पंजाब में कृषि अध्यादेशों के विरोध पर गरमाई हरियाणा की राजनीति, धनखड़ बोले- विरोध करने वाले देश विरोधी
पंजाब में कृषि अध्यादेशों के विरोध पर हरियाणा के विधायक ने बलराज कुंडू ने कहा कि हरियाणा को भी ऐसा करना चाहिए। इस पर भाजपा अध्यक्ष ने विरोध करने वालों को देश विरोधी करार दिया।
जेएनएन, चंडीगढ़। पंजाब विधानसभा में शुक्रवार को मानसून सत्र के दौरान केंद्र सरकार के तीन कृषि अध्यदेशों के खिलाफ प्रस्ताव पास होने के बाद हरियाणा की राजनीति में आरोप-प्रत्यारोप के दौर तेज हो गए। हरियाणा भाजपा के अध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ ने कहा कि पंजाब सरकार किसान विरोधी और मंडी फीस के लालच को नहीं छोड़ पा रही है, इसलिए किसानों को गुमराह कर कृषि अध्यादेशों का विरोध किया जा रहा है।
महम से निर्दलीय विधायक बलराज कुंडू ने कहा कि जब पंजाब सरकार किसान विरोधी इन अध्यादेशों के खिलाफ विधानसभा में प्रस्ताव पारित कर सकती है तो हरियाणा सरकार क्यों नहीं? उसे भी किसान हित में ऐसी ही पहल करनी चाहिए।
भाजपा अध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ ने कहा कि तीनों कृषि अध्यादेश किसानों के हित में हैं। अगर कोई इसका विरोध करता है तो वह किसान और देश विरोधी है। पंजाब ने पहले देश में शुरू हुई प्रधानमंत्री बीमा योजना को भी लागू नहीं किया था और अब एक बार फिर यह किसान विरोधी फैसले ले रहे हैं। सरकार ने न्यूनतम समर्थन मूल्य और मंडी सिस्टम के साथ कोई छेड़छाड़ नहीं की है और मंडी सिस्टम और न्यूनतम समर्थन मूल्य पहले की तरह ही जारी रहेगा।
दूसरी तरफ महम से निर्दलीय विधायक बलराज कुंडू ने कहा कि पंजाब की तरह हरियाणा सरकार भी तीनों किसान विरोधी अध्यादेशों के खिलाफ प्रस्ताव पास कर केंद्र सरकार को भेजे। उन्होंने कहा कि विधानसभा में पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा और इनेलो विधायक अभय चौटाला समेत किसी भी नेता ने इन अध्यादेशों के खिलाफ एक शब्द नहीं बोला, क्योंकि उनकी सोच किसानों के बीच कुछ और तथा विधानसभा में कुछ और होती है। अकेले मैंने इन अध्यादेशों के खिलाफ प्रस्ताव पास कर केंद्र को भेजने तथा फसल का न्यूनतम समर्थन मूल्य नहीं मिलने को अपराध घोषित करने की मांग विधानसभा में उठाई थी।
बलराज कुंडू ने कहा कि हरियाणा सरकार और यहां का विपक्ष किसान, मजदूर और कमेरे वर्ग का दुश्मन बना हुआ है। इन अध्यादेशों के विरुद्ध प्रस्ताव पास कराने के लिए पंजाब के मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह सराहना के पात्र हैं। उन्होंने अन्नदाता के दर्द को समझकर प्रस्ताव पास किया है। विपक्ष का हाल देखकर ऐसा लगता है कि उनका रिमोट कंट्रोल पूरी तरह से किसान विरोधी सरकार के हाथ में है। उधर, इनेलो विधायक अभय सिंह चौटाला तथा कांग्रेस विधायक दल की पूर्व नेता किरण चौधरी ने भी तीनों कृषि अध्यादेशों का विरोध करते हुए कहा कि इन्हेंं किसान हित में रद किया जाना चाहिए।