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बड़ा पर्दाफाश, हिस्सेदार ही निकला सील गोदाम से शराब चोरी का सरगना, सिपाही सहित छह गिरफ्तार

2016 में खामियां मिलने पर एक्साइज विभाग ने गोदाम को सील कर दिया था। लॉकडाउन के दौरान गोदाम से 86 लाख रुपये की शराब चोरी हुई।

By Anurag ShuklaEdited By: Published: Tue, 12 May 2020 01:13 PM (IST)Updated: Tue, 12 May 2020 05:33 PM (IST)
बड़ा पर्दाफाश, हिस्सेदार ही निकला सील गोदाम से शराब चोरी का सरगना, सिपाही सहित छह गिरफ्तार
बड़ा पर्दाफाश, हिस्सेदार ही निकला सील गोदाम से शराब चोरी का सरगना, सिपाही सहित छह गिरफ्तार

पानीपत, जेएनएन। सील शराब गोदाम से करीब 86 लाख रुपये की शराब चोरी के मामले में पुलिस ने बड़ा पर्दाफाश किया है। कारोबार में हिस्सेदार सोनीपत का शामड़ी गांव वासी ईश्वर ही चोरी का मुख्य सरगना निकला। सीआइए-2 पुलिस टीम ने हरियाणा पुलिस के सिपाही सहित छह लोगों को गिरफ्तार किया है। प्रारंभिक पूछताछ में सामने आया है कि गोदाम से उन्होंने करीब 4500 पेटी शराब चोरी की।

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सीआइए-2 प्रभारी निरीक्षक दीपक कुमार ने बताया कि रविवार शाम सूचना मिली कि गोदाम से शराब चोरी करने वाले गिरोह के लोग गोहाना रोड डाहर बाईपास के पास घूम रहे हैं। दबिश देकर उन्होंने रजनीश वासी कथूरा (सोनीपत), अजमेर उर्फ मोनू वासी धामड़ (रोहतक) व दीपक उर्फ टाचवा वासी मांडौठी (झज्जर) को पकड़ा। पूछताछ में उन्होंने साथियों संग गोदाम से शराब चोरी की बात कुबूली। वारदात में शामिल सुधीर वासी जागसी, सोमबीर उर्फ सीमा वासी बली कुतुबपुर व ईश्वर वासी शामड़ी जिला सोनीपत को सेक्टर 11-12 पानीपत से काबू किया। आरोपितों का कोरोना टेस्ट भी नहीं कराया गया।

कार छोड़ भागे थे

24 अप्रैल की रात रजनीश, अजमेर व दीपक गोदाम से शराब चोरी कर दीपक की स्विफ्ट कार में लेकर जा रहे थे। रास्ते में पुलिस ने पीछा किया तो भोड़वाल माजरी के पास खेतों में गाड़ी को छोड़ फरार हो गए थे। पुलिस ने गाड़ी व उससे 20 पेटी शराब जब्त कर अज्ञात लोगों के खिलाफ केस भी दर्ज किया था।

मुख्य सरगना रिमांड पर

सभी आरोपियों को अदालत पेश किया गया। दीपक, अजमेर, रजनीश, सुधीर व सोमबीर को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया। गिरोह के सरगना ईश्वर को मामले में पूछताछ व शामिल अन्य साथियों के ठिकानों का पता लगाने के लिए चार दिन के रिमांड पर लिया गया है।

यह है आरोपियों की कहानी

मुख्य सरगना ईश्वर का एल-1 में हिस्सा था। दूसरा आरोपित सुधीर वर्ष 2018 में शराब चोरी के केस में जेल गया था। साल भर पहले जमानत पर बाहर आया था। तीसरा आरोपित अजमेर उर्फ मोनू हरियाणा पुलिस में झज्जर में सिपाही के पद पर तैनात है। वह कुछ समय से चौथे आरोपित दीपक उर्फ टाचवा का गनमैन लगा हुआ था। दीपक की गांव में आपसी रंजिश चल रही है। वर्ष 2012 में उसके भाई की बहादुरगढ़ में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। वह इस मामले में गवाह है। पुलिस ने उसे सुरक्षा के लिहाज से गनमैन दिया हुआ था। पांचवां आरोपित रजनीश, सिपाही अजमेर का दोस्त है। उसी ने अजमेर को अपने जानकार ईश्वर से मिलवाया था। सुधीर व सोमबीर पहले से ही ईश्वर के संपर्क में थे। सभी ने साजिश रचकर गोदाम से शराब की पेटियां चोरी की।



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