भारतीय योग संस्थान ने इंडस स्कूल में मनाया 55वां योग दिवस
भारतीय योग संस्थान की भारती जिला शाखा ने इंडस पब्लिक स्कूल में 55वां योग दिवस मनाया। मुख्य अतिथि जेसीआइ इंडिया की नेशनल ट्रेनर दिव्या मढ़ोत्रा रही और अध्यक्षता प्रांतीय वरिष्ठ उप प्रधान हरदीप सांगवान ने की।
जागरण संवाददाता, जींद: भारतीय योग संस्थान की भारती जिला शाखा ने इंडस पब्लिक स्कूल में 55वां योग दिवस मनाया। मुख्य अतिथि जेसीआइ इंडिया की नेशनल ट्रेनर दिव्या मढ़ोत्रा रही और अध्यक्षता प्रांतीय वरिष्ठ उप प्रधान हरदीप सांगवान ने की।
विशिष्ट अतिथि प्रांतीय उपप्रधान होशियार सिंह, प्रांतीय सह प्रेस प्रवक्ता धर्मबीर दलाल व जिला संरक्षक शमशेर सिंह उपस्थित रहे।
भारती जिला शाखा की प्रधान रचना श्योराण ने बताया कि जिला प्रेस प्रवक्ता नीति सुखीजा, शीला, निर्मला देवी और कुसुम ने मां सरस्वती की वंदना गाई। अंगूरी जिला मंत्री ने प्रारंभिक क्रियाएं, जोन प्रधान कमला श्योराण ने ताड़ासन, रानी ने कटिचक्रासन, विमल सांगवान ने मंडूकासन, विमला श्योकंद ने भुजंगासन, कमलेश ने सिंहासन करवाए। शीला शिक्षक गोल स्कूल ने हंसी के कार्यक्रम से पूरे योग केंद्र को गदगद कर दिया। सुषमा जिला संगठन मंत्री ने कपालभाति प्राणायाम और आशा शिक्षक स्मार्ट किड्स स्कूल ने भ्रामरी प्राणायाम करवाया। निर्मला जोन मंत्री ने ध्यान का कार्यक्रम करवाया। शमशेर सिंह ने भारतीय योग संस्थान का परिचय व लक्ष्य तथा उद्देश्य के बारे में बताया। होशियार सिंह आर्य ने योग के बारे में अच्छी जानकारी दी। हरदीप सिंह सांगवान ने आसनों की बारीकियों के बारे में बहुत गहराई से जानकारी दी। मुख्य अतिथि दिव्या मढ़ोत्रा ने नारी सशक्तीकरण की बात की। भारती जिला प्रधान रचना श्योराण ने अध्यक्षीय भाषण में सभी का धन्यवाद किया। शिविर में जिले के सभी अधिकारी गण, केंद्र प्रमुख तथा लगभग 70 साधकों ने भाग लिया।
योग मन को शांत करता है: हरदीप
जींद: श्री बनखंड महादेव जिला इकाई ने 55वां योग दिवस न्यू विकास सीनियर सेकेंडरी स्कूल में मनाया। मुख्य अतिथि प्रिसिपल रमेश सैनी, भारतीय योग संस्थान हरियाणा के वरिष्ठ उप प्रधान हरदीप सिंह, संरक्षक श्याम लाल गोयल सहित 30 साधक व 30 साधिकाओं ने भाग लिया। योग एवं योग मंजरी और शंख प्रक्षालन के बारे में विस्तार से सबको जागरूक किया गया। हरदीप सिंह ने बताया कि योग मन को शांत करने की उत्कृष्ट प्रविधि है। स्वामी विवेकानन्द के अनुसार योग अनुशासित अभ्यास है, जिसके द्वारा आत्म साक्षात्कार संभव है। योग प्राचीन भारतीय परम्परा एवं संस्कृति की अमूल्य देन है। यह व्यक्ति विकास की कल्याणकारी विद्या है। योग का अभ्यास व्यक्ति के शारीरिक, मानसिक, नैतिक एवं आध्यात्मिक कल्याण में सहायक है।