Rewari News: बावरिया गिरोह के दो सदस्य काबू, औलांत में पंच को मारी थी गोली, बासदूदा में परिवार पर किया था हमला
हरियाणा के रेवाड़ी में बावरिया गिरोह के दो सदस्यों को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार किए गए आरोपितों में मध्य प्रदेश के जिला मुरैना के गांव पचासा मैदान अंबाह को रहने वाला राजकुमार और राजस्थान के जिला अलवर के गांव बासनी का रहने वाला लालाराम है।
जागरण संवाददाता, रेवाड़ी: अपराध अनुसंधान शाखा सीआइए रेवाड़ी ने जिले में वारदात करने वाले गिरोह के दो सदस्यों को गिरफ्तार किया है। गिरोह द्वारा फरवरी माह में गांव बासदूदा में लूटपाट के इरादे से परिवार पर हमला किया गया था। इसके अतिरिक्त अक्टूबर-2022 में गांव औलांत में चोरी की वारदात की गई और जाग जाने पर एक पंच को गोली मार कर घायल कर दिया था।
गिरफ्तार किए गए आरोपितों में मध्य प्रदेश के जिला मुरैना के गांव पचासा मैदान अंबाह को रहने वाला राजकुमार और राजस्थान के जिला अलवर के गांव बासनी का रहने वाला लालाराम है। आरोपित लाला राम मूल रूप जिला पलवल के गांव परसा का नंगला का रहने वाला है। पुलिस ने आरोपितों से एक मोटरसाइकिल व एक राड भी बरामद की है।
दो जगह वारदात की कबूल
13 फरवरी की रात को बदमाशों ने गांव बासदूदा के रहने वाले कृष्ण कुमार के घर पर हमला किया था। कृष्ण की पत्नी व बेटा अमित कुमार जाग गए थे। जाग जाने पर बदमाशों ने कुल्हाड़ी से दरवाजा काट कर अंदर घुसने का प्रयास किया था। पुलिस को सूचना देने व ग्रामीणों के आ जाने पर बदमाश फायरिंग करते हुए फरार हो गए थे।
दूसरी वारदात 28 अक्टूबर 2022 को गांव औलांत में की थी। यहां बदमाशों ने तीन घरों में चोरी की थी। इस दौरान ग्रामीणों की नींद खुल गई थी। पीछा करने पर बदमाशों ने पंच विजय यादव को गोली मार दी थी। पैर में गोली लगने से विजय यादव घायल हो गए थे और बदमाश भाग गए थे। दोनों ही मामलों में खोल थाना पुलिस ने अलग-अलग एफआइआर दर्ज कर जांच शुरू की थी।
रिश्तेदारों ने बनाया हुआ है गिरोह
डीएसपी सुभाष चंद ने बताया कि रेवाड़ी सीआइए इंस्पेक्टर सुमेर सिंह को वारदात करने वाले गिरोह के बारे में सुराग हाथ लगे थे। सीआइए ने लालाराम को गिरफ्तार कर सात दिन के रिमांड पर लिया। पूछताछ में गिरोह के बारे में जानकारी जुटाई गई और दूसरे सदस्य राजकुमार को गिरफ्तार किया गया।
पूछताछ में सामने आया कि गिरोह में कुल सात सदस्य है और सभी आपस में रिश्तेदार है। रिश्तेदारों ने ही मिल कर अपना गिरोह बनाया हुआ था और वारदात करते थे। बावल क्षेत्र का रहने वाला रोशन लाल गिरोह का सदस्य है।
वारदात के लिए जाते थे पैदल
पुलिस ने बताया कि वारदात करने से पहले गिरोह के सदस्यों द्वारा घर की तीन-चार दिन तक रेकी की जाती थी। आने और वापस भागने के सभी रास्ताें के बारे में भी जानकारी जुटाते थे। गिरोह के सदस्य वारदात के लिए मोटरसाइकिल पर जाते थे, लेकिन जिस घर में वारदात करनी होती थी, उसे दो किलोमीटर दूर मोटरसाइकिल खड़ी कर पैदल जाते थे। गांव की फिरनी व खेतों में बने घर गिरोह का टारगेट रहते थे।
विरोध पर करते थे हमला
गिरोह के सदस्य घरों में घुस कर चोरी की वारदात करते थे। यदि मकान में सो रहे किसी भी सदस्य जाग जाता था, तो उस पर जानलेवा हमला कर देते थे। बदमाश गोली चलाने से भी नहीं चूकते थे। गांव बासदूदा में विरोध करने पर कुल्हाड़ी से हमला किया था और फायरिंग भी की थी।
इसी प्रकार ग्रामीणों के जाग जाने पर गांव औलांत में भी एक पंच को गाेली मार दी थी। एक बार वारदात करने के बाद उस क्षेत्र में तीन-चार महीने तक नहीं जाते थे। पुलिस के आने की भनक लगते ही अपना ठिकाना बदल देते थे।
पहले भी दर्ज है मामले
डीएसपी सुभाष चंद ने बताया कि पूछताछ में जिले में हुई अन्य वारदात से भी पर्दा उठने की संभावना है। गिरोह के सरगना रोशन लाल व अन्य सदस्यों की भी तलाश की जा रही है। आरोपित राजकुमार पर मध्यप्रदेश के मुरैना में कई मामले दर्ज है। आरोपित पर अवैध हथियार के मामले भी दर्ज है।