बारिश के तीन दिन बाद भी निकासी के इंतजाम अधूरे, ग्रामीणों की बढ़ी मुश्किलें
संवाद सहयोगी, कलानौर : भले ही बारिश को रुके तीन दिन बीत चुके हैं, लेकिन बावजूद इसके कला
संवाद सहयोगी, कलानौर : भले ही बारिश को रुके तीन दिन बीत चुके हैं, लेकिन बावजूद इसके कलानौर क्षेत्र के लोगों को मुश्किलों से दो चार होना पड़ रहा है। बारिश थमने के बाद भी निचले क्षेत्र के रिहाइशी इलाकों और खेतों में जलभराव ने लोगों की कमर तोड़ने का काम किया है। बरसाती पानी की निकासी नहीं होने से कस्बे के गांव गुढान की गलियों में जलभराव हो चुका है। बारिश के कारण गांव के तालाब के लबालब भर जाने और पानी की निकासी न होने के कारण अब यही पानी गलियों में खड़ा होकर ग्रामीणों की मुश्किलों को बढ़ा रहा है। लोगो का कहना है कि उन्होंने कई बार इस बाबत अधिकारियों से बात की लेकिन इसके बाद भी अधिकारी इस समस्या का स्थाई समाधान करने की बजाय महज खानापूर्ति कर रहे हैं। गलियों में पानी खड़े होने के कारण लोगों का घरों से बाहर निकलना भी मुश्किल हो रहा है। वहीं अब उन्हें ये भी डर है कि कहीं गंदे पानी से बीमारी न फैल जाए। गुढान गांव के जोगेंद्र पहलवान ने बताया कि जब भी बारिश आती है तो बरसात का पानी कोई निकासी नहीं होने के कारण कई-कई दिनों के लिए लोगों के घरों के आगे इकट्ठा हो जाता है। जिसके नतीजे के तौर पर लोग अपने ही घरों में कैद होकर रह जाते हैं। घरों से निकलना उन सभी के लिए बड़ी चुनौती बन जाता है। पानी के गली में जमा होने से अन्य घरों की दीवारों के गिरने का ग्रामीणों को खतरा बना रहता है। --इन गांवों में जलभराव की स्थिति कलानौर क्षेत्र के गांव सैंपल, बसाना, खेरड़ी, काहनौर, गढी, गुढाण, कटेसरा, निगाना, आंवल, पटवापुर, ¨जदराण व अन्य सभी गांवों में भारी बारिश से गांव के निचले क्षेत्रों में जलभराव हो चुका है। साथ ही खेतों में भी बरसाती पानी जमा हो चुका है जिसके चलते धान, गन्ना, कपास, अरहर, बाजरा, ज्वार, मक्का और गवार आदि की फसलें कई स्थानों पर डूब चुकी है। अगर कलानौर के खेतों के हालात पर नजर डाली जाए तो खेतों में 3 से 4 फुट पानी अब भी देखा जा सकता है। ---रबी फसल की बिजाई होगी प्रभावित कलानौर के किसानों का कहना है कि अगर समय रहते उनके खेतों से पानी न निकल सका तो रबी की फसल की बिजाई भी नहीं हो सकेगी। जिससे उन्हें दोहरी मार का सामना करना पड़ेगा। क्षेत्र के किसानों ने प्रशासन से जल्द ही उनके खेतों से जल निकासी करवा उनकी समस्या को प्राथमिकता के आधार पर हल करवाए जाने की गुहार लगाई है। गांव के लोगों ने कहा कि प्रशासन को जल्द से जल्द यहां के हालात की ओर विशेष ध्यान देने की जरूरत है। जिससे लोगों को परेशानी से छुटकारा मिल सके।