Kurukshetra News: केंद्र सरकार के निर्णय के खिलाफ भाकियू ने पंजाब और हरियाणा की मंडियां जाम करने की दी चेतावनी
Kurukshetra News भाकियू के राष्ट्रीय अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी कहा कि सरकार ने यह फरमान तीन दिन के अंदर वापिस ले और किसान का गेहूं बिना शर्त खरीद करे नहीं तो 13 अप्रैल से हरियाणा व पंजाब की मंडियां जाम कर दी जाएंगी।
संवाद सहयोगी, शाहाबाद (कुरुक्षेत्र): गेहूं की खरीद पर 5.31 रुपये से लेकर 31.87 रुपये प्रति क्विंटल तक का कट लगाने के खिलाफ भारतीय किसान यूनियन (चढ़ूनी) ने मोर्चा खोल दिया है। इसे केंद्र की मोदी सरकार का तुगलकी फरमान बताया। भाकियू के राष्ट्रीय अध्यक्ष गुरनाम सिंह चढ़ूनी कहा कि सरकार ने यह फरमान तीन दिन के अंदर वापिस ले और किसान का गेहूं बिना शर्त खरीद करे नहीं तो 13 अप्रैल से हरियाणा व पंजाब की मंडियां जाम कर दी जाएंगी।
गेहूं की खरीद एक अप्रैल को होती है शुरू
चढूनी ने मंगलवार को शाहाबाद अनाज मंडी में पत्रकारों से बात करते हुए कहा है कि गेहूं की खरीद एक अप्रैल से शुरू होती है, लेकिन यह सभी कागजों में है। आज 11 तारीख तक भी खरीद सुचारू रूप से शुरू नहीं हुई है। सरकार ने गेहूं की क्वालिटी खराब के नाम से कट लगाया है और कहते हैं कि गेहूं खराब हो गई है, रंग खराब हो गया है, दाना टूट गया है। चढूनी ने कहा कि गेहूं मशीन में पैदा नहीं होती, यह खेत में पैदा होती है।
प्रकृति की मार पड़ी है तो उसका नुकसान है किसानों को
अगर प्रकृति की मार पड़ी है तो उसका नुकसान किसानों को है जिसके लिए सरकार को किसानों को बोनस देना चाहिए, जबकि सरकार कट लगा रही है। अगर दाना खराब हुआ है, रंग खराब हुआ है या दाना टूट गया है तो यह किसानों का नुकसान है। उन्होंने सरकार को चेतावनी दी कि तीन दिन के भीतर इस तुगलकी फरमान को तुरंत वापिस ले ले वर्ना 13 अप्रैल से हरियाणा व पंजाब की मंडियों के आगे जाम लगाए जाएंगे।
सरकार ने बना ली है कट लगाने की रीत
सभी किसान भाई तैयार रहें तथा वही किसान जाम में आएं जो लठ खा सके, मुकदमें झेल सके, क्योंकि यह सब काम होंगे। उन्होंने कहा कि हम कोई भी कुर्बानी देने को तैयार हैं। सरकार ने मुकदमे बनाने हैं, लठ मारने हैं तो मारे, किसान सब कुछ झेलेगा।
सरकार ने कट लगाने की रीत बना ली है, पिछले साल भी कट लगाए और इस साल भी कट लगाने का ऐलान कर दिया। उन्होंने कहा कि हमें यह कट बंद कराने हैं और इसके लिए सरकार के पास तीन दिन का टाइम है, नहीं तो किसान मंडी के आगे जाम लगाएंगे और यह जाम तब तक रहेगा जब तक सरकार यह फरमान वापिस नहीं लेती।