फिल्मी कहानी जैसा इस विलेन का सफर, रंगमंच का शौक परवान चढ़ा तो मायानगरी में छाया Panipat News
पानीपत के दीपक भाटिया ने रंगमंच से लेकर मायानगरी तक का सफर तय किया। उन्होंने काफी संघर्षों के बाद मुकाम हासिल किया।
पानीपत, [रामकुमार कौशिक]। मायानगरी के इस विलेन के जीवन के संघर्ष की कहानी किसी फिल्म से कम नहीं हैं। कभी सोने को जगह नहीं थी तो कभी भूखे पेट ही रहना पड़ता था। आर्थिक तंगी से जूझने के बावजूद मायानगरी का सपना नहीं छोड़ा। अब पानीपत के दीपक भाटिया हर किसी के दिलों दिमाग में बस चुके हैं, वो भी विलेन के किरदार को लेकर।
करीब अठारह साल के अपने फिल्मी सफर में सौ से ज्यादा फिल्मों में अहम रोल अदा कर चुके दीपक नंदकिशोर भाटिया किसी परिचय के मोहताज नहीं हैं। इनकी अभीनित फिल्मों में हिन्दी के साथ-साथ भोजपुरी व पंजाबी फिल्में भी शामिल हैं। हाल में भी कई फिल्मों में काम कर रहे हैं। औद्योगिक नगरी पानीपत के दीपक नंदकिशोर भाटिया का रंगमंच से मायानगरी तक का सफर कुछ कम फिल्मी नहीं है।
बड़े पर्दे पर अलग पहचान
इन्होंने स्थानीय रंगमंच से छलांग लगा मायानगरी मुंबई के बड़े पर्दे पर अपनी अलग ही पहचान बनाई है। रंगमंच से मायानगरी तक के इस सफर में वो आर्थिक तंगी से ही नहीं गुजरे, बल्कि भूखे तक रहे। पानीपत के वार्ड-3 इंसार चौक वासी दीपक नंदकिशोर भाटिया ने दैनिक जागरण से बातचीत में बताया कि 12 वीं तक की पढ़ाई उन्होंने शहर में ही की थी।
चंडीगढ़ में रहकर रंगमंच में शामिल हुए
बीए चंडीगढ़ यूनिर्वसिटी से की। वहां होने वाले कार्यक्रमों में भाग लिया। वहीं से रंगमंच का शौक परवान चढ़ा और पढ़ाई पूरी होने के बाद वो शहर में ही रंगमंच करने लगे। इसी रुचि को सफलता के आयाम देने के लिए दिल्ली स्थित श्रीराम सेंटर से एक्टिंग में डिप्लोमा किया। वहां से मायानगरी की उड़ान भरी। उस उड़ान को करीब एक दशक के संघर्ष के बाद ऐसे पंख लगे कि आज वे फिल्मी पर्दे पर जाने-माने कलाकारों में शुमार हैं।
इन फिल्मों में कर चुके हैं अभिनय
भाटिया ने बताया कि उन्होंने फिल्मी पर्दे पर अपने कॅरियर की शुरुआत भोजपुरी फिल्म से की। चेहरे और कद काठी के हिसाब से उन्हें विलेन का रोल मिला। मौके को बेकार नहीं जाने दिया और इसे बखूबी भुनाते हुए एक्टिंग से सभी को प्रभावित किया। इसके बाद एकाएक फिल्म साइन होतीं गईं। भोजपुरी फिल्मों के अलावा पंजाबी व हिंदी फिल्मों में विलेन का रोल कर चुके हैं। दबंग-3 में भी नेगेटिव पुलिस ऑफिसर का रोल किया। हाल में ही उनकी सुल्तान मिर्जा की शूटिंग भी चल रही है। इसमें वे सेंटर विलेन का रोल अदा कर रहे हैं। इसके लेखक भी वे खुद ही हैं। मार्च में जहां बगावत फिल्म की शूटिंग शुरू होगी, वहीं पंजाबी फिल्म काली सरहद जल्द दर्शकों के सामने होगी। स्टार भारत पर आने वाले धारावाहिक राधा-कृष्ण में वे शुक्राचार्य की भूमिका में हैं। दीपक भाटिया बताते हैं कि मायानगरी में सफलता आसानी से नहीं मिली। इसके लिए कई चुनौतियों और संघर्षो का सामना करना पड़ा। शुरुआत में छोटे-मोटे रोल के ऑफर आए। अच्छा रोल पाने के लिए काफी दिनों तक संघर्ष करना पड़ा। आज जो कुछ हूं, उससे खुश हूं।