1955 से अपने अलग अंदाज में गणतंत्र दिवस मना रहा माधोगढ़
खंड के गांव माधोगढ़ की पहचान यहां आयोजित होने वाले गणतंत्र दिवस समारोह से जुड़ी है..
संवाद सहयोगी, सतनाली : खंड के गांव माधोगढ़ की पहचान यहां आयोजित होने वाले गणतंत्र दिवस समारोह से जुड़ी है। यहां आयोजित होने वाले गणतंत्र दिवस समारोह का जश्न व आकर्षण का केंद्र समारोह के दौरान आयोजित करवाई जाने वाली ऊंटों व घोड़ों की दौड़ होती है। इसमें जीत हासिल करने वाले को पंचायत नकद इनाम देकर सम्मानित करती है। गांव में हर साल गांव के सरकारी स्कूल के पीछे बने बड़े मैदान में गणतंत्र दिवस पर पहले ध्वजारोहण होता है। इसके बाद स्कूली विद्यार्थी सांस्कृतिक कार्यक्रम पेश करते हैं। बाद में यहां ऊंटों और घोड़ों की दौड़ शुरू होती है। इसमें सीमावर्ती राजस्थान और दिल्ली तक के लोग शामिल होते हैं। इसके अलावा कबड्डी स्पर्धा व बूढ़ों की दौड़ भी कराई जाती है। ऊंट का डेढ़ घंटे का नृत्य बना था आकर्षण का केंद्र :
ग्रामीणों के अनुसार वर्ष 2013 में गणतंत्र दिवस पर राजस्थान के झुंझुनूं जिले से सज धजकर आए एक ऊंट ने मैदान में बिना रूके करीब डेढ़ घंटे तक डांस किया था। इस पर पंचायत ने ऊंट मालिक को 11 हजार रुपये का इनाम दिया था। उक्त ऊंट मालिक को हर बार समारोह में प्रस्तुति के लिए बुलाया जाता है। हर साल ऊंटों, घोड़ों और कुश्ती के विजेताओं को 5100-5100 रुपये के इनाम दिए जाते है। शुरुआत में गणतंत्र दिवस पड़ोसी गांव डालनवास में मनाया जाता था। 1955 में गांव माधोगढ़ में ही गणतंत्र दिवस मनाया जाने लगा है। दो फिल्मों की हो चुकी है शूटिंग :
माधोगढ़ का नाम बॉलीवुड तक मशहूर है। करीब चार वर्ष पूर्व यहां ऊंचा नीचा गांव, और कौन कितने पानी में नामक फिल्मों की लगातार 22 दिन तक शूटिंग हुई थी। इसके लिए बॉलीवुड नेता गुलशन ग्रोवर, कुणाल कपूर और राधिका आप्टे जैसे कलाकार गांव के सेवानिवृत्त अध्यापक एवं पूर्व सरपंच दुलीचंद नेहरा के मकान के आधे हिस्से में रहे थे। इसके अलावा आधा दर्जन से अधिक हरियाणवीं फिल्मों व गानों की शू¨टग भी गांव में हो चुकी है। वर्तमान में सरकार माधोगढ़ को पर्यटन स्थल का दर्जा प्रदान करने का प्रयास कर रही है।