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औद्योगिक प्लॉट घोटाला: हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण का पटवारी सस्पेंड Panipat News

रोहतक प्रशासक ने जांच रिपोर्ट के आधार पर कार्रवाई की। फर्जी लेटर के आधार पर उद्यमी को 800 वर्ग मीटर का प्लॉट कर दिया था अलॉट।

By Anurag ShuklaEdited By: Published: Wed, 11 Dec 2019 05:03 PM (IST)Updated: Wed, 11 Dec 2019 05:18 PM (IST)
औद्योगिक प्लॉट घोटाला: हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण का पटवारी सस्पेंड Panipat News
औद्योगिक प्लॉट घोटाला: हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण का पटवारी सस्पेंड Panipat News

पानीपत, जेएनएन। औद्योगिक सेक्टर-28 में 800 वर्ग मीटर के प्लॉट घोटाले की गाज हरियाणा शहरी विकास प्राधिकरण के अधिकारियों पर पडऩे लगी है। रोहतक प्रशासक ने पटवारी कर्मचारी को सस्पेंड कर दिया है। इस मामले में सहायक एस्टेट ऑफिसर, प्लॉट अलॉटी उद्यमी और रोहतक प्रशासक के डिप्टी सुपङ्क्षरटेंडेंट समेत सात लोगों को जांच में शामिल किया था। यह प्लॉट घोटाले में पहली कार्रवाई है। इससे बाकी आरोपितों की भी धड़कनें बढ़ गई हैं। 

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एचएसवीपी के फरीदाबाद प्रशासक ने मामले की जांच की थी। उन्होंने इसमें सहायक एस्टेट ऑफिसर संतोष मेहता, एचएसवीपी के रोहतक प्रशासक कार्यालय में तैनात डिप्टी सुपरिटेंडेंट श्याम सुंदर, जेई सतीश कुमार, पटवारी कर्मबीर, डायरी क्लर्क राजेश कुमार और जय घी ओवरसीज के मालिक न्यू हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी के चंद्रभान को जांच में शामिल किया था। जांच रिपोर्ट रोहतक प्रशासक को सौंपी थी। रिपोर्ट के आधार पर सोमवार को कर्मबीर पटवारी को सस्पेंड कर दिया गया। 

एडजेस्टमेंट लैंड अलॉटमेंट का लेटर फर्जी

फरीदाबाद प्रशासक ने रिपोर्ट में बताया कि इसमें एडजेस्टमेंट लैंड अलॉटमेंट का लेटर फर्जी जारी करना पाया गया। अधिकारियों ने इंडस्ट्रियल सेक्टर में 13 नंबर प्लॉट जय घी ओवरसीज को 28 मार्च 2012 को अलॉट किया था। इसके साथ लगती बचत की 800 वर्ग मीटर जमीन भी इनको अलॉट कर दी। यह अलॉटमेंट बीबी तनेजा डिप्टी सुपरिटेंडेंट अर्बन ब्रांच के हस्ताक्षरों पर किया गया। जबकि इसका कोई पत्र जारी नहीं किया गया था और न ही किसी अधिकारी ने इसकी अप्रूवल दी थी। मामले में पहली सुनवाई 30 दिसंबर 2015 को हुई। इसके बाद 13 जनवरी 2016 को दूसरी सुनवाई की।

यह है मामला 

एचएसवीपी ने सेक्टर-29-ए के साथ लगती जमीन पर सेक्टर-28 काटा था। यहां करीब 200 फैक्ट्री हैं। 29 अक्टूबर 2013 को न्यू हाउङ्क्षसग बोर्ड कॉलोनी के चंद्रभान के नाम दो अलॉटमेंट लेटर जारी किए गए। चंद्रभान को 6500 वर्ग मीटर के हिसाब से राशि जमा कराने की कही। उन्होंने इसके आधार पर 18 दिसंबर 2013 को 52 लाख रुपये जमा करा दिए। अलॉटमेंट लेटर देने के बाद विवाद बढ़ गया। अलॉटी ने इसकी शिकायत मुख्य प्रशासक को कर दी। 

रोहतक प्रशासक ने जांच रिपोर्ट के आधार पर पटवारी कर्मबीर को सस्पेंड किया है। सस्पेंड के दौरान उसे एक्सईएन पानीपत कार्यालय अटैच किया है। आगामी कार्रवाई अधिकारियों के मार्गदर्शन में की जाएगी। 

योगेश रंगा, ईओ, एचएसवीपी, पानीपत।


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