टैक्सी चालकों पर भी लॉकडाउन की मार
कोरोना महामारी में लोगों के काम धंधे पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है।
संवाद सहयोगी, महेंद्रगढ़ :
कोरोना महामारी में लोगों के काम धंधे पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है। लॉकडाउन के पहले शहर के आंबेडकर चौक पर स्थित टैक्सी स्टैंड पर गाड़ियों की भरमार रहती थी इससे आमजन को भी फायदा पहुंचता था। संपूर्ण लॉकडाउन के बाद सुनसान हालत में पड़ा टैक्सी स्टैंड है। इससे टैक्सी चालकों को घर पर बैठने के लिए मजबूर कर दिया है। टैक्सी चालकों का कहना है कि यदि इसी तरह से स्थिति रही तो हालत बद से बदतर हो जाएगी। तीन माह से काम धंधा ठप होने से परिवार की आर्थिक स्थिति खराब होती जा रही है। कुछ टैक्सी चालकों से बातचीत की गई तो उन्होंने स्थिति के प्रति चिता जताई।
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मैंने लोन पर गाड़ी खरीदी थी। लॉकडाउन के बाद से एक रुपये की भी आमदनी नहीं हुई है। इससे घर खर्च चलाने में भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। यहां तक की लोग भी गाड़ी के माध्यम से बाहर निकलना नहीं चाह रहे हैं। आमदनी नहीं होने से गाड़ी की किश्त भी नहीं दे पा रहे हैं। भविष्य में क्या करना है रास्ता नहीं सूझ रहा है।
---अजीत यादव, चालक।
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मेरे पास चार गाड़ियां हैं। इनकी विवाह शादियों की बुकिग की हुई थी, लेकिन लॉकडाउन के चलते शादियों की तिथि बढ़ा दी गई है। इससे आमदनी भी ठप हो गई। उम्मीद थी कि टैक्सी स्टैंड पर गाड़ियों का कार्य विवाह शादियों पर ही अच्छा चलता है। मार्च माह से लेकर जून-जुलाई जो शादियां टल गईं। जो गाड़ियों पर ड्राइवर थे उन्हें भी भुगतान नहीं कर पा रहे हैं।
--सतीश कुमार गाड़ी चालक।