विधायक ले रहे थे भ्रष्टाचार रोकने को बैठक, निगम अफसर बना रहे थे घोटाले का प्लान Panipat News
विधायक ने भ्रष्टाचार रोकने को बैठक ली। वहीं 16 लाख की पेमेंट कर घोटाले की जुगत में निगम अफसर लगे हुए थे।
पानीपत, जेएनएन। शहरी विधायक प्रमोद विज शहर की कायापलट करने और निगम में भ्रष्टाचार रोकने के लिए एक्शन में दिखाई दे रहे हैं। रविवार को पार्षदों की बैठक के बाद दो अलग-अलग बैठकें लीं। पहली बैठक स्काईलार्क में बाजार प्रधानों के साथ की। अतिक्रमण खत्म कर बाजारों को जाम मुक्त करने की दिशा में कदम उठाए गए। बाजार प्रधानों से सहयोग मांगा।
दूसरी बैठक सरकारी विश्राम गृह में मेयर अवनीत कौर को साथ लेकर निगम अधिकारियों की ली। दोनों बैठकों में निगम कमिश्नर ओमप्रकाश साथ रहे। इसी दौरान निगम अधिकारी स्ट्रीट लाइटों की 16 लाख की पेमेंट कर एक और घोटाले की तैयारी में थे, जबकि हाउस में उठे मुद्दे के बाद स्ट्रीट लाइटों की जांच विचाराधीन है। पार्षद दुष्यंत भट्ट की चिट्ठी के बाद कमिश्नर ने अकाउंट अफसर से स्ट्रीट लाइटों की मेंटेनेंस की पेमेंट रुकवा दी।
सरकारी विश्राम गृह में सोमवार दोपहर बाद 2:30 बजे अधिकारियों के साथ बैठक शुरू हुई और 4:30 बजे तक चली। इसमें सफाई, टेंडर, स्ट्रीट लाइट और ट्रैफिक जाम समेत कई मुद्दों पर मंथन किया। 27 नवंबर को दोबारा बैठक बुलाई है।
दो बड़े मुद्दे निगम की नाक कटवा रहे
नंबर-एक : करोड़ों खर्च, लाइट दिख नहीं रही : विज
स्ट्रीट लाइटों में बड़ा घोटाला है। वर्ष 2018-19 में लगी लाइटों की जांच कमेटी कर रही है। हाउस की आगामी बैठक में जांच रिपोर्ट रखी जानी है। करीब आठ करोड़ की स्ट्रीट लाइट एक साल में लगवाई गई हंै। इनमें 1.50 करोड़ की लाइटें बिना टेंडर लगवा दी गईं। इसके बाद भी करीब पांच करोड़ की स्ट्रीट लाइटों के टेंडर लगाए गए हैं। 2.50 करोड़ का एक टेंडर गत दिनों ही रद किया गया है। विधायक प्रमोद विज ने बताया कि दो सालों में बड़ी संख्या में टेंडर लगे और करोड़ों की पेमेंट की गई। शहर में कहीं पर भी स्ट्रीट लाइट नहीं दिखाई दे रही। निगम के पास ठेकेदारों और स्ट्रीट लाइटों का रिकॉर्ड तक नहीं है।
नंबर-दो
टेंडर लगाने और एन्हांस करने में बड़ा खेल
निगम में सबसे बड़ा घोटाला सिविल वर्क में है। अधिकारी शुरुआत में कम राशि भरकर टेंडर लगा देेते हैं। इसे बाद में एन्हांस कर देते हैं। यह फर्जीवाड़ा पार्कों और नालों में सबसे अधिक है। विधायक प्रमोद विज ने कहा कि निगम के इंजीनियर किसी भी काम की ड्राइंग बनाते हैं उसी हिसाब से राशि तय करते हंै। ऐसे में टेंडर एन्हांस करने की जरूरत नहीं पडऩी चाहिए। अधिकारी आगे से किसी भी टेंडर को एन्हांस नहीं करेंगे। जरूरत पडऩे पर दूसरा टेंडर लगाकर काम करें।
इन मुद्दों पर भी चर्चा
-डेयरियों को शहर से बाहर शिफ्ट किया जाएं। इसके लिए बरसत रोड पर जगह देखी जाएगी। विधायक ने बिंझौल स्थित डेयरियों का मौका देखा।
-शहर में तीन स्थायी रैन बसेरे बनाएगा। ये बरसत रोड, सनौली रोड और बस स्टैंड-रेलवे स्टेशन के आसपास होंगे। ये शाम 7 से सुबह 7 बजे तक हर मौसम में खुलेंगे।
