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मारकंडा नदी के तटबंधों के नजदीक बसे डेरावासियों में भय की स्थिति

पहाड़ी क्षेत्र में हुई बरसात से मारकंडा नदी एक बार फिर से उफान पर चल रही है। इसके चलते मारकंडा नदी के तटबंधों के नजदीक बसे डेरावासियों तथा किसानों में भय की स्थिति बनी हुई है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 18 Aug 2019 09:20 AM (IST)Updated: Mon, 19 Aug 2019 06:38 AM (IST)
मारकंडा नदी के तटबंधों के नजदीक बसे डेरावासियों में भय की स्थिति
मारकंडा नदी के तटबंधों के नजदीक बसे डेरावासियों में भय की स्थिति

संवाद सूत्र, झांसा : पहाड़ी क्षेत्र में हुई बरसात से मारकंडा नदी एक बार फिर से उफान पर चल रही है। इसके चलते मारकंडा नदी के तटबंधों के नजदीक बसे डेरावासियों तथा किसानों में भय की स्थिति बनी हुई है। शनिवार को मारकंडा नदी में करीब सात हजार क्यूसेक पानी चल रहा था। मौसम विभाग की ओर से जारी बरसात की सूचना से किसान घबराए हुए हैं। पहले भी कई बार मारकंडा नदी में आया उफान गांव झांसा, जलबेहड़ा, नैसी, मडाडों, शेरगढ़, जोधपुर, जैतपुरा, जंधेडी, बालपुर, दानीपुर, ठसका मीरांजी आदि गांवों की हजारों एकड़ धान की फसल को खराब कर चुका है। किसान वीरेंद्र, बलदेव शर्मा, विक्की, अश्वनी, अनिल, गौरव आदि ने बताया कि इस समय किसानों ने धान फसल पर पूरा खर्च कर दिया है और फसल निसरने को है। नहरी विभाग के एसडीओ विनोद कुमार ने बताया कि मारकंडा नदी का जल स्तर खतरे के निशान से कम है। विभाग के अधिकारी व कर्मचारी मारकंडा नदी के तटबंधों पर नजर बनाए हुए हैं। किसानों व डेरावासियों को घबराने की जरुरत नहीं है।

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