सरकारी स्कूलों में सुविधा बढ़े तो नियम 134ए की नहीं जरूरत
शिक्षा नियम 134ए के तहत निश्शुल्क दाखिला दिलाने के लिए किए जा रहे कार्यों के बजाय शिक्षा विभाग को सरकारी स्कूलों में सुविधाएं बढ़ाकर बच्चों को दाखिला के लिए प्रेरित करना चाहिए। इससे निजी स्कूलों में जरूरतमंद बच्चों को होने वाले शोषण पर रोक लगाया जा सकता है। हरियाणा विद्यालय अध्यापक संघ ने सरकार से शिक्षा में गुणात्मक सुधार एवं विकास के साथ शिक्षकों की समस्याओं का समाधान कराना चाहिए।
जागरण संवाददाता, रेवाड़ी : शिक्षा नियम 134ए के तहत नि:शुल्क दाखिला दिलाने के लिए किए जा रहे कार्यों के बजाय शिक्षा विभाग को सरकारी स्कूलों में सुविधाएं बढ़ाकर बच्चों को दाखिला के लिए प्रेरित करना चाहिए। इससे निजी स्कूलों में जरूरतमंद बच्चों के शोषण पर रोक लगाई जा सकती है। हरियाणा विद्यालय अध्यापक संघ ने सरकार से शिक्षा में गुणात्मक सुधार एवं विकास के साथ शिक्षकों की समस्याओं का समाधान कराने की मांग की है। इस संबंध में संघ के पदाधिकारियों की जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी की मासिक बैठक में मुद्दा उठाया गया। शिक्षकों ने जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी सुरेश गोरिया को ज्ञापन सौंपकर अन्य समस्याओं का भी समाधान कराने की मांग की। बैठक में सभी योजनाओं के पर्याप्त बजट जारी करना, एलटीसी, मेडिकल व एरियर बजट जारी करना, सत्र 2016-19 की सभी शिक्षकों की एलटीसी स्वीकृति व बजट जारी करने की मांग उठाई। इससे पहले संघ के जिला प्रधान महावीर सिंह की अध्यक्षता में बैठक हुई जिसमें शिक्षकों की समस्याओं पर विचार विमर्श कर अधिकारियों के समक्ष रखने का निर्णय लिया गया। जिला प्रधान महावीर सिंह ने संघ द्वारा चलाए जा रहे नामांकन अभियान को सरकारी स्कूलों में बच्चों की संख्या बढ़ाने पर जोर देने का आह्वान किया। स्कूलो मे रिक्त पड़े पदों को भरने के साथ वेतन निकलवाने में लगाई शर्त हटा मार्च का वेतन वेतन शीघ्र निकलवाने का आह्वान किया। बैठक में महासचिव सत्यपाल यादव, उपप्रधान विनोद कुमार, मीना कुमारी, कोषाध्यक्ष अजय सिंह, ऑडिटर मंजीत कुमार, प्रेस सचिव अशोक कुमार, कार्यालय सचिव कृष्ण गोपाल, विक्रम शास्त्री, अजीत सिंह, ईश्वर सिंह, धर्मवीर सिंह, ब्रह्मप्रकाश, रणधीर सिंह, विनोद कुमार, गुलशन कुमार, कृष्ण कुमार, जीत सिंह, भरत सिंह, प्रताप सिंह, विनोद शास्त्री, जितेंद्र सिंह आदि उपस्थित थे।
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अध्यापकों ने उचित विषय उठाए हैं। स्थानीय स्तर की समस्याओं को प्राथमिकता के आधार पर समाधान कराया जाएगा। जो मामले उच्च विभाग से संबंधित हैं उसे अवगत कराया जाएगा।
सुरेश गोरिया, जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी