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शांति देवी का मनाया अवतार दिवस, 1957 में रखी थी मंदिरों की नींव

प्रेम मंदिर में हुए धार्मिक अनुष्ठान, भजनों पर झूमे श्रद्धालु सैंकड़ों लोगों ने लंगर में ग्रहण किया प्रसाद।

By JagranEdited By: Published: Wed, 02 Jan 2019 02:17 AM (IST)Updated: Wed, 02 Jan 2019 02:17 AM (IST)
शांति देवी का मनाया अवतार दिवस, 1957 में रखी थी मंदिरों की नींव
शांति देवी का मनाया अवतार दिवस, 1957 में रखी थी मंदिरों की नींव

जागरण संवाददाता, पानीपत: भारत-पाक बंटवारे के दौरान पानीपत पहुंचकर मंदिरों की नींव रखने वाली शांति देवी महाराज का वार्ड 3 स्थित श्री प्रेम मंदिर में 119वां अवतार दिवस मनाया गया। गणपति पूजन कर कांता देवी महाराज ने कार्यक्रम का शुभारंभ किया। महिलाएं भजनों पर झूमती रहीं। बच्चों ने प्रेमावतार की जीवनलीला का चित्रण किया।

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कांता देवी महाराज ने सत्संग के जरिए गुरु की महिमा बताई। उन्होंने कहा कि गुरु का आदर करने से आर्शीवाद मिलता है। कष्ट कम होते है, घर-परिवार में सुख का आगमन होता है। शांति देवी महाराज की जीवनलीला का सजीव चित्रण करने वाली सुमन और मीनाक्षी को सम्मानित किया गया। श्रीमद्भागवत गीता, रामायण, गुरु ग्रंथ साहिब और शिव पुराण का पाठ हुआ। इसके बाद लंगर का आयोजन हुआ जिसमें सैंकड़ों लोगों ने प्रसाद ग्रहण किया। कार्यक्रम को श्री प्रेम मंदिर लय्या समिति के प्रधान परमपीर ढींगड़ा, श्री सनातन धर्म संगठन के अध्यक्ष सूरज पहलवान, श्री प्रेम मंदिर सेवक सभा के प्रधान सुनील मिगलानी ने संबोधित किया।

मंच संचालन चंद्रभान वर्मा ने किया। इस मौके पर निरंजन पराशर, रमेश माटा, ओम प्रकाश माटा, अशोक हरमिलापी, परमवीर ढींगड़ा, राणा शाह, ओम प्रकाश ढींगड़ा, युधिष्ठिर लाल शर्मा, जगदीश ढींगड़ा,मदन लाल डुडेजा और दीपक अरोड़ा आदि मौजूद रहे। शांति महाराज ने बनवाए पांच मंदिर

वार्ड -3 स्थित प्रेम मंदिर का निर्माण वर्ष 1947 में हुआ। इसके अलावा कानपुर उत्तर प्रदेश, बहादुरगढ़, गुडियानी झज्जर, दुजाना, झज्जर और और सोनीपत में भी मंदिर बनवाए। पानीपत के इंसार चौक स्थित रघुनाथ प्रेम मंदिर, शांति प्रेम मंदिर का निर्माण भी कराया। मंदिर के पुजारियों की ओर से घरों-प्रतिष्ठानों में सुंदरकांड का पाठ नि:शुल्क किया जाता है। मंदिरों में सत्संग, कीर्तन, प्रवचन और भंडारों का दौर चलता रहता है। सेवक सभा में 60 सदस्य

प्रवक्ता चंद्रभान वर्मा ने बताया कि श्री प्रेम मंदिर लय्या समिति में 25 सदस्य हैं। इनका काम मंदिर की देखरेख आदि है। श्री प्रेम मंदिर सेवक सभा में 60 सदस्य हैं। किसी भी आयोजन में सेवा का कार्य इनके जिम्मे रहता है। इन समितियों की ओर से स्वास्थ्य शिविर लगाए जाते रहे हैं। हर साल फरवरी माह में रक्तदान शिविर का आयोजन होता है। सनातन धर्म की ओर से राशन वितरण :

मंदिर की छत्रछाया में श्री सनातन धर्म संगठन के सदस्य भी वर्ष 1978 से सामाजिक कार्यों में जुटे हुए हैं। करीब 40 वर्षों से 600-700 जरूरतमंद परिवारों को नि:शुल्क राशन वितरण किया जाता रहा है। ऐसे परिवारों की बेटियों के विवाह में सिलाई मशीन सहित अन्य सामान दिया जाता है। स्कूल के बच्चों को स्टेशनरी और ड्रेस दी जाती है। देश के किसी हिस्से में आई प्राकृतिक आपदा के समय भी मदद भिजवाई जाती है। अब परिवार मिलन भी

मंदिर की छत्रछाया में गुरु कृपा जीवन साथी परिवार केंद्र का गठन भी हुआ है। मंगलवार पहला दिन था और पांच परिवारों ने अपने विवाह योग्य पुत्र-पुत्रियों का बायोडाटा जमा किया। सौ के आसपास आवेदन आने पर एक कार्यक्रम में दोनों पक्ष के परिवारों को मिलवाया जाएगा।


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