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हाई ब्लड प्रेशर से हार्ट अटैक होने का खतरा ज्यादा : डॉ. दहिया

मुकंद लाल सामान्य अस्पताल में शुक्रवार को विश्व उच्च रक्तचाप दिवस मनाया गया।

By JagranEdited By: Published: Sat, 18 May 2019 08:38 AM (IST)Updated: Sat, 18 May 2019 08:38 AM (IST)
हाई ब्लड प्रेशर से हार्ट अटैक होने का खतरा ज्यादा : डॉ. दहिया
हाई ब्लड प्रेशर से हार्ट अटैक होने का खतरा ज्यादा : डॉ. दहिया

जागरण संवाददाता, यमुनानगर : मुकंद लाल सामान्य अस्पताल में शुक्रवार को विश्व उच्च रक्तचाप दिवस मनाया गया। कार्यवाहक सिविल सर्जन डॉ. विजय दहिया के नेतृत्व में आयोजित कार्यक्रम में उच्च रक्तचाप के रोगियों को दवाइयां व जांच की गई। कैंप के दौरान 425 लोगों के रक्तचाप की जांच की जिनमें से 69 उच्च रक्तचाप से संदिग्ध पाए गए।

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डॉ. विजय दहिया ने बताया कि यदि खून का दबाव लगातार 140/90 एमएमएचजी से ज्यादा नापा जाए तो इसे उच्च रक्तचाप का रोगी माना जाता है। साधारण खून के दबाव का नाप 120/80 एमएमएचजी से कम होता है। जब ह्रदय से निकलने वाले रक्त का प्रवाह धमनियों की दीवारों पर जरूरत से अधिक दबाव डालता है, उच्च रक्तचाप दौरा पड़ने का सबसे बडा़ और ह्रदय रोग का एक मुख्य कारण है। उच्च रक्तचाप को नियंत्रित रखने के लिए शरीर का वजन सामान्य रखे, सक्रिय रहे, धूम्रपान न करे, शराब न पीए, स्वास्थ्यकर आहार खाए जिसमे नमक और वसा कम हो तथा फल और सब्जियां ज्यादा, अपने बीपी की नियमित रूप से जंच कराएं। उच्च रक्तचाप के कारण ह्रदय को सामान्य से अधिक काम करना पड़ता है जिससे वह समय के साथ कमजोर पड़ जाता है। रक्तचाप जितना अधिक होगा ह्रदयघात और दौरे का खतरा उतना ही ज्यादा होगा। इसलिए जिस व्यक्ति का बीपी ज्यादा रहता है तो उसे डाक्टर की सलाह से दवाई ले सकते हैं। ये दवाइयां उच्च रक्तचाप का इलाज तो नहीं करती परंतु उसे नियत्रित रखती हैं।

जनरल फिजिशियन डॉ. रविद्र इंद्रा ने बताया कि रक्त चाप बढ़ने से तेज सिर दर्द, थकावट, टांगो मे दर्द, उल्टी होने की शिकायत और चिड़चिडा़पन होने के लक्षण दिखाई देने लगते है। यह रोग जीवन शैली और खान पान की आदतों से जुड़ा होने के कारण केवल दवाइयों से ही इस रोग को नष्ट नहीं किया जा सकता। जीवनचर्या एवं खानपान मे अपेक्षित बदलाव कर इस रोग को पूरी तरह नियंत्रित किया जा सकता है। इस अवसर पर शिव कुमार योगाचार्य ने बताया कि हाई बी.पी. के मुख्य कारण मोटापा, तनाव, महिलाओ मे हार्मोन परिवर्तन, ज्यादा नमक का उपयोग करना है। भोजन में नमक का प्रयोग बहुत कम कर देना चाहिए। इस अवसर पर डॉ. शिविद्र सिंह, डॉ. संजना दुआ, डॉ. अश्वनी दंत चिकित्सक, बोबेश पंजेटा, शिल्पा, दीप्ती, मितलेश शर्मा, मनिद्र कौर, नमिता अग्रवाल, सोनाली शर्मा, रितु, आरती, सुशीला कश्यप, ज्योती, हरपाल सिंह, मितरपाल मौजूद रहे।

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