Move to Jagran APP

अर्न व्हाइल लर्न स्कीम : लंबे समय के बाद आया बजट, वह भी थोड़ा

आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों के लिए उच्चतर शिक्षा विभाग की ओर लागू की गई अर्न व्हाइल यू लर्न (सीखते समय कमाएं) योजना के तहत कालेजों को लंबे समय के बाद बजट मिला है लेकिन वह भी पूरा नहीं मिल पाया है। अब बजट मिलने के बाद अगले सप्ताह से विद्यार्थियों के साक्षात्कार लेकर उन्हें कालेज में ही काम दिया जाएगा।

By JagranEdited By: Published: Sat, 14 Sep 2019 09:37 AM (IST)Updated: Sat, 14 Sep 2019 09:37 AM (IST)
अर्न व्हाइल लर्न स्कीम : लंबे समय के बाद आया बजट, वह भी थोड़ा
अर्न व्हाइल लर्न स्कीम : लंबे समय के बाद आया बजट, वह भी थोड़ा

जागरण संवाददाता, जींद : आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों के लिए उच्चतर शिक्षा विभाग की ओर लागू की गई अर्न व्हाइल यू लर्न (सीखते समय कमाएं) योजना के तहत कालेजों को लंबे समय के बाद बजट मिला है लेकिन वह भी पूरा नहीं मिल पाया है। अब बजट मिलने के बाद अगले सप्ताह से विद्यार्थियों के साक्षात्कार लेकर उन्हें कालेज में ही काम दिया जाएगा। योजना में हर रोज एक घंटे के 100 रुपये प्रति छात्र देने का प्रावधान है।

loksabha election banner

राजकीय कॉलेजों में वर्तमान शैक्षणिक सत्र को शुरू हुए 3 महीने होने को हैं। ऐसे में विद्यार्थी इंतजार कर रहे थे कि कब उच्चतर शिक्षा विभाग अर्न व्हाइल यू लर्न योजना के तहत बजट जारी करे, ताकि आर्थिक रूप से कमजोर बच्चे कॉलेजों में पढ़ाई के साथ-साथ कमाई भी कर सकें। आखिर तीन महीने बाद योजना के तहत बजट जारी हुआ लेकिन यह पहले के बजाय कम ही मिला। पहले जहां उच्चतर शिक्षा विभाग द्वारा 75 हजार से 1 लाख रुपये तक का बजट मिलता था, वहीं इस बार 60 हजार रुपये का बजट ही उपलब्ध हुआ है।

यह है अर्न व्हाइल यू लर्न योजना

आर्थिक रूप से कमजोर बच्चों को पढ़ाई के साथ-साथ कुछ आमदनी भी होती रहे, इसके लिए विभाग द्वारा अर्न व्हाइल यू लर्न यानि कि सीखते-सीखते कमाने का मौका दिया है। योजना के तहत विद्यार्थी हर रोज एक घंटा या सप्ताह में अधिकतम छह घंटे काम कर सकते हैं। प्रत्येक माह छात्र कुल 2400 रुपये कमा सकता है। विद्यार्थियों को लाइब्रेरी, आइटी, कंप्यूटर लैब संबंधी छोटे-मोटे काम दिए जाते हैं, ताकि वह सीख भी सखें और उन्हें काम के नाम पर कमाई भी हो सके। विद्यार्थी के काम को जांचने के लिए विभाग के मुखिया की ड्यूटी लगाई जाती है। आगामी मार्च माह तक यह राशि महाविद्यालय प्रशासन को खर्च करनी होगी। अगर यह राशि बच जाती है तो इसे वापस निदेशालय को लौटा दिया जाता है।

जरूरतमंद छात्रों को मिलता है योजना का लाभ : डॉ. सुमित आसरी

राजकीय महिला कॉलेज की प्राध्यापिका डॉ. सुमिता आसरी ने कहा कि जिन विद्यार्थियों की आर्थिक स्थिति कमजोर होती है या यूं कहें कमाई का कोई जरिया नहीं होता तो उन विद्यार्थियों को विभाग की इस योजना के तहत एक घंटे कर रोज काम दिया जाता है। कॉलेज टाइम में जो भी पीरियड विद्यार्थियों का खाली होता है, उस दौरान उनसे काम करवा लिया जाता है। इससे विद्यार्थियों का पढ़ाई के साथ-साथ खर्चा भी निकल जाता है।

उच्चतर शिक्षा विभाग की तरफ से अर्न व्हाइल यू लर्न योजना के तहत 60 हजार रुपये का बजट उपलब्ध हुआ है। शीघ्र ही इस योजना का लाभ छात्राओं को देने का काम किया जाएगा। हालांकि बजट कम है लेकिन जितना भी बजट मिला है, उसे छात्राओं के लाभ के लिए लगाया जाएगा।

--राजेश्वरी कौशिक, प्राचार्या, राजकीय महिला कालेज, जींद


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.