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134 ए के तहत दाखिला में भी नहीं मिल रहा सरकारी स्कूल के छात्रों को मौका

नियम 134 ए के तहत गरीब ब'चों को बड़े निजी स्कूलों में पढ़ने का अवसर तो मिल गया, लेकिन इन सपनों पर कुछ सक्षम अभिभावक ही भारी पड़ रहे हैं। नियम 134ए के तहत स्कूलों में मुफ्त में शिक्षा प्राप्त करने वालों की होड़ में सबसे अधिक वहीं छात्र हैं, जो पहले से ही निजी स्कूलों में शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं।

By JagranEdited By: Published: Mon, 16 Apr 2018 12:24 AM (IST)Updated: Mon, 16 Apr 2018 12:24 AM (IST)
134 ए के तहत दाखिला में भी नहीं मिल रहा सरकारी स्कूल के छात्रों को मौका
134 ए के तहत दाखिला में भी नहीं मिल रहा सरकारी स्कूल के छात्रों को मौका

जागरण संवाददाता, कुरुक्षेत्र :

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नियम 134 ए के तहत गरीब बच्चों को बड़े निजी स्कूलों में पढ़ने का अवसर तो मिल गया, लेकिन इन सपनों पर कुछ सक्षम अभिभावक ही भारी पड़ रहे हैं। नियम 134ए के तहत स्कूलों में मुफ्त में शिक्षा प्राप्त करने वालों की होड़ में सबसे अधिक वहीं छात्र हैं, जो पहले से ही निजी स्कूलों में शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं। उनके अभिभावक पहले तो अपने बच्चों को निजी स्कूलों में पढ़ाने में सक्षम हैं, लेकिन मौका मिलते ही मुफ्त में शिक्षा के लिए परीक्षा दिला रहे हैं। रविवार को शहर के पांच स्कूलों में बने परीक्षा केंद्रों में यह नजारा साफ दिखा। शिक्षकों का कहना है कि निजी स्कूलों के विद्यार्थी पहले से अच्छी तैयारी के साथ आते हैं। जिसके कारण मेरिट में भी सरकारी स्कूल के विद्यार्थी पिछड़ जाते हैं।

प्रदेशभर में रविवार को नियम 134ए के तहत आयोजित प्रवेश परीक्षा में जिले भर में लगभग 6780 विद्यार्थियों ने परीक्षा में भाग लिया। सरकारी आंकड़ों की माने तो इनमें से आवेदन करने वाले लगभग 80 प्रतिशत विद्यार्थी ऐसे हैं, जो पहले से निजी स्कूलों में पढ़ रहे हैं। इन्होंने आवेदन में अपने पुराने स्कूल के कालम में निजी स्कूल का नाम अंकित किया है।

वहीं सरकारी स्कूलों के विद्यार्थियों की संख्या 20 प्रतिशत से अधिक नहीं है। बाक्स

6779 सीटों के लिए 6780 विद्यार्थियों ने दी परीक्षा, रविवार को 134ए के तहत आयोजित परीक्षा में जिले भर से 6780 विद्यार्थियों ने भाग लिया। जिनमें थानेसर में बने पांच परीक्षा केंद्रों पर सबसे अधिक 3500 विद्यार्थियों, शाहाबाद में दो परीक्षा केंद्रों पर 1500, लाडवा में एक परीक्षा केंद्र पर 600, पिहोवा में एक परीक्षा केंद्र पर 680 और बाबैन में भी एक परीक्षा केंद्र पर 500 विद्यार्थियों ने परीक्षा दी। बाक्स

शहरों में बढ़ रही 134ए के तहत मारामारी

134ए के तहत दाखिला लेने के लिए मारामारी शहरी क्षेत्र में अधिक है। ग्रामीण क्षेत्र में यह कम है या फिर लोगों को इसकी जानकारी ही नहीं है। शहरी क्षेत्र के लोग अपने बच्चों को अच्छे स्कूलों में पढ़ाने के लिए 134 का सहारा ले रहे हैं। ग्रामीण क्षेत्र में लोग 134ए के तहत काफी कम है।

134ए की परीक्षा के कारण रही जाम की स्थिति

शहर के मुख्य पांच स्कूलों में बने परीक्षा केंद्रों पर परीक्षा का आयोजन किया गया था। थानेसर में पांच केंद्रों पर 3500 विद्यार्थियों ने परीक्षा दी, लेकिन छोटे बच्चे होने के कारण उनके साथ अभिभावक भी आए थे। सुबह नौ बजे शुरू हुई परीक्षा 12 बजे तक चली। इस दौरान शहर में जाम की स्थिति रही। ज्यादातर अभिभावक स्कूलों के बाहर ही डटे रहे। स्कूलों के आसपास पानी की व्यवस्था न होने के कारण भी परेशानी का सामना करना पड़ा।

शांतिपूर्ण रही परीक्षा, आज होगा मूल्यांकन

उप जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी सतनाम ¨सह भट्टी ने कहा कि परीक्षा के लिए जिले भर में 10 परीक्षा केंद्र बनाए गए थे। जिनमें शांतिपूर्ण परीक्षा हुई। नकल रोकने के लिए भी आठ उड़ने दस्ते बनाए गए थे। परीक्षा में किसी प्रकार की कोई दिक्कत नहीं हुई।


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