ठेका कर्मचारियों ने किया प्रदर्शन, सरकार पर कर्मचारी विरोधी फैसले लेने का आरोप
सिविल सर्जन के माध्यम से स्वास्थ्य मंत्री को ज्ञापन भेजा। सर्व कर्मचारी संघ हरियाणा व सीटू के आह्वान पर कर्मचारी सिविल सर्जन काया्रलय पर एकत्रित हुए।
जागरण संवाददाता, यमुनानगर : स्वास्थ्य ठेका कर्मचारियों ने सेवा सुरक्षा की मांग को लेकर रोष प्रदर्शन किया और डीसी व सिविल सर्जन के माध्यम से स्वास्थ्य मंत्री को ज्ञापन भेजा। सर्व कर्मचारी संघ हरियाणा व सीटू के आह्वान पर कर्मचारी सिविल सर्जन कार्यालय पर एकत्रित हुए। विशाल कुमार व ऋषि कुमार की अध्यक्षता में सरकार की कर्मचारी विरोधी नीतियों के खिलाफ पहले रोष सभा की और उसके बाद शारीरिक दूरी बनाते हुए मास्क लगाकर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। इसका संचालन नरेश कुमार ने किया।
कर्मचारी नेताओं ने मांग की है कि लंबे समय से काम कर रहे 3200 सिक्योरिटी गार्ड को हटाने का फैसला रद किया जाए। ठेकेदार के बदलने पर किसी भी पुराने कर्मचारी को न हटाया जाए। ठेका कर्मचारियों को विभाग के पे-रोल पर लिया जाए। सेवाएं नियमित होने तक समान काम पर समान वेतन दिया जाए। कर्मचारियों को संक्रमण से बचाने के लिए आवश्यक प्रबंध किए जाएं। सभी कर्मचारियों को 50 लाख रुपये की एक्सग्रेसिया नीति में शामिल किया जाए। न्यूनतम वेतन 21 हजार व नियुक्ति पत्र दिए जाएं।
राज्य महासचिव सतीश सेठी ने कहा कि सरकार कोरोना महामारी के नाम पर लगातार कर्मचारी विरोधी फैसले ले रही है। काम के घंटे 8 से बढ़ाकर 12 कर दिए हैं। इसी प्रकार सेवादार, स्वीपर, माली, प्लंबर, इलेक्ट्रिशियन, कंप्यूटर आपरेटर, कुक, फायरमैन इत्यादि ठेका कर्मचारियो की छंटनी के उद्देश्य से टेंडर प्रक्रिया दोबारा से शुरू कर दी गई है। स्वास्थ्य ठेका कर्मचारी बिना पूर्ण सुरक्षा प्रबंधों के अपनी जान को जोखिम में डालकर पहली पंक्ति में कोरोना से जंग लड़ रहे हैं। इन्हीं कोरोना योद्धाओं को नोकरी से हटाने की योजनाएं बनाई जा रही है। मौके पर नरवेश कुमार, मधु बाला, शालू, सर्व कर्मचारी संघ हरियाणा जिला सचिव राज पाल सांगवान, प्रवेश परोचा, जोत सिंह रावत व गुलशन भारद्वाज ने भी संबोधित किया।