पोर्टल पर पीआर धान की फसल का डाटा मिसमैच, वेरिफिकेशन के आदेश
मंडियों में पीआर धान की खरीद 25 सितंबर से शुरू होनी थी। लेकिन मंडियों में धान खरीद
जींद : मंडियों में पीआर धान की खरीद 25 सितंबर से शुरू होनी थी। लेकिन मंडियों में धान खरीद के लिए अभी तक कोई शेड्यूल नहीं आया है। अब सरकार ने एक अक्टूबर से खरीद शुरू करने का आदेश दिया है। जिन किसानों ने मेरी फसल मेरा ब्यौरा पोर्टल पर फसल का पंजीकरण कराया है, सरकार समर्थन मूल्य पर उन्हीं किसानों की पीआर धान खरीदेगी। मेरी फसल मेरा ब्यौरा पोर्टल पर फसल का डाटा मिसमैच होने की वजह से दिक्कत आ रही है। कृषि विभाग, किसानों और पटवारियों ने फसल का जो डाटा दिया है, उसमें काफी अंतर है। सरकार ने अधिकारियों को इसकी वेरिफिकेशन के आदेश दिए हैं। ज्यादातर किसानों को जानकारी नहीं होती कि उसके खेत में कौन से किल्ले (एकड़) का मुरबा नंबर कितना है और खेवट भी किसानों की साझी होती है। मेरी फसल मेरा ब्यौरा पोर्टल पर मुरबा नंबर दर्ज करना होता है। किसानों ने पोर्टल पर जिस खेत में धान की फसल दिखाई है, वहां पटवारी द्वारा दर्ज आंकड़े में कोई और फसल है। जबकि कृषि विभाग ने जो डाटा दिया है, वो भी मेल नहीं खा रहा। जिससे पोर्टल पर सही से पता नहीं चल पा रहा कि कौन से खेत में धान की फसल है और कौन से खेत में बाजरे की। बाजरे की भी एक अक्टूबर से ही समर्थन मूल्य पर खरीद होनी है। जिला कृषि उप निदेशक डा. सुरेंद्र मलिक ने बताया कि इस संबंध में मुख्यालय से पत्र आया है। पोर्टल पर दर्ज डाटा में अंतर है। जिसकी वेरिफिकेशन की जानी है। जिले में करीब 36 हजार हेक्टेयर में धान की फसल है।
--------------
अभी शेड्यूल नहीं आया है : मार्केट कमेटी सचिव
जींद मार्केट कमेटी सचिव संजीव कुमार ने बताया कि पीआर धान की खरीद के लिए अभी मुख्यालय से कोई शेड्यूल नहीं आया है। खरीद प्रक्रिया शुरू होने के बाद मंडी में किस दिन धान लानी है, ये किसान खुद तय करेगा। जिन किसानों ने मेरी फसल मेरा ब्यौरा पोर्टल पर फसल रजिस्टर्ड कराई है, उन्हीं की धान खरीदी जाएगी।