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कोरोना काल में फेसबुक, ट्विटर और यूट्यूब पर फल उत्सव का प्रचार

कोविड काल में ऐसा पहली बार हो रहा है कि बागवानी के शौकिन किसानों को ऑनलाइन ही फल उत्सव दिखाया जा रहा है। इस बार किसान घर बैठे फैसबुक ट्वीटर और यूट्यूब पर फल मेले का आनंद ले रहे हैं।

By JagranEdited By: Published: Mon, 20 Jul 2020 07:30 AM (IST)Updated: Mon, 20 Jul 2020 07:30 AM (IST)
कोरोना काल में फेसबुक, ट्विटर और यूट्यूब पर फल उत्सव का प्रचार
कोरोना काल में फेसबुक, ट्विटर और यूट्यूब पर फल उत्सव का प्रचार

विनोद चौधरी, कुरुक्षेत्र :

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कोविड काल में ऐसा पहली बार हो रहा है कि बागवानी के शौकीन किसानों को ऑनलाइन ही फल उत्सव दिखाया जा रहा है। इस बार किसान घर बैठे फेसबुक, ट्विटर और यूट्यूब पर फल मेले का आनंद ले रहे हैं। लाडवा के सेंटर फॉर सब ट्रोपिकल फ्रूट में शनिवार से शुरू हुए इस पांच दिवसीय फल उत्सव का सोशल मीडिया के माध्यम से प्रसारण चल रहा है। इतना ही नहीं उत्सव में आयोजित वेबिनार में आए दिन प्रदेश भर से 1000 के करीब किसानों को जोड़ा जा रहा है। इन वेबिनारों में बागवानी विशेषज्ञों की ओर से बाग लगाने के लिए मिट्टी तैयार करने से लेकर बेहतर उत्पादन लेने और उसके बाद उचित भंडारण तक की जानकारी दी जा रही है।

शारीरिक दूरी को देखते हुए हर दिन बुलाए जा रहे मात्र 60 किसान

- उद्यान विभाग हरियाणा की ओर से लाडवा में उप उष्ण कटिबंधीय फल उत्सव 2020 लगाया गया है। इस फल उत्सव में शारीरिक दूरी की पालना के लिए उद्यान विभाग हरियाणा की ओर से हर दिन 60 किसानों को ही बुलाया जा रहा है। इनमें से 20 किसान कुरुक्षेत्र, 20 यमुनानगर और अन्य चार जिलों से पांच-पांच किसान बुलाए जा रहे हैं। 18 से 22 जुलाई तक चलने वाले पूरे फल उत्सव का डिजीटल चैनल पर लाइव प्रसारण किया जा रहा है। इतना ही नहीं विशेषज्ञों और किसानों को भी लिक भेजकर घर बैठे ही वेबिनार से जोड़ा जा रहा है। पांच दिवसीय उत्सव में पांच फलों की दी जा रही जानकारी

पांच दिवसीय उत्सव में पहले दिन आम, दूसरे दिन नाशपाती, तीसरे दिन लीची, चौथे दिन अमरूद और पांचवे दिन अनार दिवस के रूप में मनाते हर एक फल पर वेबिनार करवाए जाएंगे। इन वेबिनारों से किसानों को संबंधित फल उत्पादन के लिए मिट्टी तैयार करने से लेकर फल तैयार करने तक की पूरी जानकारी दी जा रही है। जिला उद्यान विकास अधिकारी डा. धर्मपाल ने बताया कि इस बार डिजीटल माध्यमों से फल उत्सव को किसानों तक पहुंचाया जा रहा है। इसके लिए किसानों के पास लिक भेजे गए हैं। वह ऑनलाइन वेबिनार के लिए पंजीकरण उसमें हिस्सा ले रहे हैं। इन वेबिनारों में विशेषज्ञ किसानों को बारिकी से बागवानी की जानकारी दे रहे हैं।


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