दो दोस्तों को गांववासी कहते थे निकम्मा, एयरफोर्स में भर्ती होने वाले ढाड गांव के बने पहले युवा
हिसार जिले से 9 युवा एयरफोर्स आर्मी में हुए चयनित। किसी ने पिता के सपने को पूरा किया तो कोई अभिनंदन व विक्रम बत्रा से इंस्पायर होकर एयरफोर्स में बना पायलट
हिसार [सुभाष चंद्र] कौन कब क्या बनने की ठान ले और विफलताओं काे पार कर क्या बन जाए कह पाना मुश्किल है। ऐसा ही कुछ युवाओं ने भी कर दिखाया है। इसमें पाकिस्तान के विमान को नष्ट करने वाले वायुसेना अधिकारी अभिनंदन से इंस्पायर होकर शहर के विद्युत नगर निवासी अंकित दलाल ने एयरफोर्स में पायलट पद हासिल किया है। अंकित ने इस दौरान एयरफोर्स में सिलेक्ट होने के लिए परीक्षाओं में 8 बार फेल होने के बाद 9वीं बार सफलता हासिल कर एयरफोर्स में पायलट और कॉस्ट गार्ड के पद हासिल किए हैं। अंकित इन दोनों पदों में से किसी एक पद पर ज्वाइन करेंगे। अंकित शुरुआत में अपने दोस्तों को देखकर एयरफोर्स में जाने के लिए प्रेरित हुए।
लेकिन अभिनंदन को देखकर उसने पायलट बनने की सोची। अंकित ने कॉस्ट गार्ड की परीक्षा में ऑल इंडिया में सेकंड रैंक हासिल की है। अंकित के पिता दलजीत दलाल बिजली विभाग में जेई के पद पर कार्यरत हंै। अंकित ने बताया कि वह शुरुआत में दोस्तों को देखकर कॉस्ट गार्ड का पद हासिल करना चाहता था। लेकिन बाद में वायुसेना अधिकारी अभिनंदन के जज्बे से इंस्पायर होकर पायलट बनने का सपना संजोया। अंकित ने जीजेयू से इंजीनियरिंग में बीटेक की है। वह 27 दिसंबर को ज्वाइन करेंगे। उनकी माता रामरती आंगनबाड़ी वर्कर हैं।
गांववासी कहते थे दो दोस्तों को निकम्मा, एयरफोर्स में जाने वाले गांव से पहले युवा बने
गांव ढाड के इतिहास में कोई व्यक्ति एयरफोर्स में भर्ती नहीं हुआ था, लेकिन अंकित बेनीवाल व उसके दोस्त पवन बैनीवाल ने एयरफोर्स में भर्ती होकर ग्रामीणों को हैरान कर दिया है। अंकित के पिता कुलदीप सिंह और पवन के पिता सुभाष सिंह किसान हैं। पवन और अंकित दोनों ही पढ़ाई में कुछ खास नहीं कर पाते थे। शरारती और झगड़ालु होने के कारण परिवार समेत पूरा गांव उन्हें निकम्मा कहता था और कहा जाता था कि ये दोनों कुछ नहीं बन सकते। दोनों ने गांव के स्कूल से 12वीं की। वे इसी वर्ष जनवरी से एयरफोर्स में चयनित हुए हैं। पवन बैनीवाल ने पूरे भारत में 137वां रैंक हासिल किया तो अंकित बैनीवाल ने एयरमैन पद के लिखित परीक्षा, इंटरव्यू पास कर ली है। दोनों 27 दिसंबर को जोधपुर में ज्वाइन करेंगे।
अमरजीत ने दो बार फेल होने के बाद तीसरी बार पाई सफलता
मॉडल टाउन एक्सटेंशन निवासी अमरजीत एयरफोर्स में ऑफिसर के पद पर चयनित हुआ है। पिता जसमेर ङ्क्षसह फौज से रिटायर हैं। अमरजीत दो बार फेल हुआ और तीसरी बार में सिलेक्ट हुआ। अमरजीत ने बीएससी की है। वहीं साथ में एक निजी स्कूल में मैथमेटिक्स पढ़ाता है। अमरजीत कैप्टन बत्रा ब्रिगेड में साइकोलॉजिस्ट आलोक प्रताप सिंह और कैप्टन विक्रम बत्रा से इंस्पायर हैं। कैप्टन विक्रम बत्रा आठ बार फेल होकर चयनित हुए थे। वहीं आलोक भी 9वीं बार परीक्षा में सफल हुए, लेकिन मेडिकल में फेल होने से उनका चयन नहीं हो पाया था।
