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संवेदनशील गांवों में कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए कंटेनमेंट जोन बनेंगे, प्रत्येक गांव में गठित होंगी कमेटी

जागरण संवाददाता हिसार उपायुक्त डा. प्रियंका सोनी ने सभी उपमंडलाधीशों को जिले के सभी संव

By JagranEdited By: Published: Wed, 12 May 2021 05:51 AM (IST)Updated: Wed, 12 May 2021 05:51 AM (IST)
संवेदनशील गांवों में कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए कंटेनमेंट जोन बनेंगे, प्रत्येक गांव में गठित होंगी कमेटी
संवेदनशील गांवों में कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए कंटेनमेंट जोन बनेंगे, प्रत्येक गांव में गठित होंगी कमेटी

जागरण संवाददाता, हिसार : उपायुक्त डा. प्रियंका सोनी ने सभी उपमंडलाधीशों को जिले के सभी संवेदनशील गांवों में कंटेनमेंट जोन बनाकर कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए गंभीर प्रयास करने के निर्देश दिए हैं। मंगलवार को प्रशासनिक अधिकारियों, सिविल तथा मेडिकल नोडल अधिकारियों की बैठक लेते हुए कहा कि सभी एसडीएम अपने उपमंडलों के अंतर्गत आने वाले गांवों में कोरोना के प्रसार, मृत्यु दर, कंट्रोल रूम में आने वाली शिकायतों व उन पर की गई कार्रवाई, होम आइसोलेशन के मरीजों की निगरानी, सैंपलिग व कोविड संक्रमितों की कांटेक्ट ट्रेसिग संबंधी रिपोर्ट दैनिक आधार पर उन्हें देंगे। संवेदनशील गांवों में नंबरदार, आशा वर्कर व एएनएम की टीमों के द्वारा सघन सैंपलिग का कार्य सुनिश्चित करेंगे। सैंपलिग करते समय आधार कार्ड व सही फोन नंबर दर्ज किया जाए ताकि रिपोर्ट आने पर समय पर सूचना देते हुए जरूरी प्रबंध किए जा सकें।

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संवेदनशील गांवों में बेरिकेडिग होगी

सभी संवेदनशील गांवों में कंटेनमेंट जोन बनाकर बेरिकेडिग की जाए और कोरोना के प्रसार को रोकने के लिए सख्त कदम उठाए जाएं। ग्रामीण व शहरी क्षेत्र में सैनिटाईजेशन का कार्य तेजी गति से किया जाए। बेहतर प्रबंधन और कियान्वयन के लिए सभी गांवों में कमेटियों का गठन किया जाए।

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ऑक्सीजन का आंकलन करते हुए अस्पतालों में बेड बढ़ाएं

स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से स्वास्थ्य सेवाओं के विस्तार को लेकर जरूरी निर्देश दिए। उपायुक्त ने कहा कि ऑक्सीजन की उपलब्धता के मद्देनजर सरकारी व निजी अस्पतालों में बैड की संख्या बढाई जाए। इसी प्रकार से आवश्यकतानुसार कोविड इलाज के लिए अतिरिक्त अस्पतालों को अधिसूचित किया जाए। उपायुक्त ने कहा कि जीएमडीए पोर्टल, एनएचएम पोर्टल तथा एचआरहील पोर्टल पर सभी जरूरी रिपोर्ट अपडेट की जाएं। अस्पतालों में नियमित रूप से ऑक्सीजन के इस्तेमाल का ऑडिट किया जाए। इसके अलावा आईसोलेशन सैंटर, अस्पतालों में बेड की दरों व रेमेडिसिविर जैसी जीवन रक्षक दवाओं की उपलब्धता के साथ-साथ व्यापक निगरानी भी की जाए।

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होम आइसोलेशन में नियमित रूप से हो टीम का दौरा होम आइसोलेशन के संक्रमितों के लिए गठित की गई टीमें नियमित रूप से विजिट करें। इस बारे में कंट्रोल रूम से भी फोन कर होम आइसोलेशन संक्रमितों से जानकारियां ली जाएं। ऐसे संक्रमितों को मेडिकल किट प्रदान करने की दिशा में सभी जरूरी कदम उठाए जाएं। उपायुक्त ने कहा कि शहरी स्थानीय निकाय तथा स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी कोविड से होने वाली मृत्यु का समय पर ऑडिट सुनिश्चित करें। इसको लेकर अतिरिक्त टीमें भी गठित की जा सकती हैं।

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सैंपलिग की रिपोर्ट समय से हो तैयार

इसी प्रकार से एंबुलेंस का सही प्रबंधन हो और निजी एंबुलेंस सेवाओं के लिए निर्धारित दरों को लेकर कड़ी निगरानी की जाए। कोरोना सैंपलिग की रिपोर्ट सही समय पर तैयार की जाए और इस संबंध में निजी लैब संचालकों की भी निगरानी की जाए। नागरिकों की सुविधा के लिए स्थापित की गई मेडिकल हेल्पलाइन को प्रभावी रूप से क्रियान्वित किया जाए। इसके साथ ही कंट्रोल रूम में आने वाली शिकायतों को लेकर भी प्रभावी कदम उठाए जाएं।


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