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Jind News: BPL श्रेणी से नाम कटने का आया मैसेज, लोगों ने गलत तरीके से ज्यादा आमदनी दिखाने के लगाए आरोप

Jind News परिवार पहचान पत्र में आय 1.80 लाख रुपये से ज्यादा होने की वजह से बड़ी संख्या में लोगों के बीपीएल श्रेणी से नाम कट गया। बीपीएल श्रेणी से नाम कटने का मोबाइल पर मैसेज आने पर शुक्रवार को सैकड़ों महिलाएं व पुरुष डीआरडीए कार्यालय पहुंचे।

By Jagran NewsEdited By: Devshanker ChovdharyUpdated: Fri, 30 Dec 2022 11:28 PM (IST)
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BPL श्रेणी से नाम कटने का आया मैसेज, लोगों ने गलत तरीके से ज्यादा आमदनी दिखाने के लगाए आरोप।

जागरण संवाददाता, जींद। परिवार पहचान पत्र में आय 1.80 लाख रुपये से ज्यादा होने की वजह से बड़ी संख्या में लोगों के बीपीएल श्रेणी से नाम कट गया। बीपीएल श्रेणी से नाम कटने का मोबाइल पर मैसेज आने पर शुक्रवार को सैकड़ों महिलाएं व पुरुष डीआरडीए कार्यालय पहुंचे। ज्यादातर लोगों का कहना है कि उनके पास आमदनी का कोई साधन नहीं है, उसके बावजूद परिवार पहचान पत्र में आमदनी ढाई से पांच लाख रुपये तक दिखाई गई है। अधिकारियों के पास जा रहे हैं, तो संतोषजनक जवाब नहीं मिल रहा है। कार्यालय में जाते हैं, तो कर्मचारी कहते हैं कि कामन सर्विस सेंटर पर जाकर पता कर लें।

बीपीएल, एएवाइ और ओपीएच कार्ड धारकों को राशन डिपो से सस्ता राशन व अन्य सुविधाएं मिलती हैं। प्रदेश सरकार ने राशन कार्ड को परिवार पहचान पत्र से जोड़ दिया है। परिवार पहचान पत्र में जिन लोगों की आय 1.80 लाख रुपये ज्यादा है, उनके नाम बीपीएल श्रेणी से बाहर हो गए। जिसके उनके पास मोबाइल पर मैसेज भी आ रहे हैं। जिन परिवारों का बीपीएल श्रेणी से नाम हट गया है, उन्हें जनवरी से राशन डिपो से मिलने वाले सस्ते राशन व अन्य सुविधाओं का लाभ नहीं मिल पाएगा। जिसके चलते शुक्रवार को डीआरडीए में परिवार पहचान पत्र में दर्ज आय को ठीक कराने के लिए दिनभर लोगों की भीड़ रही।

बिना आय के दिखाई गई आमदनी

ललित खेड़ा गांव निवासी आजाद ने बताया कि उनके पास आमदनी का कोई साधन नहीं है। वह बीमार रहते हैं और उसका बेटा मजदूरी करता है। उनका बीपीएल कार्ड बना हुआ था। लेकिन अब उनके पास बीपीएल श्रेणी से नाम हटने का मैसेज आया है। उनकी आमदनी ढाई लाख रुपये परिवार पहचान पत्र में दिखाई है। परिवार पहचान पत्र में दर्ज गलत आमदनी को ठीक करके उनको दोबारा बीपीएल की श्रेणी में जोड़ा जाए।

बिना नौकरी पांच लाख आमदनी दिखाई

निर्जन गांव निवासी निशा ने बताया कि उनके पास ना तो कोई जमीन है और ना ही परिवार में कोई नौकरी। उनके पति मजदूरी करते हैं और वह खुद मनरेगा के तहत काम करती है। फिर भी परिवार पहचान पत्र में आमदनी पांच लाख रुपये दिखाई गई है। जिसके कारण उनका बीपीएल की श्रेणी से नाम कट गया है। दर्ज की गई गलत आमदनी को ठीक कराने के लिए चक्कर काट रहे हैं, लेकिन कोई समाधान नहीं निकल रहा।

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