नए चालकों की भर्ती से निजी के साथ रोडवेज की बसें भी चलीं, आवेदकों की अभी भी लंबी कतारें
मंगलवार को 14 नए चालकों ने ज्वाइन की ड्यूटी की। इससे जनता को थोड़ी राहत मिली। रोडवेज हड़ताल से सात दिन में रोडवेज को एक करोड़ 30 लाख रुपये से भी ज्यादा का नुकसान हो चुका है।
जेएनएन, हिसार : पिछले आठ दिनों से रोडवेज की हड़ताल के चलते लोगों परेशानी का सामना कर रहे हैं, मगर मंगलवार को इसमें हल्की सी राहत देखने को मिली। प्रशासन ने मंगलवार को रोडवेज की बसों को भी चलाना शुरू किया तो वहीं निजी बसें भी चलीं। वहीं प्रशासन की ओर से मंगलवार को यात्रियों की सुविधा को देखते हुए 50 रोडवेज और 50 प्राइवेट बसें चलाने का दावा किया था। इसका असर भी देखने को मिला और मंगलवार को ज्वाइन करने वाले नए चालकों के कारण रोडवेज की बसों को भी चलाया जा सका।
हालांकि सवारियों के लिए ये नाकाफी ही रहीं और बस स्टैंड परिसर में यात्रियों की भीड़ देखने को मिली। मगर अन्य दिनों की तुलना में मंगलवार को हालात थोड़े से बेहतर रहे। चलाए जाने वाली बसें अधिकतर लोकल रूटों पर चलेंगी जिससे स्कूल-कालेज व नौकरी पेशा लोगों को दिक्कत का सामना न करना पड़े। वहीं दूसरी ओर हरियाणा रोडवेज कर्मचारी तालमेल कमेटी ने सरकार की हठधर्मिता एवं विभाग का निजीकरण किए जाने की जिद्द पर अड़े रहने और आंदोलन कर रहे कर्मचारियों पर प्रताडऩा की कार्रवाई करने के विरोधस्वरूप रोडवेज यूनियन ने 25 अक्टूबर तक हड़ताल समय सीमा बढ़ा दी है।
निजी बसें चलने पर संशय हटा, मगर नया विवाद उपजा
हरियाणा परिवहन सहकारी समिति कल्याण संघ ने भी मंगलवार को आपातकालीन बैठक कर प्राइवेट बसों की हड़ताल को लेकर पुनर्विचार करने की बात कही थी। मगर मंगलवार की सुबह ही निजी बसें सड़कों पर दौड़ती नजर आई। जिला प्रधान श्रीपाल ने कहा कि आरटीओ ने उनसे उनके परमिट छीन कर अपने बनाए हुए रूटों पर चलने के लिए कहा है। ऐसा हम कतई नहीं करेंगे। ऐसा हुआ तो हम भी हड़ताल कर देंगे।
आवेदन के लिए अभी भी लंबी कतारें
रोडवेज में भर्ती के लिए अभी भी लंबी कतारें लगी हुई हैं। मंगलवार को भी बेरोजगारों युवाओं की लंबी कतारें देखने को मिली। धूप में भी युवा घंटों खड़े रहे। और अपनी बारी आने का इंतजार करते नजर आए।
हड़ताल से बाजारों में रौनक गायब
हड़ताल के कारण बाजारों में रौनक फीकी पडऩे लगी है। इसके कारण 30 से 35 फीसद व्यापार प्रभावित हुआ है। ग्रामीण क्षेत्रों के लोग सुविधाओं के अभाव में बाजारों तक नहीं पहुंच पा रहे हैं। खासकर, ग्रामीण महिलाएं खरीदारी करने के लिए शहरों तक नहीं पहुंच पा रही हैं।
बस स्टैंड पर यात्रियों की भीड़
अगर बस स्टैंड पर स्कूल कॉलेज खुलने से भीड़ बढ़ती ही जा रही है। मंगलवार को बस स्टैंड परिसर में यात्रियों की भीड़ बहुत ज्यादा रही। बसों को इंतजार करते हुए यात्री हड़ताल को लेकर ही बात करते रहे। वहीं रोडवेज की बस आने पर यात्री बहुत तेजी से बस में जगह बनाने में जुटे रहे।
यह है सरकार का प्लान
अगर प्राइवेट बस संचालक भी हड़ताल पर रहे तो सरकार ने दो विकल्प तैयार करने का फैसला लिया है, जिसमें पहला विकल्प निजी स्कूल की बसें हैं तो दूसरी राजस्थान परमिट की बसें। आमजन को राहत पहुंचाने के लिए सरकार ने प्रथम चरण में 100 निजी स्कूल की बसें विभिन्न रूटों पर चलाने का प्लान किया है। अगर भीड़ बढ़ती है तो राजस्थान परमिट की 40 बसों की भी मदद ली जा सकती है। हालांकि सरकार ने ये दोनों विकल्प प्राइवेट बसों की हड़ताल को देखते हुए तैयार किए हैं, लेकिन अभी तक प्राइवेट बसों ने हड़ताल को लेकर कोई फैसला नहीं लिया है।
14 नए ड्राइवरों की ली जा रही सेवा
मंगलवार को 14 नए ड्राइवर रोडवेज बसों में सेवा देते नजर आए। सोमवार को इन ड्राइवरों ने भर्ती की प्रक्रिया के अनुसार नागरिक अस्पताल में मेडिकल करवाकर रोडवेज कार्यालय को सूचित कर रिपोर्ट भेज दी, जिसके बाद रोडवेज ने इन 14 ड्राइवरों को सेवा मंगलवार से शुरू करने का फैसला लिया गया।
सात दिन में रोडवेज को 1 करोड़ 30 लाख रुपये की चपत
सात दिन की हड़ताल को लेकर रोडवेज को करीब एक करोड़ 30 लाख रुपये की चपत लग चुकी है। एक दिन की बात करें तो रोडवेज को 20 लाख रुपये की इनकम प्राप्त होती है। लेकिन हड़ताल के कारण रोडवेज की इनकम केवल डेढ़ से दो लाख रुपये हो रही है, जबकि 18 लाख रुपये का सीधे तौर पर घाटा हो रहा है। अगर यही हालात रहे तो नुकसान का आंकड़ा दिन-प्रतिदिन बढ़ता जाएगा और राजकोष पर बुरा असर पड़ेगा।
अधिकारियों ने ये कहा
हिसार डिपो यातायात प्रबंधक जितेंद्र यादव ने कहा हर पल की रिपोर्ट मुख्यालय और उपायुक्त को दी जा रही है। आमजन के लिए रोडवेज और प्राइवेट बसों को रूटों पर भेजा रहा है। आरटीओ एएसमान ने कहा प्राइवेट बसें भी बंद रही तो स्कूली बस और राजस्थान परमिट की बसों से मदद ली जा सकती है। हालांकि मंगलवार को प्राइवेट बसें चल रही हैं। उपायुक्त अशोक कुमार मीणा ने कहा हमने सात और कर्मचारियों के खिलाफ मामला दर्ज कर धरपकड़ शुरू कर दी है। आमजन को परेशान नहीं होने दिया जाएगा इसके लिए 100 बसें चलाई जाएंगी।