तीन माह से गैर कानूनी तरीके से भारत में रह रहा था नाइजीरियन
- फेसबुक पर दोस्ती कर रोहतक के व्यापारी से 64 लाख की ठगी का मामला - सीआइए-3 ने आरोपित को गुरुग्राम से किया था गिरफ्तार सात दिन के रिमांड पर - मार्च माह में हो चुकी है बिजनेस वीजा की अवधि खत्म दस साल पहले आया था भारत - कभी महिला बनकर तो कभी अधिकारी बनकर करता था बात 64 लाख के नट्स की भी वेल्यू नहीं जागरण संवाददाता रोहतक काठमंडी के पत्थर व्यापारी से 64 लाख की ठगी के मामले में कई बड़े खुलासे हुए हैं। पकड़ा गया नाइजीरिया का आरोपित खुद ही महिला बनकर व्यापारी से बात करता था और इसके बाद खुद ही फार्मा कंपनी का अधिकारी बनकर पामिटिक रॉ नट्स के सैंपल पास कर दिए। वीजा अवधि खत्म होने के बाद आरोपित करीब तीन माह से गैर कानूनी तरीके से भारत में रह रहा था। फिलहाल सीआइए-3 की टीम आरोपित से पूछताछ में जुटी हुई है।
जागरण संवाददाता, रोहतक : काठमंडी के पत्थर व्यापारी से 64 लाख की ठगी के मामले में कई बड़े खुलासे हुए हैं। पकड़ा गया नाइजीरिया का आरोपित खुद ही महिला बनकर व्यापारी से बात करता था और इसके बाद खुद ही फार्मा कंपनी का अधिकारी बनकर पामिटिक रॉ नट्स के सैंपल पास कर दिए। वीजा अवधि खत्म होने के बाद आरोपित करीब तीन माह से गैर कानूनी तरीके से भारत में रह रहा था। फिलहाल सीआइए-3 की टीम आरोपित से पूछताछ में जुटी हुई है। यह था मामला
काठमंडी निवासी पत्थर व्यापारी सुनील दत्त ने के फेसबुक अकाउंट पर विदेशी महिला जेनीफर एंजेल अंद्रानो ने फ्रेंड रिक्वेस्ट भेजी थी। विदेशी महिला ने अपने आप को इंग्लैंड स्थित फार्मा कंपनी में सचिव के पद पर बताया। महिला ने अपनी कंपनी के लिए पामिटिक रॉ नट्स खरीदने के लिए। इसमें सुनील दत्त को अच्छा कमीशन देने का लालच दिया। तब जेनिफर द्वारा बताई हुई नासिक स्थित कंपनी से 64 लाख रुपये के पामिटिक रॉ नट्स खरीद लिए। इसके बाद महिला से कोई संपर्क नहीं हुआ और न ही उसने नट्स की डिलीवरी ली। व्यापारी को इसका कोई पेमेंट भी नहीं किया गया। इस मामले में सीआइए-3 की टीम ने गुरुग्राम से नाइजीरिया के रहने वाले उगो इमेन्युअल को गिरफ्तार किया था। जिसे सात दिन के रिमांड पर लेकर पूछताछ चल रही है। अब यह हुआ खुलासा
सीआइए-3 प्रभारी ललित कुमार ने बताया कि जांच में सामने आया है कि फेसबुक पर आरोपित इमेन्युअल ही महिला बनकर व्यापारी से बात करता था। इसके बाद जब पहला सैंपल खरीदा गया तो आरोपित ने व्यापारी को दिल्ली में बुलाया और खुद ही कंपनी का अधिकारी बनकर वहां पहुंचा। जिसके बाद सैंपल पास कर दिया। इस दौरान उसने अपना नाम मोरिस गोल्डबन बताया। व्यापारी को अपना शिकार बनाने के लिए आरोपित कभी महिला बनकर बात करता था तो कभी कंपनी का अधिकारी बनकर। हैरानी की बात यह है कि जो नट्स व्यापारी ने नासिक की कंपनी से 64 लाख रुपये में खरीदे हैं, उनकी कोई वेल्यू नहीं है। पुलिस के अनुसार, उनकी कीमत दो या चार हजार से ज्यादा नहीं है, लेकिन व्यापारी से 64 लाख रुपये ठग लिए गए। आरोपित करीब दस साल पहले बिजनेस वीजा लेकर भारत में आया था। उसका वीजा मार्च माह में खत्म हो चुका है और वह अब गैर कानूनी रूप से भारत में रह रहा है। पुलिस ने नाइजीरिया दुतावास को भी इसके बारे में सूचना भेज दी है। फिलहाल आरोपित से पूछताछ जारी है।
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