तेजी से बढ़ रहे डेंगू के मामले, नौ नए केस आए सामने
जिले में डेंगू के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। वीरवार को नौ डेंगू के मरीज मिले हैं। इसमें से सात डेंगू के मरीज नागरिक अस्पताल में हुई 37 सैंपलों के टेस्ट में आए हैं। जबकि दो डेंगू के मरीज मेडिकल कालेज खानपुर में मिले हैं। डेंगू के केस मिलते ही स्वास्थ्य विभाग की टीम उन एरिया में पहुंच गई और उनके परिवार के साथ आसपास के एरिया में लोगों के खून के नमूने लेकर जांच के लिए लैब भेजे हैं। अब तक जिले में 48 डेंगू के मामले सामने आ चुके हैं।
जागरण संवाददाता, जींद : जिले में डेंगू के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। वीरवार को नौ डेंगू के मरीज मिले हैं। इसमें से सात डेंगू के मरीज नागरिक अस्पताल में हुई 37 सैंपलों के टेस्ट में आए हैं। जबकि दो डेंगू के मरीज मेडिकल कालेज खानपुर में मिले हैं। डेंगू के केस मिलते ही स्वास्थ्य विभाग की टीम उन एरिया में पहुंच गई और उनके परिवार के साथ आसपास के एरिया में लोगों के खून के नमूने लेकर जांच के लिए लैब भेजे हैं। अब तक जिले में 48 डेंगू के मामले सामने आ चुके हैं। इनमें पांच जींद व एक उचाना का मरीज शामिल है। वर्ष 2020 की बात की जाए तो केवल सात केस सामने आए थे जबकि इस बार सितंबर माह तक 48 केस सामने आ चुके हैं। स्वास्थ्य विभाग को जहां भी डेंगू के केस मिल रहे हैं वहीं उनके घरों तथा आसपास के 50 से 60 घरों में फागिग करवाई जा रही है। इसके अलावा स्वास्थ्य विभाग द्वारा लारवा मिलने पर 600 से अधिक लोगों को नोटिस भी दिए जा चुके हैं ताकि लोग पानी एकत्र न होने देए जिससे डेंगू का लारवा न बने।
कोरोना संक्रमण के मामले जींद में न के बराबर हैं, लेकिन डेंगू ने धीरे-धीरे पांव पसारने शुरू कर दिए हैं। मौसम बदलाव के साथ ही एक-एक कर कोरोना संक्रमित मामलों के साथ-साथ डेंगू, मौसमी बुखार के मामले बढऩे लगे हैं। सितंबर और अक्टूबर में पीक पर रहने वाली डेंगू बीमारी के अबतक कुल 49 मामले स्वास्थ्य विभाग के सामने आ चुके हैं। डेंगू के मामले सामने आने पर स्वास्थ्य विभाग की टीमें घर-घर दस्तक दे रही हैं। स्वास्थ्य कर्मियों द्वारा बुखार से पीड़ित लोगों के खून के नमूने लेकर जांच के लिए भेजे जा रहे हैं। बाकायदा घर-घर जाकर लोगों को डेंगू, मलेरिया व कोरोना से बचाव के लिए जागरूक करते हुए पोस्टर आदि भी वितरित किए जा रहे हैं।वर्ष 2015 में आए थे सबसे अधिक डेंगू के मामलेजिले में सबसे ज्यादा वर्ष 2015 में 668 डेंगू के मामले सामने आए थे। उसके बाद स्वास्थ्य विभाग द्वारा चलाए गए जागरूकता अभियान से साल दर साल डेंगू का प्रकोप कम होता चला गया। विभाग की तरफ से सितंबर व अक्टूबर डेंगू के लिए पीक सीजन माना जाता है। डेंगू का मच्छर साफ पानी पर पनपता है। यह मौसम मच्छरों के पनपने लिए पूरी तरह से अनुकूल है। अब एक बार फिर से डेंगू ने दस्तक दी है तो स्वास्थ्य विभाग पूरी तरह से सतर्क हो गया है।नोटिस भी दिए जा रहे हैं : डा. बागड़ीनागरिक अस्पताल के डिप्टी सीएमओ (मलेरिया) डा. तीर्थ बागड़ी ने बताया कि विभाग के पास 48 मरीज डेंगू के हैं। जहां-जहां मरीज सामने आए हैं वहां फॉगिग करा दी गई है। 600 से अधिक लोगों को नोटिस भी दिए गए हैं। फिलहाल डेंगू कंट्रोल को लेकर विभागीय कर्मी लगातार जागरूकता अभियान चलाए हुए हैं।
जागरूकता अभियान चलाया
स्वास्थ्य निरीक्षक राममेहर वर्मा व रामकुमार की अगुवाई में आसरी गेट, डेढराज मोहल्ला, सराफा बाजार सहित शहर की कालेानियों में स्वास्थ्य कर्मियों ने घर-घर जाकर फीवर मास सर्वे किया और बुखार मरीजों की खून के नमूने लिए और लोगों को जागरूक भी किया। कूलर, फ्रीज, गमले, होदी की जांच की। साथ में लोगों को कोविड टीकाकरण के भी प्रेरित किया। आज के अभियान में गुरनाम सिंह, दिनेश , ओमप्रकाश, संदीप, देवेंद्र, अमरजीत, मुकेश कुमारी, मुकेश रानी, नीलम, टीना, मुनेश कुमारी मौजूद थे।
गांवों व शहरों में फोगिग करवाएं, डेंगू पीड़ितों के घर के पास एंटी लार्वा छिड़काव कराएं
संवाद सूत्र, सफीदों : उपमंडल सफीदों में बढ़ते डेंगू व वायरल बुखार के मामलों को लेकर एसडीएम आइएएस डा. आनंद कुमार शर्मा ने अपने कार्यालय में स्वास्थ्य अधिकारियों की बैठक ली। बैठक के दौरान उन्होंने स्वास्थ्य अधिकारियों को इस बीमारी से निपटने के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। उन्होंने स्वास्थ्य अधिकारियों को निर्देश दिए कि वे अपने-अपने क्षेत्र में कडी नजर बनाए रखें तथा गांवों का दौरा करके यह पता करें कि वहां कितने लोग बीमार हैं। शहरी व ग्रामीण क्षेत्र में फोगिग करवाई जाए। उन्होंने संक्रामक बीमारियों से बचाव को लेकर स्वास्थ्य सेवा दुरुस्त रखने के निर्देश दिए। फैलती बीमारियों को देखते हुए नागरिक अस्पताल, सीएचसी, पीएचसी में सभी व्यवस्था दुरुस्त रखें। स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर कोई लापरवाही न की जाए। उन्होंने कहा कि डेंगू पीड़ित के घर और आसपास के पचास घरों में छिड़काव करवाया जाए। जिन क्षेत्रों में एक या अधिक डेंगू रोगी पाए जाते हैं, उस मुहल्ले में टीम भेजकर जल संग्रहित पात्रों को खाली कराते हुए मच्छर प्रजनन स्त्रोतों को समाप्त कराया जाए। जहां से पानी हटाना संभव न हो वहां एंटी लार्वा का छिड़काव कराया जाए। घरों में कूलर, फ्रीज, गमलों इत्यादि में भरे पानी को साफ कराया जाए। डेंगू मरीज मिलने पर सभी बचाव कार्य किया जाए।