जींद में मेडिकल कॉलेज का सपना जल्द होगा साकार, कैबिनेट की इंफ्रास्ट्रक्चर कमेटी ने दी मंजूरी
कैबिनेट की इंफ्रास्ट्रक्चर कमेटी ने मंजूरी दे दी है। 550 की जगह 750 बेड का बनेगा मेडिकल कालेज। दो चरणों में काम होगा। एमबीबीएस एमएस और एमडी के कोर्स शुरू होंगे।
पानीपत/जींद, जेएनएन। हैबतपुर गांव में प्रस्तावित मेडिकल कालेज अब 550 की जगह 750 बेड का बनेगा। इस संबंध में इसी सप्ताह हुई कैबिनेट की इंफ्रास्ट्रक्चर कमेटी की मीङ्क्षटग में मंजूरी दी गई है। इस पर सवा पांच सौ करोड़ रुपये से ज्यादा का खर्च आएगा। कालेज में एमबीबीएस के कोर्स के साथ-साथ एमएस व एमडी के कोर्स भी शुरू होंगे। टेंडर प्रक्रिया पूरी होते ही निर्माण शुरू हो जाएगा। शुक्रवार सुबह पार्टी कार्यालय में पत्रकारों से बातचीत में दुष्यंत चौटाला ने इसकी जानकारी देते हुए बताया कि जींद जिले की सबसे बड़ी समस्या स्वास्थ्य सुविधाओं की है। इस व्यवस्था को सुधारने के लिए आधुनिक सुविधाओं पर जोर रहेगा।
गौरतलब है कि बीजेपी सरकार के पिछले कार्यालय में दिसंबर 2014 में सीएम मनोहर लाल ने जींद में मेडिकल कॉलेज बनाने की घोषणा की थी। मेडिकल कॉलेज के लिए हैबतपुर गांव की ग्राम पंचायत ने करीब साढ़े 24 एकड़ जमीन सरकार को दी थी। लेकिन पिछले कार्यकाल में मेडिकल कॉलेज के लिए प्रक्रिया काफी धीमी रही। चुनाव से कुछ माह पहले बीएंडआर ने डीपीआर तैयार कराने के लिए एजेंसी को टेंडर दिया था।
अभी ये चल रही प्रक्रिया
बीएंडआर ने एजेंसी से जो डीपीआर बनवाई थी, वो आइटम वाइज नहीं थी। जिसके चलते बीएंडआर ने दोबारा डीपीआर बनवाने के लिए टेंडर मांगे थे। जिनकी टेक्निकल व फाइनेंशियल बिड खुलने के बाद एजेंसी को टेंडर अलॉट किया जाएगा। भवन, पार्क समेत आइटम वाइज कितना खर्च आएगा, एजेंसी इसकी डीपीआर तैयार करेगी। इसे तैयार करने में दो से तीन माह का समय लग सकता है। डीपीआर तैयार होने के बाद बीएंडआर मेडिकल के निर्माण के लिए टेंडर प्रक्रिया शुरू करेगी।
दो चरणों में होगा काम
मेडिकल कॉलेज में अलग-अलग 12 बड़े ब्लॉकों का निर्माण होगा, जो दो चरणों में पूरा होगा। इनमें पहले चरण में ट्रेनिंग अस्पताल, पावर सब-स्टेशन, पुलिस स्टेशन, वेस्ट मैनेजमेंट बिङ्क्षल्डग, लड़के और लड़कियों के हॉस्टल भवन, नर्सिंग हॉस्टल, जूनियर और सीनियर डॉक्टरों के हॉस्टल, प्राचार्य आवास, शॉपिंग कॉम्प्लेक्स, गेस्ट हाउस तथा 650 बेड के अस्पताल का भवन शामिल है। मेडिकल कॉलेज में ब्लड बैंक, पैथ लैब, रेडियोग्राफी ब्लॉक, ओपीडी ब्लॉक भी बनाए जाएंगे। मेडिकल कॉलेज परिसर में कॉलेज के स्टाफ के लिए रिहायशी क्वार्टर बनेंगे।
डीपीआर तैयार करने के लिए टेंडर लगाया था, जो खुल चुका है। जल्द ही टेंडर अलॉट कर दिया जाएगा। सरकार के फैसले के अनुसार मेडिकल कॉलेज 550 से 750 बेड का बनाया जाता है तो उसी के हिसाब से डीपीआर में बदलाव हो जाएगा। इसका बजट करीब 524 करोड़ रुपये है। बेड बढऩे से बजट खर्च ज्यादा नहीं बढ़ेगा। लेकिन इसमें जो जरूरत होंगी, उसी हिसाब से बदलाव कर दिया जाएगा।
- नवनीत नैन, एक्सईएन, बीएंडआर