प्रार्थना करने वाला व्यक्ति ही परमात्मा के निकट जाता है : डॉ. जयेंद्र
भजनोपदेशक उपेंद्र आर्य ने बच्चों व उपस्थित लोगों को देशभक्ति गीत सुनाकर रोमांचित कर दिया।
जागरण संवाददाता, करनाल :
आर्य केंद्रीय सभा की ओर से श्रद्धानंद अनाथालय में मनाए जा रहे महर्षि दयानंद जन्मोत्सव व बोधोत्सव के अवसर पर जिले के सभी स्कूलों के लिए महर्षि दयानंद स्मृति बाल भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। करनाल के सभी प्रमुख स्कूलों व महाविद्यालयों से 39 विद्यार्थियों ने भाग लिया। भजनोपदेशक उपेंद्र आर्य ने बच्चों व उपस्थित लोगों को देशभक्ति गीत सुनाकर रोमांचित कर दिया। मुख्य वक्ता ओजस्वी वैदिक विद्वान डॉ. जयेंद्र आर्य ने कहा कि प्रार्थना करने वाला व्यक्ति ही परमात्मा के निकट जाता है। प्रार्थना करने वाला व्यक्ति को बुद्धि और बल प्राप्त होता है। मुख्य अतिथि डीएवी महाविद्यालय के प्राचार्य डा. रामपाल ने कहा कि डीएवी संस्था महर्षि दयानंद की प्रेरणाओं की ही देन है। आर्य विचारधारा का प्रचार-प्रसार करना ही इस संस्था का मुख्य उद्देश्य है। उन्होंने कहा कि हर बच्चा अपने आप में एक व्यक्तित्व लिए होता है। उन्होंने कहा कि जो बच्चे आज यहां मंच पर आकर बोले हैं वो सब विजेता हैं, क्योंकि मंच पर आकर बोलना ही बहुत बड़ी बात है। विशेष आमंत्रित अतिथि डॉ. मनोज मित्तल ने कहा कि स्वस्थ तन में ही स्वस्थ मन का वास होता है। बच्चों को संयमित जीवन व्यतीत करना चाहिए। उन्होंने कहा कि सुबह जल्दी उठना चाहिए और जो बच्चे सोते रहते हैं वह केवल सपने देखते हैं और जागे हुए बच्चे अपने सपनों को पूरा करने के लिए मेहनत करते हैं। कार्यक्रम के अध्यक्ष शमशेर कुमार शास्त्री ने कहा कि बच्चों को पहले संस्कार अपने माता-पिता से ही प्राप्त होते हैं। इस अवसर पर मुख्य रूप से प्रधान आनंद सिंह आर्य, महामंत्री स्वतंत्र कुकरेजा, शांतिप्रकाश आर्य, अनिल अरोड़ा, विवेक आर्य, रजनीश चोपड़ा, राजीव बंसल, सतीश गुप्ता, दिलबाग आर्य, विनोद राणा, राजपाल आर्य, भोपाल आर्य, वेद आर्य, अश्वनी गुप्ता, हरीश मदान व देशपाल ठाकुर मौजूद रहे।