तो किसी के मकान में। फोटो : 12
कभी कभार आते कर्मचारी
अग्रसेन चौक दुकान करने वाले नसीम ने बताया कि पानी की निकासी के लिए नाला जरूर बना है, लेकिन कभी-कभार ही सफाई होती है। बारिश होते ही यहां जल भराव हो जाता है। फोटो : 13
कर्मचारी बिल्कुल गंभीर नहीं
जेस्को कालोनी के गौरव ने बताया कि कभी-कभार यदि नालों की सफाई की जाती है तो कचरा किनारे पर डाल दिया जाता है। नालों की सफाई को लेकर कर्मचारी बिल्कुल भी गंभीर नहीं है। बारिश के सीजन में परेशानी बढ़ेगी। कर्मचारी पूरी तरह सजग
100 कर्मचारी नालों की सफाई के कार्य में जुटे हुए हैं। पहला चरण पूरा हो चुका है। कर्मचारी लगातार सफाई कर रहे हैं। यदि कहीं समस्या है तो उसको दूर करवा दिया जाएगा।
अनिल नैन, चीफ सेनेटरी इंस्पेक्टर, नगर निगम।