सरवर ने किया पिता का सपना साकार
सरवर मलिक एनडीए आर्मी ऑफिसर के पद पर चयनित हुए। वे नेशनल डिफेंस एकेडमी में ट्रेनिंग कर रहे हैं। पिता प्रताप मलिक ट्रांसपोर्टर हैं। पिता का सपना था कि उनका बेटा आर्मी में ऑफिसर बने। पिता के सपने को पूरा करने के लिए कैप्टन बत्रा ब्रिगेड से ट्रेनिंग ली।
ऑटो चालक का बेटा बना एयरमैन
- लाडवा गांव निवासी अंकित शर्मा एयरफोर्स में एयरमैन के पद पर चयनित हुए हंै। अंकित शर्मा के पिता दिलबाग शर्मा ऑटो चालक हैं। अंकित गवर्नमेंट पीजी कॉलेज में एनसीसी कैडेट रहा है। वहां पर सीइओ ङ्क्षवग कमांडर वृद्धि को देख कर एयरफोर्स में जाने की सोची। वहीं हिसार कैंट निवासी इस्लाम भी एयरफोर्स में पायलट के पद पर चयनित हुआ है। इस्लाम के पिता अली शेर एयरफोर्स से ही रिटायर्ड हैं। इनके अलावा भिवानी निवासी साहिल एनसीसी कैडेट रहा है। जीजेयू में एमसीए का विद्यार्थी है। वह ङ्क्षवग कमांडर राजेश शर्मा व ङ्क्षवग कमांडर एमएस वृद्धि से इंस्पायर है।
कैप्टन बत्रा ब्रिगेड में ट्रेनर और साइकोलॉजिस्ट एंड मैनेजिंग डायरेक्टर आलोक प्रताप सिंह ने बताया कि 25 दिसंबर को वन हरियाणा एयर स्कवाड्रन यूनिट एनसीसी में ट्रेनिंग देने के लिए उनका चयन हुआ है। इससे पहले हरियाणा गर्ल्स बटालियन को ट्रेंड कर चुके हैं। ठाकुर दास भार्गव सीनियर सेकेंडरी स्कूल में विद्यार्थियों को तीनों सेनाओं में जाने के लिए ट्रेनिंग दी जा रही है। जिले से अधिकतर वह विद्यार्थी चयनित हुए हैं जो पिछले वर्ष जीजेयू में आयोजित की गई वर्कशॉप में शामिल हुए थे।
आलोक ने बताया कि इनसे पहले जसप्रीत कौर का ऑल इंडिया रैंक 28 आया था। जो आर्मी में सिलेक्ट हो चुकी है। वहीं शशि व संजय सोनी भी एयरफोर्स में चयनित हुए हैं। जीजेयू के बुक सेलर राजेश यादव का बेटा अक्षय यादव भी आर्मी में सिलेक्ट हुआ है। रिटायर्ड कैप्टन सुंदर सिंह भी बत्रा ब्रिगेड में ट्रेनर की भूमिका निभा रहे हैं।
यह भी हुए एयरफोर्स व सेना में चयनित
- जींद के नगुरा गांव निवासी अजय दलाल के पिता जगबीर सिंह किसान हैं। अजय हिसार से एयरफोर्स विंग कमांडर स्वर्गीय साहिल गांधी से इंस्पायर हुए तो एयरफोर्स में जाने का फैसला किया। पहली बार में परीक्षा का पास कर एयरफोर्स में चयनित हुए।
- सिसाय गांव निवासी नवीन शर्मा एयरफोर्स में चयनित हुए है। पिता सतीश शर्मा मेडिकल प्रैक्टिशनर हैं। नवीन ने बताया कि उसका एक दोस्त एनडीए में सिलेक्ट हुआ था, उसे देखकर उसने भी सेना में जाने की सोची।
- भिवानी निवासी अंकित पंवार भी एयरफोर्स में चयनित हुए हैं। इनके पिता गवर्नमेंट स्कूल में टीचर हैं।
- रेवाड़ी के कोसली गांव निवासी तेज सिंह एयरफोर्स में चयनित हुए हैं। उनके पिता किसान हैं। तेज सिंह कैप्टन बत्रा ब्रिगेड के ट्रेनर सुंदी सिंह से इंस्पायर होकर एयरफोर्स में जाने की सोची।
- हिसार कैंट निवासी इस्लाम भी एयरफोर्स में चयनित हुए हैं। वहीं भिवानी निवासी एक कारपेंटर का लड़का साहिल पहली बार में परीक्षा पास कर एयरफोर्स में चयनित हुआ है।