करनाल रोडवेज डिपो का घाटा कम दिखाने के लिए बिल रोके
हरियाणा रोडवेज करनाल डिपो का घाटा कम दिखाने के लिए खर्च कम कर दिए हैं। हालात ऐसे बन गए हैं कि बिल पास नहीं हो पा रहे। रूटीन के काम भी प्रभावित हो गए हैं।
प्रदीप शर्मा, करनाल
हरियाणा रोडवेज करनाल डिपो का घाटा कम दिखाने के लिए खर्च कम कर दिए हैं। हालात ऐसे बन गए हैं कि बिल पास नहीं हो पा रहे। रूटीन के काम भी प्रभावित हो गए हैं। बिल पास नहीं होने से जीएम कार्यालय में खराब पड़े प्रिटरों को ठीक नहीं कराया गया। एक सप्ताह से बस पास सेक्शन और बुकिग ब्रांच का काम बंद है। हालांकि प्रिटरों को ठीक कराने के लिए संबंधित दुकानों पर भेजा गया, लेकिन पिछला हिसाब करने की बात कहकर ठीक करने से मना कर दिया गया। डिपो के हालात दयनीय होते जा रहे हैं। कर्मचारियों के मेडिकल बिल, टीए, एरियर व ओवरटाइम के बिल भी काफी समय से लंबित हैं। कर्मचारियों ने हड़ताल पर जाने के संकेत दिए हैं। पास नहीं बनने के कारण बसों में रोजाना छात्रों के साथ चेकिग टीम के विवाद होता है।
डिपो में हर माह 1.75 करोड़ से अधिक का घाटा, अधिकारी खाल बचाने में जुटे
करनाल डिपो लगातार घाटे में जा रहा है। हर माह 1.75 करोड़ से अधिक का घाटा हो रहा है। घाटे को लेकर उच्चाधिकारी जवाब-तलबी ना कर लें, उससे पहले जीएम रोडवेज ने डिपो का घाटा कम दिखाने के लिए कर्मचारियों के लंबित पड़े टीए व मेडिकल बिल रोक लिए।
डिपो में पास नहीं बन रहे, चेकिग टीमें रूट पर कर रहे छात्रों से झगड़ा
जीएम रोडवेज रविद्र पाठक ने दावा किया कि पेमेंट जमा होने के अगले ही दिन बस पास बनाकर संबंधित शिक्षण संस्थान को भेज दिए जाते हैं, लेकिन दैनिक जागरण की पड़ताल में पता चला कि एक सप्ताह से कोई बस पास नहीं बना है। दूसरी ओर रूट पर रोजाना चेकिग टीम और छात्रों के बीच झगड़े हो रहे हैं।
कर्मचारियों के लाखों रुपये के बिल रोके
- वर्ष 2013 के बैच के अब तक एरियर के बिल पास नहीं हुए हैं।
- 14 महीने का ओवरटाइम रुका हुआ है, लेकिन बिल पास नहीं किए जा रहे।
- 20 लाख रुपये के 200 से अधिक मेडिकल बिल रुके हुए, बजट की डिमांड तक नहीं भेजी गई।
- रोडवेज कर्मचारियों के टीए बिल भी पास नहीं हो रहे कमेटी पूरी नहीं, नियमों को ताक पर रखकर कर दी स्क्रैप की बोली
रोडवेज वर्कशॉप में कंडम स्पेयर पार्ट्स की नीलामी के लिए मंगलवार को सुबह 11 बजे जीएम रोडवेज ने बोलीकर्ताओं को आंमत्रित किया। इस संबंध में डीसी को पत्र लिखकर पहले अवगत कराया गया कि मंगलवार को नीलामी होगी। नीलामी कमेटी की उपस्थिति में होती है। जिसमें जीएम रोडवेज, एसओ या एओ, डब्यलूएम, एसपओ, पीएमए, डीसी कार्यालय से प्रतिनिधि व जीएम कैथल का उपस्थित होना अनिवार्य है। लेकिन बोली सुबह 11 बजे नहीं की गई। कुछ बोलीकर्ता इंतजार कर चले गए। आरोप है कि जीएम रोडवेज रविद्र पाठक के फोन पर निर्देश आने के बाद स्पेयर पार्ट्स की नीलामी कर दी गई।
हड़ताल पर जाने के संकेत
आल हरियाणा रोडवेज वर्कर्स यूनियन इंटक के डिपो प्रधान वीरेंद्र सिंह, उपप्रधान संजीव कुमार व सचिव विष्णु कुमार ने कहा वह जीएम से पहले भी इस मामले को लेकर मिले हैं। यदि जल्द कर्मचारियों की समस्या का समाधान नहीं होता तो बड़ा कदम उठाया जाएगा।