-स्लाटर हाउस भी बरसत रोड पर स्थापित किए जाएंगे।
-शहर में शौचालयों की व्यवस्था सुधारी जाएगी। इनके रख-रखाव के लिए एक कंपनी को जिम्मा दिया जाएगा।
-ट्रैफिक जाम बड़ी समस्या है। एलिवेटेड हाईवे पर दोनों तरफ कट खुलवाने के साथ शहर के अंदर काम करने की जरूरत है।
-रेहड़ी मार्केट के लिए हर वार्ड में अलग से जगह होगी। सड़कों पर रेहड़ी नहीं लगाई जाएगी।
-सफाई शहर की जरूरत है। इसके लिए लोगों को जागरूक किया जाएगा।
ये बड़ी चुनौती
विधायक अधिकारियों के साथ बैठक में सब कुछ तय कर लेते हैं। बावजूद इसके काम और इसके तरीके में कोई सुधार नहीं हो पाता। अब देखना है कि प्रमोद विज निगम के काम को पटरी पर ला पाते हैं या नहीं। यह उनके लिए बड़ी चुनौती होगी।
बड़ा सवाल
शहर में स्ट्रीट लाइटों और निर्माण कार्यों पर लगातार सवाल उठे रहे हैं। हर बैठक में अधिकारियों की नीयत पर सवाल खड़े किए जाते हैं। निगम अधिकारियों की मनमर्जी पर रोक कैसे लगेगी?
जांच कमेटी ने पत्र में यह लिखा
जांच कमेटी के अध्यक्ष पार्षद दुष्यंत भट्ट ने निगम कमिश्नर को पत्र लिखकर स्ट्रीट लाइटों की मेंटेनेंस के नाम पर एक फर्म को 16 लाख की पेमेंट करने की ङ्क्षचता जताते हुए तुरंत रोक लगाने की मांग की। भट्ट ने कहा कि 10 अगस्त को हाउस की बैठक में स्ट्रीट लाइटों की जांच कराने का फैसला लिया था। रिपोर्ट आनी बाकी है। अब निगम एक फर्म को 16 लाख का भुगतान कर रहा है। स्ट्रीट लाइटों की 10 अगस्त के बाद किसी प्रकार की पेमेंट करने पर अधिकारी खुद जिम्मेदार होंगे। अधिकारी हाउस की बैठक में जांच रिपोर्ट आने तक पेमेंट न करें।
बाजार में 12 बजे के बाद दुपहिया के अलावा दूसरा व्हीकल नहीं जाएगा
विधायक प्रमोद विज ने स्काईलार्क में एक बजे बाजार प्रधानों के साथ बैठक की। यह एक घंटे तक चली। मेयर अवनीत कौर की जगह उनके पिता एवं पूर्व मेयर भूपेंद्र सिंह बैठक में शामिल हुए। संयुक्त व्यापार मंडल के प्रधान अनिल मदान, चेयरमैन दर्शन वधवा, इंसार बाजार के प्रधान गौरव लीखा, देवी मंदिर रोड के प्रधान सुशील भराड़ा और सलारगंज गेट के प्रधान विजय कक्कड़ रहे। बाजार के प्रधानों ने कहा कि रिक्शा और दूसरे वाहनों के जाने से बाजार में जाम लगता है। दुकानदारों के रेहड़ी लगवाने और दोपहिया वाहन खड़ा होने से समस्या बढ़ रही है। विधायक ने कहा कि शहर की समस्याओं का समाधान एक्सपर्ट की राय लेकर कराना जरूरी है। फिलहाल अतिक्रमण हटाना जरूरी है। बाजार में 12 बजे के बाद दोपहिया के अलावा दूसरा वाहन नहीं आने दिया जाएगा। कूड़ा उठाने के लिए ट्राली भी इससे पहले ही आएंगी। हर एंट्री प्वाइंट पर पुलिसकर्मी या होमगार्ड का जवान तैनात किया जाएगा। बाहर सामान रखने पर दुकानदारों के लगातार चालान किए जाएंगे। पहला चालान 2000 रुपये का होगा। इसके बाद हर चालान पर एक हजार रुपये बढ़ेंगे। दुकानदार निश्चित तारीख तक चालान नहीं भरेगा तो कोर्ट में जाएगा। बुधवार से चालान काटने शुरू किए जाएंगे। दो दिन दुकानदारों को जागरूक किया जाएगा।