यशपाल शर्मा बोले- लॉकडाउन में छोटे कलाकारों की हालत बुरी, सुध ले सरकार
पवन सिरोवा हिसार लॉकडाउन में हर वर्ग के लोग प्रभावित हुए हैं। कोरोना की मार जो देश
हिसार [पवन सिरोवा] लॉकडाउन में हर वर्ग के लोग प्रभावित हुए हैं। कोरोना की मार जो देश व लोगों पर पड़ी है, उसके परिणाम आने वाले समय में दिखाई देंगे। इसी दौर में छोटे कलाकार भी अछूते नहीं हैं। सरकार को इनकी हालत सुधारने के लिए आगे आना चाहिए। यह कहना है बॉलीवुड अभिनेता यशपाल शर्मा का। यशपाल शर्मा सोमवार को दैनिक जागरण हिसार के फेसबुक पेज पर लाइव हुए और उन्होंने बड़ी बेबाकी से लोगों के सवालों के जवाब दिए।
दैनिक जागरण के अभियान सूने साज, सुनो सरकार मुहिम की तारीफ करते हुए अभिनेता यशपाल शर्मा ने कहा कि दैनिक जागरण कलाकारों की आवाज बन रहा है जो काबिलेतारीफ है। कलाकारों के लिए सरकार को गहन सोचने की जरूरत है। उनकी सुध लेरी चाहिए। अब तो यह मामला संसद में भी चर्चा में आ चुका है। कलाकारों के सामने लॉकडाउन में आगे बड़ी समस्या आने वाली है, क्योंकि इनकी आर्थिक स्थिति खराब हो रही है। ऐसे में कोरोना और फैला तो स्थिति भयंकर होगी।
यशपाल शर्मा ने रंगमंच के विद्यार्थी लॉकडाउन में कैसे तैयारी करें सवाल के जवाब में कहा कि थियेटर और रंगमंच से बचपन से जुड़ाव जरूरी है। रंगमंच से जुड़े बच्चे में टीम वर्क की भावना, दूसरों का सम्मान, सही व गलत का ज्ञान होने से लेकर पसंद व ना पसंद का पता चलता है यानि रंगमंच पर्सनल्टी डेवलपमेंट का हिस्सा है। रंगमंच में अभिनय करते हुए हम जीवन जीने की कला सिखाते हैं, जो कोरोना की जंग जीतने में भी अहम भूमिका निभाएगी।
जागरण फिल्म फेस्टिवल से घर-घर तक पहुंचा सिनेमा
यशपाल शर्मा ने जागरण फिल्म फेस्टिवल पर पूछे सवाल का जवाब देते हुए कहा कि दैनिक जागरण ने सच में फिल्म फेस्टिवल के माध्यम से अच्छा सिनेमा आपके घर-घर तक पहुंचा दिया है। दैनिक जागरण ने नार्थ इंडिया के छोटे-छोटे शहरों में जाकर सकारात्मक ऊर्जा का संचार करने वाली व दिल को छू लेने वाली पसंदीदा फिल्में लोगों तक पहुंचाईं और उनकी रुचि को और बढ़ाया।
हरियाणवी सिनेमा के सामने अभी बहुत चुनौतियां
हरियाणवी फिल्म हरियाणा के लोग ही क्यों नहीं देखते? इस प्रश्न पर यशपाल शर्मा ने कहा कि हरियाणवी फिल्में वैसी नहीं, जो दर्शकों को सिनेमा तक खींच लाएं। चंद्रावल सहित कुछ ऐसी फिल्में बनीं, जिन्हें देखा व सराहा गया है। अभी हरियाणवी सिनेमा के सामने बहुत चुनौतियां हैं। हरियाणवी सिनेमा के बारे में जो नकारात्मक धारणा बनी हुई है, पहले उसे बदलना होगा।
अब लोगों को पता चल गया भगवान कहां हैं
कोरोना ने लोगों को किस स्तर तक प्रभावित किया है? इसके जवाब में यशपाल शर्मा ने कहा कि केवल मंदिर, गुरुद्वारा, मस्जिद या चर्च में भगवान नहीं हैं बल्कि भगवान हर जगह हैं। कोरोना ने यह साबित कर दिया। जब कोरोना के कारण धार्मिक संस्थाओं के दरवाजे बंद हुए तो चिकित्सक, नर्स, सफाई कर्मी, पुलिस कर्मी, करियाना वाले, सब्जीवाले सभी जो जरूरत मे काम आए, परमात्मा उन सब रूपों में हैं।