सूर्य ग्रहण से पहले गुरु अस्त, मंगल ने बदली राशि, और भी जानिए खगोलीय घटना के बारे में
सूर्यग्रहण पर कंकण आकृति केरल तमिलनाडु कर्नाटक सहित दक्षिण प्रदेशों में दिखेगी। 8 वर्ष 11 मास 22 दिन बाद 26 दिसंबर को कुरुक्षेत्र में सूर्यग्रहण मेला लगेगा।
पानीपत/कुरुक्षेत्र, जेएनएन। सूर्यग्रहण एक अछ्वुत खगोलीय घटना है, लेकिन अबकी बार ग्रह नक्षत्रों ने कुछ विशेष चाल चली है। यह प्राकृतिक रूप से शुभ नहीं है। एक और इस मास 26 दिसंबर को सूर्यग्रहण पूरे भारत में दिखाई देगा, तो वहीं 15 दिसंबर को गुरु ग्रह अस्त हो गए हैं। सूर्यग्रहण से एक दिन पहले 25 दिसंबर को मंगल ग्रह रात्रि 9-27 पर तुला राशि छोड़कर वृश्चिक में प्रवेश करेगा। इस घटना से भूकंप, बाढ़, बर्फबारी और असमय बरसात से जनधन की हानि के संकेत हैं। इस साल का सूर्यग्रहण 26 दिसंबर को लग रहा है। सूर्यग्रहण हमेशा अमावस्या के दिन लगता है। हिंदू पंचांग की मानें तो पौष माह की कृष्ण पक्ष की अंतिम तिथि को पौष अमावस्या कहते हैं।
गायत्री ज्योतिष अनुसंधान केंद्र के संचालक पंडित रामराज कौशिक ने बताया कि पौष मास की मौनी अमावस्या पर मूल नक्षत्र, वृद्धि योग, नागकरण की साक्षी में सूर्यग्रहण होगा। धनु राशि पर होने वाले ग्रहण में चार ग्रह मौजूद रहेंगे और गुरु अस्त होगा है। सूर्य ग्रहण सुबह 8 बजकर 18 मिनट और 28 सैकेंड पर शुरू होगा। इसकी कुल अवधि 2 घंटे 36 मिनट 38 सेकेंड रहेगी। 10:55 बजे तक रहेगा। सूर्यग्रहण पूरे भारत में दिखाई देगा, लेकिन इसकी कंकण आकृति केरल, तमिलनाडु, कर्नाटक सहित दक्षिण प्रदेशों में दिखेगी। शेष भारत में यह खंड ग्रास के रूप में दिखाई देगा।
सूतक 25 की शाम 8:18 बजे से
सूर्य ग्रहण का सूतक ग्रहण लगने से 12 घंटे पहले 25 दिसंबर को शाम 8 बजकर 18 मिनट से लगेगा और ग्रहण तक रहेगा। सूतक काल को किसी शुभ कार्य के लिए अच्छा नहीं माना जाता है।
पिंडदान कर पितरों का मोक्ष
शास्त्रों के अनुसार सूर्य ग्रहण पर तीनों लोकों के सभी तीर्थ तालाब और पवित्र नदियों तथा सभी देवी देवताओं का वास कुरुक्षेत्र के तीर्थों में होता है और जब तक सूर्यग्रहण शुद्ध नहीं होता, तब तक यह अछ्वुत संगम बना रहता है। यहां स्नान, दान और पितरों का पिंडदान करने से उन्हें मोक्ष की प्राप्ति होगी। इससे 100 अश्वमेघ यज्ञ के बराबर फल मिलता है।
- 2030 तक का सूर्य ग्रहण :
- दिनांक प्रारंभ मध्य मोक्ष समय अवधि
- 26 दिस.2019 सुबह 8-18-28 9-30 10-55-6 दो घंटे 36 मिनट 38 सेेकेंड
- 21 जून 2020 सुबह 10-21-03 12-01 13-47-26 तीन घंटे 26 मिनट 23 सेेकेंड
- 25अक्तू 2022 शाम 16-27 17-28 18-25 एक घंटे 58 मिनट
- 2अगस्त 2027 शाम 15-53 16-27 17-00 एक घंटा 07 मिनट
- 1 जून 2030 सुबह 10-15 11-32 12-56 दो घंटे 41 मिनट