फिर से बनेंगी सब कमेटी, छह सदस्य किए शामिल
रोहतक नगर निगम सदन की बैठक में जो एजेंडे पास नहीं हो सके हैं उनके
जागरण संवाददाता, रोहतक : नगर निगम सदन की बैठक में जो एजेंडे पास नहीं हो सके हैं उनके लिए अब सब कमेटियों का गठन होगा। हालांकि विशेषज्ञ बता रहे हैं कि आखिर सीनियर डिप्टी मेयर और डिप्टी मेयर बने बगैर कोरम कैसे पूरा होगा। इसलिए सब कमेटी का गठन नियमों के विरूद्ध होगा। वहीं सदन में सड़कों के नाम स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों, महापुरुषों आदि के नाम पर चौराहों का नाम रखने के लिए छह सदस्यीय कमेटी का गठन किया गया है। मेयर मनमोहन के आदेश पर एक एलओ, एडीए के अलावा पार्षद कंचन खुराना, गुलशन ईशपुनियानी, राजू सहगल व एक अन्य पार्षद को कमेटी में शामिल किया गया है। गुलशन को पहले शामिल नहीं किया गया था, हालांकि उन्होंने हंसते हुए पूछा था कि क्या विपक्ष को भी सब कमेटी में मौका मिलेगा। इसी के बाद उन्हें सभी पार्षदों ने शामिल होने के लिए कहा। महिला पार्षदों के साथ पति भी बैठे रहे
सदन में महिला पार्षदों के साथ उनके प्रति भी साथ बैठे रहे। वार्ड-2 की पार्षद सुमन के साथ उनके पति सुरेश भी आए। सवाल भी पूछे। वार्ड-18 की पार्षद दीपिका के साथ उनके पति प्रदीप नारा भी आए, कई समस्याएं भी रखीं। हालांकि वाली बात यह रही कि जब वार्ड-19 की पार्षद मुक्ता के पति दीपक नागपाल पहुंचे। दीपक नागपाल ने एक समस्या बताने के लिए बोलने लगे तो आयुक्त प्रदीप गोदारा ने उन्हें टोक दिया और कहा प्लीज मैडम को बोलने दें। बोर्ड उखाड़ने पर बिफरे पार्षद
वार्ड-15 के पार्षद गुलशन ने सदन में नाराजगी जताई कि अपने नाम का बोर्ड तहसील के सामने ग्रीन रोड पर लगाया था। वह उखाड़कर फेंक दिया गया। मंत्री मनीष ग्रोवर के बेटे का नाम लेते हुए कहा उन्होंने मेरे वार्ड में काम तक बंद करा दिए हैं। इस बात पर पार्षद राधेश्याम ढल ने गुलशन की बात पर आपत्ति जताई। कहा कि आपकी सरकार में काम नहीं हुए। गुलशन ने कहा कि मेरे वार्ड में तो आठ-दस माह से एक भी काम नहीं हो रहा रहा, बोर्ड तक उखाड़कर फेंक दिया। एचएसवीपी के अधिकारियों को चिट्ठी भेजी जाएगी
सदन की बैठक में कुछ अधिकारी नहीं आए। पार्षदों ने इस पर आपत्ति जताई। हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण (एचएसवीपी) के एक अधिकारी बैठक में पहुंचे। हालांकि संबंधित अधिकारी वापस लौट गए। पार्षदों ने आपत्ति जताई। इसलिए आयुक्त प्रदीप गोदारा ने कहा कि संबंधित विभाग को चिट्ठी भेजेंगे। तीन दिन पहले एजेंडे मांगे जाएंगे
सदन में पार्षदों ने आपत्ति जताई कि हमें एजेंडे लगाने के लिए कोई मौका नहीं दिया। अफसरों ने जवाब दिया, लेकिन पार्षद संतुष्ट नहीं हुए। इस पर मेयर ने कहा कि अब तीन दिन पहले एजेंडे लगाने के लिए चिट्ठी भेजी जाएगी।