इंसान धन-दौलत कमाने में व्यस्त, अपने लिए भी समय नहीं : सतीश हंस
संत निरंकारी सत्संग भवन में रविवार को विशाल सत्संग का आयोजन किया गया। जोनल इंचार्ज महात्मा सतीश हंस ने कहा कि आज संसार में इंसान इतना धन-दौलत कमाने में व्यस्त है कि उसके पास अपने के लिए ही समय नहीं है।
जागरण संवाददाता, करनाल : संत निरंकारी सत्संग भवन में रविवार को विशाल सत्संग का आयोजन किया गया। जोनल इंचार्ज महात्मा सतीश हंस ने कहा कि आज संसार में इंसान इतना धन-दौलत कमाने में व्यस्त है कि उसके पास अपने के लिए ही समय नहीं है।
उन्होंने कहा कि जन्म से मरण तक का सफर इसी तरह भागते-भागते ही पूरा हो जाता है। दुनिया में जितने भी पीर-पैगंबर आए। सभी ने मानव मात्र जगाने का अनथक प्रयास किया। महात्माओं ने अपनी पवित्र वाणियों में स्पष्ट कर समझाने का प्रयास किया है कि राम गयो रावण गयो, जाको बहु परिवार।
महात्मा ने कहा कि अगर कल्याण संभव है तो सिर्फ ऐसे संत-महात्माओं के कारण, जिन्होंने मानव मात्र के लिए कभी अपने आराम की, अपने परिवार की परवाह नहीं की। अपने जीवन का एक-एक पल मानवता कायम करने के लिए, भटके हुए मानव को सही दिशा प्रदान करने के लिए लगाया।
जोनल इंचार्ज महात्मा ने युग प्रवर्तक निरंकारी बाबा गुरबचन सिंह महाराज का जिक्र करते हुए फरमाया, जिन्होंने मानव कल्याण के लिए विश्व में भाईचारे की स्थापना करने के लिए 24 अप्रैल 1980 को अपने प्राणों का बलिदान दिया।