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बीमा कंपनी में काम के दौरान आयकर विभाग की कार्यप्रणाली देख बनाई फर्जी वारदात की योजना

मेन बाजार में एक ज्वेलर की दुकान पर छापेमारी करते पकड़ी गई फर्जी आयकर अधिकारियों के साथ और भी लोग जुड़े हुए हैं। जिनका संबंध दिल्ली से है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 21 Aug 2020 06:06 AM (IST)Updated: Fri, 21 Aug 2020 06:06 AM (IST)
बीमा कंपनी में काम के दौरान आयकर विभाग की कार्यप्रणाली देख बनाई फर्जी वारदात की योजना
बीमा कंपनी में काम के दौरान आयकर विभाग की कार्यप्रणाली देख बनाई फर्जी वारदात की योजना

जागरण संवाददाता, जींद : मेन बाजार में एक ज्वेलर की दुकान पर छापेमारी करते पकड़ी गई फर्जी आयकर अधिकारियों के साथ और भी लोग जुड़े हुए हैं। जिनका संबंध दिल्ली से है। शहर थाना पुलिस ने दोनों महिलाओं को वीरवार को अदालत में पेश किया, जहां से चार दिन के रिमांड पर लिया है। उनके गिरोह में कितने लोग हैं, अब तक कहां-कहां वारदात को अंजाम दे चुके हैं। इसकी पूछताछ की जाएगी। फर्जी आयकर अधिकारी स्वाति बीबीए पास है, जबकि उसकी सहेली श्वेता वर्मा बीए पास है। पंचकूला सेक्टर आठ से स्कूल की पढ़ाई करने वाली स्वाति ने सोनीपत के इंस्टीट्यूट से वर्ष 2017 में बीबीए की। बुरी संगत के चलते उसने घर को छोड़ दिया और दिल्ली के शाहदरा निवासी श्वेता वर्मा के पास रहने लगी। दोनों ने एक बीमा कंपनी में कार्य करना शुरू कर दिया। जिसके चलते उनके संपर्क में दिल्ली आयकर विभाग के कर्मचारी भी आए। बीमों के सिलसिले में कार्यालय के अंदर तक जाने लगी। जहां उनकी कार्यप्रणाली देखकर फर्जी आयकर अधिकारी बनकर मोटी फर्मों को टारगेट करने की योजना बनाई। इससे पहले और वारदात की हैं या नहीं, उसके बारे में पुलिस पूछताछ करेगी और उनके गिरोह में शामिल लोगों का भी पता लगाया जाएगा। शहर थाना प्रभारी रोहताश ढुल ने बताया कि दोनों फर्जी महिला अधिकारियों को चार दिन के रिमांड पर लिया गया है। रिमांड के दौरान दोनों से धोखाधड़ी की अन्य वारदातों, अन्य लोगों की संलिप्तता समेत अन्य तथ्यों को जुटाया जाएगा।

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बुधवार शाम को पकड़ी गई थी

मेन बाजार में बुधवार शाम रवि ज्वेलर की दुकान पर दो महिलाएं पहुंची। एन 95 मास्क, हाथों में दस्ताने, अधिकारियों वाली वेशभूषा, रौबदार अंदाज, हाथ में ज्वेलर से संबंधित दस्तावेजों की फाइल व सर्च वारंट, विभागीय पहचान पत्र सब कुछ दोनों के पास था। दोनों ने शुरू में ज्वेलर पर काफी रौब छाड़ा। लेकिन उसके बाद दोनों फर्जी आयकर विभाग की अधिकारी इशारों में रुपये की बात करते हुए समझौते की प्रवृति पर उतर आए। मामले को निपटाने के लिए 13 सोने के आभूषण साथ ले जाने की जिद पर बात बिगड़ गई। जिससे वे शक के दायरे में आ गई और उनका भंडाफोड़ हो गया।

एसआइटी से निष्पक्ष जांच की मांग

धोखाधड़ी से बचे ज्वेलर रवि व्यापारियों के साथ वीरवार को डीएसपी हैड क्वार्टर पुष्पा खत्री से मिले। व्यापारियों ने मांग की कि मामले की निष्पक्षता से जांच होनी चाहिए। गिरोह में कौन-कौन लोग शामिल हैं, फर्जी रेड में दोनों महिलाओं के अलावा और कौन लोग शामिल थे, इसका खुलासा होना चाहिए। इस मामले की जांच का जिम्मा उचाना डीएसपी जितेंद्र को सौंपा गया है। डीएसपी जितेंद्र ने बताया कि पुलिस हर एंगल से जांच कर रही है। उनके साथ और भी लोग जुड़े हुए हैं। जल्द जांच कर पूरे मामले का खुलासा किया जाएगा।

पहले भी होती रही हैं धोखाधड़ी

व्यवसायी सुनील वशिष्ठ ने बताया कि इससे पहले भी बाजार में व्यापारियों के साथ धोखाधड़ी होती रही है। पिछले साल दिल्ली से कुछ लोग आए थे। जिन्होंने खुद को मेनका गांधी फाउंडेशन से बताते हुए एक व्यवसायी से पैसे ऐंठे। उससे पहले एक पंसारी से हाथी दांत का नकली पाउडर मिलने का डर दिखाते हुए फर्जीवाड़ा किया। ब्रांड के नाम पर भी कार्रवाई का डर दिखा कर दुकानदारों से ठगी की जाती है। इन सबका कनेक्शन दिल्ली से रहा है। संभव है कि इन महिलाओं का कनेक्शन भी उन लोगों से है। इसलिए पुलिस को गहनता से जांच करनी चाहिए।


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