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ट्रांसपोर्टरों की हड़ताल से माल की आवाजाही प्रभावित

जागरण संवाददाता, कैथल : भाईचारा ट्रांसपोर्टर्स यूनियन ने भाईचारा ट्रांसपोर्टर्स यूनियन ने सातवें दिन हड़ताल जारी रखते हुए ट्रकों के पहिये पर ब्रेक लगाए रखा। यूनियन के सदस्यों ने ट्रकों को मंडी में खड़ा कर उनके कार्यालय में बैठक की। प्रधान महावीर शर्मा ने कहा कि सरकार ट्रक चालकों के खिलाफ नए फरमान जारी कर रही है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 27 Jul 2018 11:13 PM (IST)Updated: Fri, 27 Jul 2018 11:13 PM (IST)
ट्रांसपोर्टरों की हड़ताल से माल की आवाजाही प्रभावित
ट्रांसपोर्टरों की हड़ताल से माल की आवाजाही प्रभावित

जागरण संवाददाता, कैथल : भाईचारा ट्रांसपोर्टर्स यूनियन ने सातवें दिन हड़ताल जारी रखते हुए ट्रकों के पहिये पर ब्रेक लगाए रखा। यूनियन के सदस्यों ने ट्रकों को मंडी में खड़ा कर उनके कार्यालय में बैठक की। प्रधान महावीर शर्मा ने कहा कि सरकार ट्रक चालकों के खिलाफ नए फरमान जारी कर रही है। इससे चालकों को फायदा नहीं, बल्कि नुकसान ज्यादा हो रहा है। न तो सरकार डीजल के रेट को जीएसटी के दायरे में ले रही और न ही अन्य प्रकार के करों में किसी तरह की रियायत दे रही है। प्रदेश से बाहर माल ले जाते समय उन्हें कई बार टोल टैक्स देना पड़ता है। चालक रोड टैक्स के रूप में सरकार को हर वर्ष 16 हजार रुपये दे रहे हैं। फिर भी उनसे टोल पर कर वसूली की जाती है, जो उनके हितों के खिलाफ है। इतना ही नहीं रोड टैक्स को पहले सो करीब तीन गुना बढ़ा दिया है। पहले यह साढ़े पांच हजार रुपये के करीब था। तीसरी पार्टी का बीमा कराने पर भी उनसे 48 हजार रुपये लिए जा रहे हैं।

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यूनियन में 225 ट्रक, 150 बाहर रुके

कैथल जिले की भाईचारा ट्रांसपोर्ट यूनियन में कुल 225 ट्रक हैं। यूनियन के सदस्यों ने इनमें से करीब 150 ट्रकों को प्रदेश और इससे बाहर अलग-अलग राज्यों में खड़ा कर रखा है। ट्रक चालक कुलदीप कुमार और शीशपाल ने बताया कि यूनियन के सदस्य वहीं रहकर हड़ताल का समर्थन कर रहे हैं। बाहर रुके चालक तब तक वहीं रहेंगे, जब तक उनकी हड़ताल समाप्त नहीं होगी।

इन प्रदेशों से टूटा ट्रांसपोर्ट संपर्क

महावीर शर्मा और जसमेर ने बताया कि वे सामान की ढुलाई हरियाणा प्रदेश ही नहीं बल्कि पूरे देश में करते हैं। बिहार, मध्य प्रदेश, गुजरात, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश आदि में उनका आवागमन ज्यादा रहता है। जब से वे हड़ताल पर हैं, उन प्रदेशों में न तो सामान भेजा जा रहा है और न ही वहां से लाया जा रहा है। उन्हें रोजाना लाखों रुपये का नुकसान उठाना पड़ रहा है। साथ इन प्रदेशों से हरियाणा में आने वाले प्याज, बिनौला, आम, पपीता और केले की सप्लाई बंद हो गई है।

ये हैं मांगें

यूनियन के सदस्यों ने सरकार से थर्ड पार्टी बीमा की राशि कम करने, टोल व रोड में कोई एक टैक्स लेने, डीजल के रेटों को जीएसटी के दायरे में लाने, ट्रांसपोर्टर्स पर लगाया गया सरकारी टैक्स कम करने और डीजल के रेट के अनुसार किराया बढ़ाने की अनुमति देने की मांग की।

आज समर्थन कर सकती टैंपो यूनियन

ट्रक चालकों की हड़ताल के समर्थन के लिए अब टैंपो चालकों ने भी हामी भर दी है। यूनियन के सदस्यों का कहना है कि वे सभी तरह के लो¨डग वाहन चालकों से समर्थन की अपील कर रहे हैं। टैंपो चालकों से उनकी शुक्रवार को बैठक होनी थी, जो किसी कारणवश नहीं हो पाई। हड़ताल में उनका समर्थन आज लेंगे।


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