पुस्तकें ही मनुष्य की सच्ची मित्र : सुमेधा
जागरण संवाददाता, रोहतक : पुस्तकें ही मनुष्य की सच्ची मित्र हैं तथा उनसे ज्यादा ज्ञान कोई अन्य व
जागरण संवाददाता, रोहतक : पुस्तकें ही मनुष्य की सच्ची मित्र हैं तथा उनसे ज्यादा ज्ञान कोई अन्य वस्तु नहीं दे सकती। नई दिल्ली के प्रगति मैदान में लगा विश्व पुस्तक मेला पाठकों को खूब लुभा रहा है। मेले में पूरे विश्व से हजारों किताबें पाठकों के लिए रखी गई हैं। जिनका भरपूर लुत्फ देश की जनता उठा रही है। यह बात महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय के पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग की प्रोफेसर सुमेधा धनी ने कही। वह शनिवार को इस मेले में भ्रमण करके वापस लौटी हैं। प्रो. सुमेधा धनी ने बताया कि महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय की लाइब्रेरी में पुस्तकें लाने के लिए एक विशेष प्रतिनिधिमंडल मेले में पहुंचा था।
प्रो. सुमेधा धनी ने बताया कि इस मेले में दुनिया के विभिन्न इलाकों के पुस्तक प्रेमी अपनी उपस्थिति दर्ज करवा रहे हैं। इस बार मेले का थीम बुक्स फॉर रीडर ऑफ स्पेशल नीड्स रखा गया है। जिसके तहत ब्रेल विधि के तहत अनेक पुस्तकें मेले में रखी गई हैं। मेले में घूमते हुए मंगल ग्रह से आया हुआ लाल रंग का प्राणी (जोकर) भी मिला जो दर्शकों को अपनी ओर आकर्षित कर रहा था। इसके अलावा विभिन्न मतों के व्यक्ति अपनी विचारधारा का वहां प्रचार करते मिले। उन्होंने बताया कि मेले में कला, संस्कृति की पुस्तकें भी देखने को मिली। भारत के तीन अलग-अलग प्रांतों में पहने जाने वाले आभूषण व जूतों का प्राचीन रूप खड़ाऊ जोकि भारत में जूतों का इतिहास नामक अंग्रेजी में किताब में मिला।