किसान न लगाए पराली के आग : डा. देंवेंद्र
गांव नटार में कृषि विज्ञान केंद्र के प्रदर्शन प्लांट में केंद्र की अ
जागरण संवाददाता, सिरसा :
गांव नटार में कृषि विज्ञान केंद्र के प्रदर्शन प्लांट में केंद्र की ओर से दैनिक जागरण के सहयोग से किसानों को पराली न जलाने के लिए जागरूक किया गया। किसानों को स्ट्रा बेल्ट मशीन से गांठे बनाने के बारे में जानकारी भी दी गई। किसानों को पराली से गांठे बनाकर भी दिखाई गई। कृषि विज्ञान केंद्र से डा. देवेंद्र जाखड़ ने कहा कि किसान पराली को आग न लगाकर भूमि में मिलने का कार्य करें। इससे भूमि की उपजाऊ शक्ति बढ़ेगी। पराली जलाने से भूमि की उपजाऊ शक्ति जहां कमजोर होती है। वहीं पर्यावरण प्रदूषण भी बढ़ रहा है। सूक्ष्म जीव होते हैं नष्ट
केंद्र के वैज्ञानिक डा. सुनील बैनीवाल ने कहा कि भूमि में मित्रकीट व सूक्ष्म जीव होते हैं। जो फसलों के लिए काफी फायदा देते हैं। पराली जलाने से सूक्ष्म जीव व मित्रकीट नष्ट हो जाते हैं। किसान पराली को न जलाकर इससे पशु चारा भी बना सकते हैं। स्टरा बेल्ट से गांठे बनाकर किसान घर पर रख सकते हैं। केंद्र के डा. अनील सरां व डा. सुनील कुमार ने बताया कि स्टरा बेल्ट से पराली की गांठे बनाई जा सकती है। किसान इस मशीन को मार्केट से 4 लाख रुपये तक खरीद सकते हैं। इस मशीन द्वारा बनाई गांठे में मिट्टी नहीं शामिल होती है। इस मशीन द्वारा 32 किलो की गांठे तैयार की जाती है। एक एकड़ भूमि में पराली की 80 से 100 के बीच गांठे बनाई जा सकती है। जिसे किसान ट्रैक्टर या अन्य वाहनों में आसानी से लाद सकते हैं।
किसानों को जागरूक होना होगा
1. पराली जलाने से भूमि की उपजाऊ शक्ति कमजोर होती है। किसानों को यह बात समझना होगा। किसानों को पराली से गांठे बनाने के बारे में जानकारी दी गई। इससे पराली का निपटान किया जा सकता है।
वेदराज, किसान
2. पराली को वाहन में लेकर जाना काफी मुश्किल है। स्ट्रा बेल्ट से मशीन गांठे बनाई जा सकती है। इसकी कृषि वैज्ञानिकों ने बना कर दिखाई है। यह बहुत अच्छा प्रयास है। इससे किसान पराली न जलाने के लिए जागरूक होंगे।
अमन कुमार, खाजाखेड़ा
3. किसान पराली को आग न लगाकर प्रबंधन की तरफ ध्यान दें। पराली को भूमि में मिलने का अच्छा कार्य है। दैनिक जागरूक की ओर से किसानों को पराली न जलाने के लिए जागरूक किया जा रहा है। यह बहुत ही अच्छा अभियान है।
बलवीर ¨सह, किसान रामनगरियां