Move to Jagran APP

कोरोना में इलाज में कोताही पड़ रही है जान पर भारी

कोरोना संक्रमण में इलाज में देरी कितनी घातक साबित हो सकती है इ

By JagranEdited By: Published: Wed, 28 Oct 2020 05:52 AM (IST)Updated: Wed, 28 Oct 2020 05:52 AM (IST)
कोरोना में इलाज में कोताही पड़ रही है जान पर भारी
कोरोना में इलाज में कोताही पड़ रही है जान पर भारी

जागरण संवाददाता, सिरसा : कोरोना संक्रमण में इलाज में देरी कितनी घातक साबित हो सकती है इसका अंदाजा स्वास्थ्य विभाग द्वारा जारी किए गए आंकड़ों को देखकर लगाया जा सकता है। जिले में अब तक कोरोना संक्रमण से 79 लोगों की मौत हो चुकी है। इनमें से दो तिहाई यानि 50 ऐसे लोग हैं जिनकी मौत जीरो से पांच दिन में ही हो गई। संक्रमण 51 से 70 वर्ष तक के लोगों के लिए ज्यादा खतरनाक साबित हुआ है। अब तक हुई मौतों में शहरी क्षेत्र में 57 जबकि ग्रामीण में 22 मौत हुई है। 65 मामले ऐसे हैं जिनमें संक्रमित मरीज डायबिटिज, हाइप्रटेंशन, हृदय रोग, किडनी रोग इत्यादि से ग्रसित थे। 14 मरीज ही ऐसे थे जिन्हें अन्य कोई बीमारी नहीं थी। ------ स्वास्थ्य विभाग के आंकड़ों को देखें तो 30 वर्ष तक की आयु के एक ही संक्रमित की मौत हुई है। 31 से 40 आयु वर्ग के नौ, 41 से 50 आयु वर्ग के 12, 51 से 60 आयु वर्ग के 24, 61 से 70 वर्ष के 18, 71 से 18 वर्ष के 10 तथा 80 से अधिक उम्र के पांच रोगियों की मौत हुई है।

prime article banner

-----------------

कोरोना संक्रमण का पता लगने के बाद इलाज शुरू होने से मौत होने तक की समय अवधि को देखा जाए तो 25 मरीज ऐसे है जिनकी मौत मात्र दो दिनों में ही हो गई। तीन से पांच दिनों में मौत होने वालों का आंकड़ा भी 25 ही है। ऐसे में इलाज में कोताही भारी पड़ सकती है तथा समय रहते उपचार करवाना जीवनदायी बन सकता है। छह से 10 दिनों के अंदर 14 लोगों की मौत हुई जबकि 10 दिनों के बाद 15 लोगों की मौत हुई है।

-----------

थ्री टी फार्मूला पर काम कर रहा है विभाग

डिप्टी सिविल सर्जन डा. वीरेश भूषण ने बताया कि विभाग फिलहाल ट्रीपल टी के फार्मूला पर फोकस कर रहा है। मृत्यु दर को कम करने के लिए सबसे पहला फार्मूला है ट्रैसिग, मरीज का जल्द से जल्द पता लगाना। दूसरा है टेस्टिग, जैसे ही कोरोना संभावित मरीज ट्रेस हो जाए तो उसकी तुरंत टेस्टिग की जाए। तीसरा है उपचार यानि ट्रीटमेंट। टेस्टिग रिपोर्ट के आधार पर ही जल्द से जल्द मरीज का उपचार शुरू किया जा सकता है। --------

मंगलवार को कोरोना के 47 नए मामले सामने आए है। इसके साथ ही 23 लोगों को डिस्चार्ज किया गया है। अब तक जिले में 5039 मामले सामने आ चुके हें इनमें से 4613 लोग स्वस्थ हो चुके हैं। जिले में अब तक 99887 लोगों के सैंपल लिए जा चुके हैं। मंगलवार को संक्रमित मिले लोगों में से सिरसा शहर के 34 मामले हैं जबकि रानियां के पांच, माधोसिघाना, ओढ़ां व कालांवाली के दो-दो, ऐलनाबाद व बड़ागुढ़ा क्षेत्र में एक एक केस मिला है।

---------

कोरोना संक्रमण से हुई मौतों को देखें तो 50 ऐसी मौत हैं जो इलाज शुरू होने के बाद जीरो से पांच दिनों के अंदर ही हो गई। ऐसे में लापरवाही खतरनाक है। खांसी, जुकाम, बुखार की शिकायत हो तो तुरंत जांच करवाएं ताकि समय रहते इलाज शुरू हो सके। संक्रमण के लिहाज से 51 से 70 वर्ष तक के मरीजों के लिए कोरोना ज्यादा खतरनाक साबित हो रहा है और जिनको शुगर, हार्ट, जैसी गंभीर बीमारियां है उनके लिए तो स्थिति और ज्यादा चिताजनक है।

- डा. कृष्ण कुमार, सिविल सर्जन सिरसा


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.