पूर्व मंत्री बतरा ने योग गुरु बाबा रामदेव के खिलाफ दायर केस वापस लिया
जागरण संवाददाता रोहतक पूर्व गृहमंत्री एवं वरिष्ठ कांग्रेसी नेता सुभाष बतरा ने योग गुरु बाबा र
जागरण संवाददाता, रोहतक : पूर्व गृहमंत्री एवं वरिष्ठ कांग्रेसी नेता सुभाष बतरा ने योग गुरु बाबा रामदेव के खिलाफ अदालत में चल रहे मामले को वापस ले लिया है। बाबा रामदेव ने रोहतक में सद्भावना सम्मेलन में विवादित बयान दिया था, जिसको लेकर कांग्रेस नेता ने उनके खिलाफ देशद्रोह का केस दर्ज करवाने के लिए अदालत में याचिका दायर की थी। यह मामला अदालत में विचाराधीन था।
बता दें कि फरवरी 2016 में जाट आरक्षण आंदोलन के दौरान हिसा भड़क गई थी, जिसमें जान-माल का भारी नुकसान रोहतक, झज्जर व अन्य जिलों में हुआ था। इस हिसा के बाद अप्रैल 2016 में रोहतक की नई अनाज मंडी में सद्भावना सम्मेलन हुआ था। इस सम्मेलन में योग गुरु बाबा रामदेव ने मंच से बयान दिया था कि अगर कानून आड़े नहीं आता तो उन लाखों लोगों के सिर कलम कर देते, जो भारत माता की जय नहीं बोलते। इस बयान को लेकर पूर्व गृहमंत्री एवं कांग्रेसी नेता सुभाष बतरा ने पुलिस अधीक्षक को शिकायत देकर रामदेव के खिलाफ केस दर्ज करने की मांग की थी। पुलिस अधीक्षक ने जब केस दर्ज नहीं किया तो उन्होंने अदालत का सहारा लिया। अदालत के आदेश पर पुलिस ने केस दर्ज किया। अदालत ने रामदेव को पहले समन किए। इसके बाद गैर जमानती वारंट भी जारी हुए। लेकिन रामदेव अदालत में पेश नहीं हुए। अब अचानक से सुभाष बतरा ने सोमवार को अदालत में चल रहे इस मामले को वापस लेने का निर्णय ले लिया। इससे रामदेव को तीन साल से चल रहे मामले में राहत मिल गई है। रामदेव और बतरा के बीच हुई कई गोपनीय मुलाकातें
बता दें कि पूर्व मंत्री सुभाष बतरा और योग गुरु बाबा रामदेव के बीच कई बार गोपनीय मुलाकातें भी हो चुकी हैं। एक मुलाकात तो अस्थल बोहर स्थित बाबा मस्तनाथ मठ में हुई, जब महंत चांद नाथ योगी का हालचाल पूछने बाबा रामदेव आए थे। यहां बंद कमरे में काफी देर दोनों के बीच बातचीत हुई थी। इसके बाद हरिद्वार में भी पूर्व मंत्री ने रामदेव से मुलाकात की है। बाबा रामदेव ने विवादित बयान दिया था, जिसके कारण उन्होंने पहले पुलिस और बाद में अदालत में केस दर्ज कराया। रामदेव से उनकी मुलाकात हुई, जिसमें दोनों के बीच गलतफहियां दूर हो गई। इसलिए अदालत से केस वापस ले लिया है।
सुभाष बतरा, पूर्व मंत्री