Move to Jagran APP

खंभों व तारों को एक सप्ताह में करें ठीक: डॉ. बनवारी लाल

सहकारिता मंत्री डॉ. बनवारी लाल ने बिजली विभाग के अधिकारियों के साथ् बैठक सुविधाओं में सुधार के निर्देश दिए।

By JagranEdited By: Published: Wed, 29 Jul 2020 05:43 PM (IST)Updated: Wed, 29 Jul 2020 05:43 PM (IST)
खंभों व तारों को एक सप्ताह में करें ठीक: डॉ. बनवारी लाल
खंभों व तारों को एक सप्ताह में करें ठीक: डॉ. बनवारी लाल

जागरण संवाददाता, रेवाड़ी : सहकारिता मंत्री डॉ. बनवारी लाल ने बिजली विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए है कि जो बिजली के खंभे गिरे व झुके हुए हैं, उनको तुरंत ठीक करें ताकि इनसे कोई दुर्घटना न घटे। टूटे हुए तारों को भी शीघ्रता से ठीक करें। वह बुधवार को लोक निर्माण विश्राम गृह में बिजली अधिकारियों की बैठक ले रहे थे।

loksabha election banner

उन्होंने कहा कि बावल व धारूहेड़ा क्षेत्र में आंधी के कारण कई गांवों में बिजली के खंभे गिरे हुए है तथा कई जगह तारे नीचे हो गए या फिर टूट चुके हैं। उन्होंने निर्देश दिए कि इस कार्य को एक सप्ताह के अंदर पूरा करें तथा बिजली की सप्लाई सुचारू रूप से जारी रखें। उन्होंने कहा कि बरसात का मौसम शुरू हो चुका है। बिजली की तारे व खंभे ठीक नहीं होगें तो इससे दुर्घटना हो सकती है। उन्होंने कहा कि उपभोक्ताओं की समस्या सुनकर उनका तुरंत समाधान भी करें।

बता दें की मई में जिले में आंधी व बारिश के दौरान बावल, खोल व पाल्हावास एरिया में बड़ी संख्या में बिजली के खंभे व तार टूट गए थे। बिजली निगम को आंधी के कारण भारी नुकसान हुआ था। निगम की ओर से गांवों की बिजली आपूर्ति तो बहाल कर दी गई थी, परंतु अभी भी कई जगहों पर ट्यूबवेल की लाइन चालू नहीं हो पाई है। बारिश न होने के कारण फसलों को सिचाई की भी जरूरत है तथा सूखने की कगार पर भी पहुंच चुकी है। किसानों की ओर से भी कई बार निगम अधिकारियों को शिकायत देकर ट्यूबवेल लाइनें दुरुस्त करने की गुहार लगाई जा चुकी है परंतु आज भी कई गांवों में स्थिति जस की तस बनी हुई है।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.