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नाइजेरियन तस्‍कर दिल्‍ली से हरियाणा में सप्‍लाई कर रहे स्‍मैक, वाट्सअप कॉल से करते डील

नाइजेरियन ड्रग डीलर पुलिस से बचने के लिए वाट्सअप कॉल और मैसेजिंग से डील तय करते हैं। डीलर पश्चिमी दिल्ली से स्‍मैक लाकर हरियाणा और पंजाब में सप्‍लाई कर रहे हैं।

By Anurag ShuklaEdited By: Published: Sat, 22 Aug 2020 01:00 PM (IST)Updated: Sat, 22 Aug 2020 01:00 PM (IST)
नाइजेरियन तस्‍कर दिल्‍ली से हरियाणा में सप्‍लाई कर रहे स्‍मैक, वाट्सअप कॉल से करते डील
नाइजेरियन तस्‍कर दिल्‍ली से हरियाणा में सप्‍लाई कर रहे स्‍मैक, वाट्सअप कॉल से करते डील

पानीपत/अंबाला, [मनीष श्रीवास्‍तव]। हरियाणा और पंजाब के युवाओं तक नशा पहुंचाने के लिए नाइजेरियन ड्रग डीलर वाट्सअप कॉल और मैसेजिंग का इस्‍तेमाल कर रहे हैं। पश्चिमी दिल्‍ली से ड्रग लाकर आसानी से सप्‍लाई करके निकल जाते हैं। सौदेबाजी का पूरा खेल ऑनलाइन होता है। पिछले दिनों पुलिस के हत्‍थे चढ़े स्‍मैक तस्‍करों ने ये पर्दाफाश किया है।

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पश्चिमी दिल्ली में सक्रिय नाइजेरियन हरियाणा और पंजाब की अपेक्षा काफी कम कीमत पर युवाओं को ड्रग देते हैं। नशे की खेप को आदी युवाओं को तक पहुंचाने के लिए नाइजेरियरन वाट्सअप कॉल और मैसेज से डील कर रहें हैं। डील होने के बाद नशे के सौदे की डिलीवरी के लिए दिल्ली बुलाते हैं। दिल्ली में पहुंचने के बाद वाट्सअप काल पर बताए लोकेशन पर पहुंचने पर स्मैक देते। 

डिलीवरी से पहले आनलाइन मंगवाते हैं रुपये

नशे के सौदे की डिलीवरी होने से पहले ऑनलाइन फंड ट्रांसफर कराते हैं। फंड ट्रांसफर होते ही स्मैक लेने के लिए दिल्ली पहुंचने के बाद सूनसान अथवा भीड़भाड़ वाले बाजार में बुलाया जाता है। एक बार अगर किसी को अगर बाजार में स्मैक की डिलेबरी हो गई तो अगली बार उसे दूसरे स्थान पर बुलाया जाता है। ताकि पुलिस को इस तरह की गतिविधियों की जानकारी न हो सके।

 

पकड़े गए आरोपित नहीं बता पाते ठिकाना

अंबाला पुलिस के हत्थे स्मैक सहित चढ़े आरोपितों में सर्वाधिक ने दिल्ली में सक्रिय नाइजेरियन से सौदा लाने की बात पुलिस को बताते हैं। जब पुलिस संबंधित नंबरों पर कॉल करती है तो वह नहीं जाती। इसके बाद वाट्सअप कॉल और मैसेज की डिटेल के अलावा लोकेशन ट्रेस करने के लिए पापड़ बेलने पड़ते हैं। क्योंकि वाट्सअप का सर्वर जापान के कैलीफोनिया में स्थित है और वहां से डिटेल मंगवाने के लिए गृहमंत्रालय की संस्तुति लेना अनिवार्य होता है।

गृहमंत्रालय में पहुंच रहे पुलिस के पत्र

स्मैक सहित नशे की डिलेबरी में इस्तेमाल वाट्सअप काल और मैसेज सहित लोकेशन की जानकारी हासिल करने लिए गृहमंत्रालय में रोजाना पुलिस के 500 सौ से अधिक पत्र पहुंच रहे हैं। इसमें जो बड़ी खेप पुलिस बरामद करती है उसके बारे में ही भारत के गृहमंत्रालय से जापान को पत्र लिखा जाता है।

हमारे पास जो भी इस तरह के केस आते हैं उसमें सर्वाधित ट्रेस कर लिए जाते हैं। इसके लिए अपने मुखबिर को सक्रिय किया जाता है। पकड़े आरोपितों में सर्वाधिक नशे के आदी शामिल है, जो अपनी लत मिटाने के लिए स्मैक की खेप पहुंचाने में कैरियर की भूमिका अदा कर रहे हैं। ऐसे आरोपितों की काउंसिलिंग भी कराई जाती है, ताकि वह इस मकड़जाल से निकल सकें।

कुलभूषण, एसटीएफ डीएसपी।


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