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Paddy Price: बासमती का जलवा बरकरार, धान में आई एकाएक तेजी, 10 दिन और अच्‍छे भाव की उम्‍मीद

हरियाणा की मंडियों में बासमती धान के अच्‍छे भाव मिल रहे हैं। वहीं पीआर धान की ज्‍यादा मांग नहीं है। एमएसपी के भाव 1960 रुपये लेकिन किसानों को मिल रहे 1800 रुपये प्रति क्विंटल। दूसरी तरफ बासमती के रेट 4200 रुपये प्रति क्विंटल पार कर गए हैं।

By Anurag ShuklaEdited By: Published: Sat, 20 Nov 2021 11:17 AM (IST)Updated: Sat, 20 Nov 2021 11:17 AM (IST)
Paddy Price: बासमती का जलवा बरकरार, धान में आई एकाएक तेजी, 10 दिन और अच्‍छे भाव की उम्‍मीद
बासमती धान की कीमत में तेजी से उछाल।

कैथल, जागरण संवाददाता। धान एक, किस्म दो। किसान के लिए दोनों का अलग-अलग बर्ताव, पीआर को नहीं मिल रहे खरीदार तो बासमती का जलवा बरकरार। जी हां, सरकारी न्यूनतम समर्थन मूल्य पर मोटे धान पीआर को खरीदने के लिए अब कोई आगे नहीं आ रहा है। 160 रुपये से 200 रुपये तक रेट टूट कर मिल रहे हैं। दूसरी तरफ बासमती लगाने वाले किसानों की पौ बारह हो रही है। जिले की मंडियों में इसके रेट 4200 रुपये प्रति क्विंटल पार कर गए हैं। ढांड की अनाज मंडी में इसके सर्वाधिक 4280 रुपये भाव किसानों को मिले। बासमती के रेट में आई एकाएक तेजी से किसान को हफ्ते-दस दिन और बढ़ोतरी की उम्मीद है, जिसके चलते उन्होंने बासमती को स्टाक शुरु कर दिया है।

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पुरानी अनाज मंडी में पीआर धान की आवक तो हो रही है, लेकिन खरीदार नहीं मिल रहे हैं। किसान पीआर धान की ढेरी मंडी से ले जाने को मजबूर हो रहे हैं। पीआर धान का सरकारी भाव 1960 रुपये प्रति क्विंटल है, लेकिन किसानों को मंडी में 1800 रुपये प्रति क्विंटल का भाव मिल रहा है। इस किसानों को काफी नुकसान हो रहा है। धान लेकर आए किसान राजेंद्र ने बताया कि दो दिनों से धान लेकर मंडी में बैठा हूं, लेकिन खरीदार नहीं मिल रहे हैं। अब धान वापस ले जाने पर मजबूर हो रहा हूं, वहीं किसान कमलजीत ने बताया कि पीआर धान के शुरूआत में अच्छे भाव मिले, लेकिन अब सीजन समाप्ति की तरफ है तो इस किस्म की अनदेखी हो रही है।

धान के सरकारी भाव से 150 से 200 रुपये कम भाव पर धान खरीदा जा रहा है, इससे किसानों को काफी नुकसान है। सरकार ने सरकारी धान की खरीद को बंद कर दिया है। अब गेहूं की बिजाई का कार्य करीब-करीब पूरा हो चुका है, अब मंडियों में एक बार फिर से धान की आवक बढ़ेगी। गेहूं बिजाई के चलते किसानों ने धान को घर पर ही स्टाक किया हुआ था।

पुरानी अनाज मंडी एसोसिएशन प्रधान श्याम बहादुर खुरानिया ने बताया कि पीआर धान के भाव बहुत कम मिलने से किसानों में नाराजगी है। इस किस्म के भाव शुरूआत में काफी अच्छे मिले। सरकारी रेट से भी ज्यादा भाव किसानों को मिला, लेकिन अब इस धान को कम भाव पर खरीदा जा रहा है, जबकि दूसरी किस्म के धान के भाव अच्छे मिल रहे हैं। शनिवार सुबह बासमती धान चार हजार रुपये प्रति क्विंटल, 1121 धान 3800 रुपये प्रति क्विंटल, 1509 के भाव तीन हजार रुपये तो मुच्छल धान के भाव भी तीन हजार के पार मिल रहे हैं। पीआर धान को भी अच्छे भाव पर खरीदा जाए, ताकि किसानों को नुकसान न हो।

किसान को छह हजार की उम्मीद

शुक्रवार को ढांड की अनाज मंडी में बासमती के रेट बढ़कर 4280 रुपये तक पहुंच गए। धान के रेटों में दो दिनों में इतनी वृदि्ध को देखकर किसान सोचने पर मजबूर हो गए हैं कि इसके रेटों में और अधिक तेजी आने की संभावना है। किसानों ने मन बना लिया है कि अभी थोड़ा और इंतजार करेंगे, जिससे उन्हें बासमती धान के अच्छे रेट मिल सकें। किसान बलजीत सिंह, प्रवीण कुमार, ईश्वर सिंह, सोमदत्त ने बताया कि बासमती धान के रेट बढ़ना अच्छी बात है, क्योंकि धान की खेती पर उनका बहुत अधिक खर्च आया हुआ है। जबकि गत वर्षो की अपेक्षा इस वर्ष बासमती धान औसतन बहुत कम निकल रहा है। जिससे उन्हें बहुत अधिक नुकसान उठाना पड़ रहा है। किसानों का कहना है कि अगर बासमती धान का रेट 6000 रुपये प्रति क्विंटल मिले तो उनका लागत मूल्य बराबर हो जाएगा अन्यथा उन्हें काफी नुकसान झेलना पड़ सकता है।


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