भिवानी के बहल में बंदरों का आतंक, कानूनी शिक्षा की छात्रा प्रीति पर किया हमला, मौत
भिवानी के बहल में बंदरों का आतंक देखने को मिल रहा है। बंदरों के एक झुंड ने छत पर आई कानूनी शिक्षा की छात्रा प्रीति पर हमला बोल दिया। इस दौरान प्रीति छत से नीचे गिर जिसके चलते इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई।
भिवानी(बहल), जागरण संवाददाता। भिवानी के बहल कस्बे में बंदरों का आतंक लोगों की जान पर आ बना है। कस्बे की कानूनी शिक्षा की छात्रा 21 वर्षीय प्रीति शर्मा वैद की मौत हो गई है। प्रीति 13 जून को अपने घर की छत पर किसी काम के लिए चढ़ी थी कि बंदरों के झुंड ने हमला कर दिया और प्रीति छत से नीचे गिर गई। गिरते ही प्रीति के सिर व रीढ की हड्डी पर गंभीर चोट आई थी और इलाज के लिए घायल प्रीति को हिसार के एक नामी अस्पताल में दाखिल कराया गया था।
23 दिन तक जीवन व मौत के बीच संघर्ष करती रही व बुधवार अल सुबह प्रीति जीवन की जंग हार गई। प्रीति की मौत ने परिवार को झंकझोर कर रख दिया और पिता गुरुदयाल सिंह शर्मा व परिजन टूट से गए। बंदरों के आतंक का शिकार हुई प्रीति कानून की शिक्षा के अंतिम वर्ष की छात्रा थी और पढ़ाई में बेहद होशियार। प्रीति शुरू से ही कानून की पढ़ाई में बेहद रुचि रखती थी और एलएलबी के बाद एलएलएम करने की इच्छा रखती थी। कस्बे में लंबे समय से बंदरों का आतंक आम घर की कहानी बन चुका है सैकड़ों की संख्या में बंदरों ने लोगों को अब तक घायल कर चुके हैं। इसी कड़ी में प्रीति की मौत के बाद कस्बा वासी जहां शोक व दुःख से व्याप्त हैं।
बच्चों व महिलाओं को बना रहे निशाना
वहीं बंदरों के आतंक से थर्राने लगे है। आज प्रीति की मौत के बाद कस्बे के लोगों में भय का माहौल ओर गहरा गया है। घरों की छतों पर चाह कर भी चढ़ने से कतराने लगे हैं। बंदरों के झुंड बच्चों व खासकर महिलाओं को अपना शिकार बनाते हैं। घरों ने घुसकर तोड़फोड़ करते हैं वही सामान को भी बिखरने की कोई कसर नहीं छोड़ते। घरों के ऊपर बनी पानी की टंकियों को तोड़ने का तो शायद बंदरों ने अभी हां नहीं चला रखा है। बंदर पालतू पशुओं को भी अपना शिकार बनाते हैं। प्रीति के पिता गुरदयाल सिंह शर्मा ने जिला प्रशासन से मांग की है कि और कोई बंदरों का शिकार ना बने बंदरों को पकड़वा कर इनके आतंक से निजात दिलाई जाए।